Sakat Chauth 2024 डेट, पूजा विधि:सकट चौथ आज, चंद्रमा की पूजा की विधि, मंत्र, गणेश जी की आरती, कथा, chand time, सब कुछ
Sakat Chauth 2024 date: यह व्रत मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, छत्तीसगढ़ में मनाया जाता है। य व्रत मुख्य रूप से भारत के उत्तरी राज्यों में रखा जाता है। इस साल सकट चौथ 29 जनवरी सोमवार को रखा जाए
हर साल सकट चौथ माघ मास की चौथ को मनाया जाता है। इस दिन माताएं अपनी संतान की लंबी आयु के लिए व्रत रखती हैं। यह निर्जला व्रत होता है और दिन में कथा सुनने के बाद रात को चांद को अर्घ्य देकर व्रत खोला जाता है। यह व्रत मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश, राजस्थान, छत्तीसगढ़ में मनाया जाता है। य व्रत मुख्य रूप से भारत के उत्तरी राज्यों में रखा जाता है। इस साल सकट चौथ 29 जनवरी सोमवार को रखा जाएगा। इस दिन गणेश जी के साथ शिवजी की कृपा भी मिलेगी।
Sakat Chauth 2024 शुभ मुहूर्त:
आपको बता दें कि गणेश चतुर्थी तिथि 29 जनवरी को सुबह 6:10 बजे शुरू होगी और 30 जनवरी को सुबह 8:54 बजे समाप्त होगी। उदया तिथि के अनुसार यह पर्व 29 जनवरी को मनाया जाएगा।
Sakat Chauth 2024 चंद्रोदय टाइम
सकट चौथ पर चांद देखकर अर्घ्य दिया जाता है और उसकी पूजा होती है, इसलिए इस दिन महिलाओं को चांद का इंतजार रहता है। अगर आप दिल्ली-एनसीआर में रहते हैं, तो आपको बता दें कि दिल्ली में रात 9:10, इसके बाद 9:09 बजे नोएडा और इसी समय गाजियाबाद में भी चांद के दर्शन होंगे।
Sakat Chauth vrat Katha
इस दिन पूजा करने के बाद गणेश जी बुढिया माई की खीर बनाने वाली कहानी और सकट माता की देवरानी जेठानी वाली कहानी जरूर पढ़ते हैं। यहां क्लिक कर आप दोनों कथाएं पढ़ सकते हैं।
Sakat Chauth 2024 मंत्र:
ॐ गं गणपतये नमः
ॐ एकदन्ताय विद्धमहे, वक्रतुण्डाय धीमहि,
तन्नो दंति प्रचोदयात्
Sakat Chauth 2024 गणेश जी की आरती
जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।
माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥
एक दंत दयावंत, चार भुजा धारी।
माथे सिंदूर सोहे, मूसे की सवारी॥
जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।
माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥
पान चढ़े फल चढ़े, और चढ़े मेवा।
लड्डुअन का भोग लगे संत करें सेवा॥
जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।
माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥
अंधन को आंख देत, कोढ़िन को काया।
बांझन को पुत्र देत निर्धन को माया॥
जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।
माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥
सूर' श्याम शरण आए, सफल कीजे सेवा।
माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥
जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।
माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥
दीनन की लाज रखो, शंभु सुतकारी।
कामना को पूर्ण करो जाऊं बलिहारी॥
जय गणेश जय गणेश, जय गणेश देवा।
माता जाकी पार्वती पिता महादेवा॥
Sakat Chauth 2024 विधि
इस दिन जल्दी स्नान करके करते हैं और फिर पूरे दिन सकट चौथ व्रत रखने का संकल्प लेते हैं। फिर गणेश जी को नए वस्त्र पहनाकर तैयार करते हैं, लाल कपड़ा बिछाकर विराजमान करते हैं।भगवान गणेश की मूर्ति पर फूल, फल और मिठाइयां अर्पित की जाती हैं और फिर सकट चौथ की आरती की जाती है। इसके बाद तिल के लड्डू और तिलकूट का भगवान को भोग लगाया जाता है। इसलिए इसे तिलकुटा चौथ भी कहते हैं।
Sakat Chauth 2024 महत्व:
भगवान गणेश अपने भक्तों को समृद्धि, धन, स्वास्थ्य और खुशी का आशीर्वाद देने के लिए आते हैं। आमतौर पर महिलाएं अपने बच्चों की लंबी उम्र और सफलता की कामना के लिए सकट चौथ का व्रत रखती हैं। ऐसा माना जाता है कि समर्पण के साथ व्रत और पूजा करने से भक्तों पर भगवान का आशीर्वाद मिल सकता है। जो जोड़े बच्चे के जन्म में समस्याओं का सामना कर रहे हैं वे भी व्रत रख सकते हैं।
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