Hindi Newsपश्चिम बंगाल न्यूज़CBI to Court RG Kar rape murder case records falsified by Kolkata police station

पुलिस स्टेशन में हुआ हेरफेर, झूठे रिकॉर्ड बनाए गए; कोलकाता कांड में CBI का बड़ा खुलासा

  • सीबीआई ने अदालत को यह भी सूचित किया कि जब्त किए गए सीसीटीवी फुटेज को आगे की जांच के लिए केंद्रीय फोरेंसिक विज्ञान प्रयोगशाला (सीएफएसएल) भेजा गया है।

Amit Kumar लाइव हिन्दुस्तान, कोलकाताWed, 25 Sep 2024 09:32 PM
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आर.जी. कर मेडिकल कॉलेज में जूनियर डॉक्टर के बलात्कार और हत्या के मामले में सीबीआई (केंद्रीय जांच ब्यूरो) ने आरोप लगाया है कि ताला पुलिस स्टेशन में कुछ रिकॉर्ड "झूठे बनाए गए" और कुछ "बदल दिए गए"। जांच एजेंसी ने कोलकाता की एक विशेष अदालत को बताया कि पुलिस स्टेशन से सीसीटीवी फुटेज भी जब्त किए गए हैं।

सीबीआई ने अदालत को यह भी सूचित किया कि जब्त किए गए सीसीटीवी फुटेज को आगे की जांच के लिए केंद्रीय फोरेंसिक विज्ञान प्रयोगशाला (सीएफएसएल) भेजा गया है। सीबीआई ने पुलिस स्टेशन के प्रभारी अधिकारी अभिजीत मंडल और मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्रिंसिपल संदीप घोष से पूछताछ की। ताला थाने के प्रभारी अभिजीत मंडल और मेडिकल कॉलेज के पूर्व प्राचार्य संदीप घोष से हिरासत में पूछताछ करने वाली सीबीआई ने अदालत को सूचित किया कि उसकी जांच में "नए/अतिरिक्त" तथ्य सामने आए हैं, जिससे पता चलता है कि ताला थाने में मामले से संबंधित कुछ गलत रिकॉर्ड बनाए गए थे/बदले गए थे।

मंडल और घोष को रिमांड समाप्त होने पर बुधवार को अदालत में पेश किया गया, जहां विशेष अदालत ने उनकी न्यायिक हिरासत को 30 सितंबर तक बढ़ा दिया। सीबीआई ने यह भी आरोप लगाया कि प्रमुख आरोपी संजय रॉय के कपड़े और सामान जब्त करने में "दो दिन की अनावश्यक देरी" हुई, जिससे उसके खिलाफ महत्वपूर्ण सबूतों का नुकसान हो सकता था। मुख्य आरोपी संजय रॉय को घटना के अगले ही दिन गिरफ्तार किया गया था, जब उसके अपराध में शामिल होने का संकेत पहले ही मिल चुका था। अब एजेंसी इस मामले में रॉय, घोष और मंडल के बीच किसी संभावित आपराधिक साजिश की जांच कर रही है।

गौरतलब है कि 9 अगस्त को आर.जी. कर मेडिकल कॉलेज के सेमिनार हॉल में एक प्रशिक्षु महिला डॉक्टर का शव मिला था। पोस्टमार्टम रिपोर्ट से यह खुलासा हुआ था कि उसके साथ पहले बलात्कार और फिर हत्या की गई थी। फिलहाल संजय रॉय को इस मामले में एकमात्र आरोपी के रूप में नामित किया गया है। इस मामले ने देश भर में व्यापक विरोध प्रदर्शनों को जन्म दिया है। कोलकाता के जूनियर डॉक्टरों ने अपनी ड्यूटी पर लौटने से इनकार कर दिया था और पीड़िता को न्याय दिलाने की मांग की। मृतक डॉक्टर के परिवार ने पश्चिम बंगाल की मुख्यमंत्री ममता बनर्जी और कोलकाता पुलिस पर अपराध को छिपाने और परिवार को पैसे की पेशकश करने का आरोप भी लगाया है।

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