Hindi Newsउत्तराखंड न्यूज़Doors of Badrinath Dham also opened huge crowd of pilgrims in Uttarakhand Chardham Yatra

बदरीनाथ धाम के भी खुले कपाट,  उत्तराखंड चारधाम यात्रा में भक्तों की भारी भीड़; संभालना मुश्किल

बदरीनाथ धाम में ब्रह्म बेला पर सुबह चार बजे से कपाट खुलने की प्रक्रिया शुरू हुई। हल्की बारिश के बीच आर्मी बैंड एवं ढोल नगाडो की मधुर धुन और स्थानीय महिलाओं के पारम्परिक संगीत के साथ शुभारंभ हुआ।

Himanshu Kumar Lall देहरादून, हिन्दुस्तान, Sun, 12 May 2024 10:03 AM
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उत्तराखंड चारधाम में यात्रियों की भारी भीड़ आ रही रही है। केदारनाथ, गंगोत्री-यमुनोत्री के बाद आज रविवार को बदरीनाथ धाम के कपाट भी खुल गए हैं। आपको बता दें कि चारधाम यात्रा के लिए जाने के लिए रजिस्ट्रेशन कराना जरूरी है। ऑनलाइन के साथ ही ऑफलाइन रजिस्ट्रेशन का भी इंतजाम है।

विश्व प्रसिद्ध भगवान श्री बद्रीनाथ मंदिर के कपाट 12 मई को शुभ मुहूर्त पर सुबह 6:00 बजे पूरे विधि विधान एवं वैदिक मंत्रोच्चार के साथ श्रद्धालुओं के लिए खुल गए है। हजारों भक्त इस पावन पल के साक्षी बने। बदरीनाथ कपाट खुलने के मौके पर पहले दिन विशेष पूजा अर्चना की गई। मुख्यमंत्री श्री पुष्कर सिंह धामी ने कपाट खुलने के शुभ अवसर पर समस्त श्रद्धालुओं को बधाई दी है।

भीड़ संभालना भी हुआ मुशकिल
चारधाम यात्रा का शुभारंभ 10 मई को केदारनाथ, गंगोत्री-यमुनोत्री धामों के कपाट खुलने के साथ शुरू हो गए थे। चारों धामों में तीर्थ यात्रियों की भारी भीड़ आ रही है। प्रशासन की ओर से भी तीर्थ यात्रियों को नहीं आने की सलाह दी रही है। 

प्रतिदिन पंजीकरण
20 हजार बदरीनाथ
18 हजार केदारनाथ
09 हजार यमुनोत्री
11 हजार गंगोत्री

पिछले आठ सालों में इतने यात्री पहुंचे बद्रीनाथ धाम
विगत वर्षों में लाखों श्रद्धालु बद्रीनाथ की यात्रा कर चुके है। पिछले आंकड़ों पर नजर डाले तो वर्ष 2016 में 654355, वर्ष 2017 में 920466 तथा वर्ष 2018 में 1048051, वर्ष 2019 में 1244993 तथा वर्ष 2020 में 155055 श्रद्धालु बद्रीनाथ पहुॅचे। वर्ष 2021 में कोरोना संकट के कारण 197997 श्रद्धालु ही बदरीनाथ पहुॅचे। जबकि कोरोना महामारी पर नियंत्रण के बाद विगत वर्ष 2022 में 1763549 और 2023 में रिकार्ड 1839591 श्रद्धालु बद्रीनाथ धाम पहुॅचे। इस बार शुरुआत में ही रिकॉर्ड पंजीकरण के साथ बड़ी संख्या में श्रद्धालु बदरीनाथ पहुंचने लगे है।

चारों धामों में भारी भीड़
उत्तराखंड चारो धामों में तीर्थ यात्रियों की भारी भीड़ है। पुलिस-प्रशासन की ओर से अतिरिक्त फोर्स तैनात किया गया है। पुलिस की ओर से यात्रियों को यात्रा पर नहीं जाने की सलाह भी दी गई है। विदित हो कि यात्रा पर जाने से पहले पंजीकरण कराना अनिवार्य है। 

