बिहार में टीचरों पर सख्ती, ये गलतियां की तो हो सकते हैं जिलाबदर; नई नियमावली तैयार
शिक्षा विभाग गड़बड़ी करने वाले शिक्षकों के लेकर सख्त कार्रवाई के मूड में है। ऐसे शिक्षकों को विभाग किसी प्रकार की रियायत देने के लिए तैयार नहीं है। यदि शिक्षकों ने दी गयी जिम्मेवारियों का निर्वहन नहीं किया, तो उनके ऊपर गाज गिरनी तय है।
अब किसी तरह की गड़बड़ी करने पर शिक्षक नप जाएंगे। वे जिलाबदर भी हो सकते हैं और दूसरे जिले में उनकी तैनाती की जा सकती है। शिक्षा विभाग ने इसके लिए नई नियमावली बनाने की तैयारी शुरू कर दी है। शीघ्र ही इसके अमल में लाने की भी तैयारी चल रही है। नियमावली में संभावित गलतियां श्रेणीबद्ध की जाएगी और उसके मुताबिक नियमानुसार कार्रवाई भी तय होंगे। पहले उन्हें उनके मूल पदस्थापन क्षेत्र से हटना पड़ेगा। इस प्रस्ताव को विभाग के अपर मुख्य सचिव डॉ. एस सिद्धार्थ की भी हरी झंडी मिल चुकी है।
शिक्षा विभाग गड़बड़ी करने वाले शिक्षकों के लेकर सख्त कार्रवाई के मूड में है। ऐसे शिक्षकों को विभाग किसी प्रकार की रियायत देने के लिए तैयार नहीं है। यदि शिक्षकों ने दी गयी जिम्मेवारियों का निर्वहन नहीं किया, तो उनके ऊपर गाज गिरनी तय है। हालांकि वे अपने ऊपर हुई कार्रवाई के खिलाफ मुख्यालय में अपील कर सकते हैं। यह सुविधा उन्हें दी जाएगी।
यह गलतियां कार्रवाई के दायरे में
विभागीय अधिकारी के अनुसार बच्चों को ठीक से नहीं पढ़ाने, समय पर स्कूल नहीं आने पर शिक्षक कार्रवाई के दायरे में आएंगे। अपनी ड्यूटी अच्छे से नहीं करने, हेड मास्टर या विभाग के किसी पदाधिकारी द्वारा सौंपे गये टास्क को समयबद्ध होकर पूरा नहीं करने, जिम्मेदारी से भागने या जानबूझकर कोई की गई गड़बड़ियों को लेकर शिक्षक कार्रवाई के दायरे में आयेंगे।
शिक्षक का पक्ष भी सुना जाएगा
संबंधित शिक्षक अपने प्रखंड या जिलाबदर की कार्रवाई के खिलाफ शिक्षा विभाग के मुख्यालय में अपील कर सकते हैं। यह अपील विभाग के अपर मुख्य सचिव के पास होगी। वे इस मामले को खुद देखेंगे। यदि उनकी अपील सही होगी तो वे कार्रवाई से बच जाएंगे।
विभाग को मिल रही ऐसी गड़बड़ी की शिकायतें
विभाग को विभिन्न जिलों से ऐसी शिकायतें मिल रही हैं कि कई शिक्षक गड़बड़ी कर रहे हैं। वे गंभीरता से अपनी जिम्मेवारियों का निर्वहन भी नहीं कर रहे। स्कूल आकर हाजिरी बनाने के बाद निकल जाते हैं। बच्चों को ठीक से नहीं पढ़ाते। वर्ग में पढ़ाने की बजाए मोबाइल का उपयोग करते हैं। ऐसे शिक्षक कार्रवाई से बेखौफ होकर वे अराजकता फैला रहे हैं। विद्यालयों में गुटबाजी हो रही है। इससे विद्यालयों से शिक्षकों के गायब होने पर अंकुश लगेगा।