भक्तों से सावधान रहने की अपील! प्रेमानन्द महाराज के नाम पर चल रही 'दुकानें', नोटिस जारी
- मथुरा के वृंदावन में संत प्रेमानन्द महाराज और उनके आश्रम के नाम पर 'दुकानें' चल रही हैं। ऐसी जानकारी होने पर आश्रम की ओर से सार्वजनिक नोटिस जारी किया गया है, जिसमें भक्तों से सावधान रहने की अपील की है।
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मथुरा के वृंदावन में संत प्रेमानन्द महाराज और उनके आश्रम के नाम पर 'दुकानें' चल रही हैं। ऐसी जानकारी होने पर आश्रम की ओर से सार्वजनिक नोटिस जारी किया गया है, जिसमें भक्तों से सावधान रहने की अपील की है। नोटिस में कहा गया है कि आश्रम का नाम जोड़कर कोई भी व्यक्ति, शिष्य, परिकर, संत वेषधारी किसी भी विषय में भ्रमित करता है तो ऐसे व्यक्तियों से सावधान व सतर्क रहने की जरूरत है, उनके झांसे में न आयें। संत प्रेमानन्द महाराज और उनके आश्रम के नाम पर बहुत लोग व्यवसाय कर रहे हैं। किसी ने गेस्ट हाउस पर बोर्ड लगा दिया कि संत के दर्शन के लिये संपर्क करें तो कोई आश्रम के नाम पर कंठी, माला व अन्य सामान की दुकान खोल बैठा है।
आश्रम को जानकारी हुई है कि कई लोग आश्रम के नाम पर रियल स्टेट का कारोबार कर रहे हैं और कुछ हैं जो आश्रम की गौशाला बताकर दान ले रहे हैं। इसे देखते हुए श्री हित राधा केलि कुंज आश्रम की ओर से शुक्रवार को सार्वजनिक सूचना जारी की गई है। जिसमें कहा गया है कि वृंदावन के अलावा आश्रम की अन्य कहीं भी किसी भी प्रकार की कोई शाखा (ब्रांच) नहीं है। आश्रम द्वारा किसी भी प्रकार का भूमि, फ्लैट, प्लॉट, एवं भवन निर्माण आदि के विक्रय का कार्य नहीं किया जाता है। आश्रम का कहीं भी, किसी भी प्रकार का होटल, रेस्टोरेंट, ढाबा, यात्री विश्राम स्थल, चिकित्सालय, गुरुकुल विद्यालय नहीं है और न ही कोई गौशाला है।
आश्रम की किसी प्रकार की कण्ठी, माला, छवि, पूजा, श्रृंगार सामग्री आदि की कोई भी ऑनलाइन, ऑफलाइन दुकान नहीं है। आश्रम के द्वारा किसी भी प्रकार का विज्ञापन नहीं किया जाता है। इसके साथ ही यह भी अपील की गई है कि आश्रम परिसर में एकान्तिक वार्तालाप, सत्संग, कीर्तन एवं वाणी पाठ में सम्मिलित होना निःशुल्क है जिसके लिए एक दिन पहले आश्रम में आकर नाम लिखवाना अनिवार्य है। सूचना में कहा गया है कि श्रीहित प्रेमानन्द गोविंद शरण महाराज व श्री हित राधा केलि कुँज आश्रम का नाम जोड़कर कोई भी व्यक्ति, शिष्य परिकर, संत वेषधारी किसी भी विषय में आपको भ्रमित करता है तो ऐसे व्यक्तियों से सावधान व सतर्क रहें एवं उनके झांसे में न आयें।