 बदरीनाथ धाम में ब्रह्म बेला पर सुबह चार बजे से कपाट खुलने की प्रक्रिया शुरू हुई। हल्की बारिश के बीच आर्मी बैंड एवं ढोल नगाडो की मधुर धुन और स्थानीय महिलाओं के पारम्परिक संगीत और नृत्य के साथ भगवान बद्री विशाल की स्तुति ने श्रद्धालुओं को मंत्रमुग्ध कर दिया। धार्मिक परंपराओं के निर्वहन के साथ कुबेर जी, श्री उद्धव जी एवं गाडू घडा दक्षिण द्वार से मंदिर में परिसर में लाया गया।

केदारनाथ वर्ष 2023 में 25 अप्रैल को मंदिर के कपाट खुले थे। पहले दिन 18 हजार 335 और दूसरे दिन 26 अप्रैल को 13 हजार 492 श्रद्धालुओं ने दर्शन किए। इस साल 10 मई को कपाट खुलने के दिन ही 29 हजार 30 श्रद्धालु केदारनाथ में मौजूद थे। दूसरे दिन 11 मई को 22हजार 599 श्रद्धालुओं ने दर्शन किए।

 इस दिन मिली इतनी भीड़

यमुनोत्री वर्ष 2023 में 22 अप्रैल को मंदिर के कपाट खुले थे। पहले दिन 6838 श्रद्धालुओं ने दर्शन किया। जबकि दूसरे दिन 23 अप्रैल को 7593 श्रद्धालुओं ने दर्शन किए। इस साल 10 मई को कपाट खुलने के दिन 12 हजार 193 और दूसरे दिन 11 मई को 8009 श्रद्धालुओं ने दर्शन किए।

गंगोत्री वर्ष 2023 में 22 अप्रैल को मंदिर में पहले दिन चार हजार और दूसरे दिन 23 अप्रैल को 4937 श्रद्धालुओं ने दर्शन किए। इस साल 10 मई को कपाट खुलने पर 2203 और दूसरे दिन 11 मई को 5203 श्रद्धालुओं ने दर्शन किए।

यमुनोत्री में अब यात्रियों को नहीं होगी कोई परेशानी 
उत्तरकाशी,संवाददाता। भीड प्रबंधन तथा ट्रैफिक के सुचारू संचालन यमुनोत्री मार्ग पर शनिवार को वाहनों को चिन्हित स्थानों पर कुछ समय के लिए रोकने के बाद नियंत्रित तरीके से आगे की यात्रा के लिए रवाना करवाया जा रहा है।

जिलाधिकारी डॉ. मेहरबान सिंह बिष्ट ने शनिवार को एक बैठक लेकर यात्रा व्यवस्थाओं की समीक्षा की। उन्होंने कहा कि यमुनोत्री मार्ग पर सुविधाजनक स्थानों पर वाहनों को रोक कर नियंत्रित तरीके से आगे के लिए रवाना करवाए जाने से जाम की समस्या से निपटने में मदद मिल रही है और पैदल मार्ग पर भी आवाजाही को सुव्यस्थित व सुरक्षित बनाए रखने में सहूलियत होगी।

यमुनोत्री धाम में बड़ी संख्या में यात्रियों के पहुँचने के कारण श्रद्धालुओं की सुरक्षा व सुविधा के लिए यमुनोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग पर वाहनों की आवाजाही को रेगुलेट करने के साथ ही जानकीचट्टी से यमुनोत्री पैदल मार्ग पर डडी-कंडी व घोड़े खच्चरों को रोटेशन के अनुसार चलाया जा रहा है।

इसके साथ ही यमुनोत्री पैदल मार्ग पर अत्यधिक भीड़भाड़ वाले दिनों के लिए बनाये गए भंडेलीगाड के लगभग ढाई किमी लंबे वैकल्पिक वनमार्ग को भी पहले ही दिन से ही घोड़े-खच्चरों की एकतरफा जाने के लिए उपयोग में लाया गया है।

