Bihar Bridge Collapse: बिहार के 40 पुल खतरनाक, ऑडिट रिपोर्ट में कई अहम खुलासे
हाल के दिनों में राज्य में कई पुल-पुलिया या तो गिर गए या तेज बहाव में बह गए। इनमें कुछ ऐसे भी पुल-पुलिया थे, जिसका निर्माण डेढ़-दो दशक पहले ही हुआ था। पुलों के रखरखाव पर जब सवाल उठने लगे तब उपमुख्यमंत्री सह पथ निर्माण मंत्री विजय कुमार सिन्हा ने राज्य भर के पुलों का सर्वे करने का निर्देश दिया।
बिहार में सीरियल ब्रिज कोलैप्स और इस पर हुई जोरदार राजनीति के बाद राज्य के पुल पुलिया का सर्वे कराया गया। पथ निर्माण विभाग ने राज्य के पुल-पुलियों का सर्वे (ऑडिट) पूरा कर लिया है। बिहार राज्य पुल निर्माण निगम ने लगभग 1700 पुलों का सर्वे किया है। इनमें से लगभग तीन दर्जन ऐसे पुल पाए गए हैं, जिनको तत्काल मरम्मत की जरूरत है। अगर इसमें देरी की गई तो कोई भी अनहोनी हो सकती है। पुल की स्थिति को देखते हुए पुल निर्माण निगम इसकी मरम्मत की प्रक्रिया में जुट गया है। करीब तीस से पैंतिस दिनों में बिहार में डेढ़ दर्जन से अधिक पुल पुलिया और उनके डायवर्जन ध्वस्त हो गए। इस पर तेजस्वी यादव, लालू यादव समेत अन्य विपक्षी नेताओं ने नीतीश सरकार की जमकर खिंचाई की।
गौरतलब है कि हाल के दिनों में राज्य में कई पुल-पुलिया या तो गिर गए या तेज बहाव में बह गए। इनमें कुछ ऐसे भी पुल-पुलिया थे, जिसका निर्माण डेढ़-दो दशक पहले ही हुआ था। पुलों के रखरखाव पर जब सवाल उठने लगे तब उपमुख्यमंत्री सह पथ निर्माण मंत्री विजय कुमार सिन्हा ने राज्य भर के पुलों का सर्वे करने का निर्देश दिया। निगम के अधीन लगभग सभी पुल 30 मीटर से अधिक लंबे हैं। इंजीनियरों की टीम ने प्रमंडलवार पुलों का सर्वे शुरू किया। अब सर्वे रिपोर्ट मुख्यालय को मिल चुकी है।
तीन पुलों की मरम्मत की प्रक्रिया शुरू
रिपोर्ट आने के बाद निगम ने तीन पुलों की मरम्मत प्रक्रिया शुरू कर दी है। बाकी पुलों की भी बरसात अवधि या इसके बाद मरम्म्त की जाएगी। निगम अधिकारियों के अनुसार राज्य के सभी पुलों के रखरखाव पर काम होगा। इसके लिए पैसे की जरूरत होगी। निगम जल्द ही पथ निर्माण विभाग से पैसे की मांग करेगा। पुलों की मरम्मत के लिए कितनी राशि चाहिए, इसका आकलन किया जा रहा है।
पुलों की सेहत का हुआ आकलन
सर्वे में पुलों की सेहत का आकलन किया गया है। इंजीनियरों की टीम ने सबसे पहले यह जांच की कि पुल कितना पुराना है। जब इसका निर्माण हुआ था तो उसमें कितना वजन सहने की शक्ति थी। वर्तमान में इन पुलों पर दबाव कितना बढ़ गया है। अभी कितनी और किस तरह की गाड़ियां आ-जा रही हैं। गुणवत्ता के हिसाब से इन पुलों की क्या स्थिति है और क्या इन्हें मरम्मत की जरूरत है। ये पुल अभी चलने लायक हैं या नहीं। समीक्षा के बाद पाया गया कि तीन दर्जन से अधिक पुलों की तत्काल मरम्मत की जरूरत है।