Amavasya date 2024: इस बड़ी वजह से आषाढ़ अमावस्या पर कंफ्यूजन
his big reason confusion on Amavasya date: आषाढ़ अमावस्या 5 जुलाई को है या फिर 6 जुलाई को इस बार अमावस्या की तारीख को लेकर बड़ा कंफ्यूजन है। दरअसल इस बार चतुर्दशी तिथि का क्षय हो रहा है। इसलिए अमावस्या तिथि 5 जुलाई को है।
आषाढ़ अमावस्या 5 जुलाई को है या फिर 6 जुलाई को इस बार अमावस्या की तारीख को लेकर बड़ा कंफ्यूजन है। दरअसल इस बार चतुर्दशी तिथि का क्षय हो रहा है। जिसकी वजह से अमावस्या की तारीख एक दिन पहले चतुर्दशी पर ही हो रही हैं। इस साल इसलिए अमावस्या तिथि 5 जुलाई को है। आपको बता दें कि आषाढ़ कृष्ण अमावस्या तिथि 05 जुलाई को सुबह 04 बजकर 57 मिनट से प्रारंभ होगी और 06 जुलाई को सुबह 04 बजकर 26 मिनट तक रहेगी। ऐसे में स्नान और दान के लिए 5 जुलाई को ही अमावस्या मनाई जाएगी।
क्यों चतुर्दशी तिथि का हो रहा है क्षय
आषाढ़ कृष्ण पक्ष में द्वितीया तिथि एवं चतुर्दशी तिथि का क्षय हो रहा है। इसलिए अमावस्या तिथि 5 जुलाई को है। तिथियों का क्षय होने के कारण आषाढ़ पक्ष मात्र 13 दिन का है । शास्त्रों के अनुसार इस 13 दिन के पक्ष को विश्व शस्त्र पक्ष भी कहा जाता है। अब अमावस्या के दिन आषाढ़ कृष्ण पक्ष 5 जुलाई 2024 दिन शुक्रवार को समाप्त हो जाएगा। इसके बाद आषाढ़ शुक्ल पक्ष शुरू होगा। देखा गया है तो जब-जब तेरह दिन का पक्ष हुआ है अर्थात जिस वर्ष 13 दिन का पक्ष हुआ है उसे वर्ष अनेकों प्रकार के दुख आम जनमानस को भोगने पड़ते हैं।
होती है भगवान विष्णु की पूजा
यह तिथि भगवान विष्णु को समर्पित रहती है। इस दिन भगवान विष्णु की विधि-विधान से पूजा की जाती है। इस दिन पितरों का तर्पण किया जाता है और इसे हलहारिणी अमावस्या कहते हैं, इसलिए इस दिन हल की पूजा भी की जाती है। आपको बता दें कि साल की सभी 12 अमावस्या खास मानी जाती हैं, लेकिन आषाढ़ माह में पड़ने वाली अमावस्या को पूजा-पाठ करने और स्नान करके पितरों का तर्पण किया जाता है।
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