इसके बाद मंदिर के मुख्य पुजारी रावल समेत धर्माधिकारी, हक हकूकधारी एवं श्री बदरीनाथ केदारनाथ मंदिर समिति के पदाधिकारियों द्वारा प्रशासन एवं हजारों श्रद्धालुओं की मौजूदगी में विधि विधान के साथ मंदिर के कपाट खोले गए।

मुख्य पुजारी वीसी ईश्वर प्रसाद नंबूदरी ने गर्भगृह में भगवान बद्रीनाथ की विशेष पूजा-अर्चना करते हुए सबके लिए मंगलमय की कामना की। इसके साथ ही ग्रीष्मकाल के लिए बद्रीनाथ के दर्शन शुरू हो गए है। पहले दिन ही हजारों श्रद्धालुओं ने बद्रीनाथ में अखण्ड ज्योति एवं भगवान श्री बद्रीनाथ के दर्शनों का पुण्य अर्जित किया। कपाटोद्घाटन के अवसर पर बद्रीनाथ मंदिर को 15 कुंतल फूलों से सजाया गया था।

कपाट खुलने के एक दिन पूर्व से ही बद्रीनाथ धाम में श्रद्धालुओं की भीड़ जुटने लगी थी। गंगोत्री, यमुनोत्री, केदारनाथ एवं बद्रीनाथ धाम के कपाट खुलने के साथ ही उत्तराखंड में चारधाम यात्रा का पूरी तरह से आगाज हो गया है। कपाट खुलने के अवसर पर श्री बद्रीनाथ केदारनाथ मंदिर समिति के अध्यक्ष अजेन्द्र अजय, जिलाधिकारी हिमांशु खुराना, पुलिस अधीक्षक सर्वेश कुमार,हक हकूकधारी एवं बडी संख्या में श्रद्धालु मौजूद थे।

यमुनोत्री बिना दर्शन लौटे यात्री
उत्तराखंड में शुरू होने के साथ चारधाम यात्रा में श्रद्धालुओं की भीड़ उमड़ रही है। यमुनोत्री यात्रा मार्ग पर पहले दिन से वाहनों का भारी दबाव है। जाम के कारण शनिवार को यमुनोत्री के यात्रा पड़ावों पर रोके गए कई यात्री बिना दर्शन किए लौट गए। पैदल मार्ग पर भी भारी भीड़ के कारण अव्यवस्था रही।

यमुनोत्री धाम के कपाट खुलने के दिन शुक्रवार को जो यात्री यमुनोत्री गए थे, उनमें से अधिकांश तीर्थयात्री शाम को भी बड़कोट नहीं लौट सके। इन यात्रियों ने बड़कोट में वापसी के लिए कमरे बुक कराए हुए थे। उसी दिन वापसी नहीं होने के कारण हनुमान चट्टी के पास जाम लगना बताया जा रहा है

। कई यात्रियों को वाहनों में ही रात गुजारनी पड़ी। हालांकि कुछ पड़ावों पर पुलिस ने वाहनों को रोक दिया था, ताकि यमुनोत्री में भीड़ न बढ़ सके। इधर, शनिवार को दूसरे दिन जो रास्ते में यात्री जाम के कारण यमुनोत्री नहीं जा सके, वह दर्शन किए बगैर ये बड़कोट आ गए।

शनिवार को भी जानकी चट्टी में जाम लगता रहा। पुलिस ने पालीगाड़ में ही वाहनों को रोके रखा। यहां से रुक-रुक कर यात्री वाहनों को जानकी चट्टी के लिए छोड़ा गया। बड़कोट में गुजरात से आए यात्री हीरेन भाई, सुशांत भाई, नवीन भट्टाचार्य आदि ने बताया कि कपाट खुलने पर यमुनोत्री धाम के दर्शन को आए थे।

लेकिन जाम में फंसने के कारण वे आगे नहीं जा पाए। इस कारण बिना दर्शन किए शनिवार को वापस लौट आए हैं। एसएचओ बड़कोट संतोष कुंवर ने बताया कि पहले दिन भीड़ बढ़ने से दिक्कत जरूर हुई, लेकिन अब ऐसा नहीं है।

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