ताजमहल के दरवाजे पर लगे सुलेख संगमरमर से आ रहे बाहर, शिकायत पर ASI ने दिया ये जवाब
- ताजमहल के दरवाजे (पैनल) पर कैलीग्राफी (सुलेख) उभरकर संगमरमर से बाहर आ जाने की शिकायत भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण और यूनेस्को वर्ल्ड हेरिटेज मान्यूमेंट से की गई है। इस पर एएसआई के अधिकारियों ने जवाब दिया।

ताजमहल के दरवाजे (पैनल) पर कैलीग्राफी (सुलेख) उभरकर संगमरमर से बाहर आ जाने की शिकायत भारतीय पुरातत्व सर्वेक्षण और यूनेस्को वर्ल्ड हेरिटेज मान्यूमेंट से की गई है। शिकायतकर्ता इतिहासकार राणा साफवी ने एएसआई से इस नुकसान को रोकने के लिए जरूरी कदम उठाने का अनुरोध किया है। वहीं एएसआई के अधिकारियों ने अपने जवाब में कहा है कि संगमरमर से काले जैस्पर के कुछ बाहर आ जाने की सामान्य प्रक्रिया है। संरक्षण कार्य चलता रहता है।
राणा साफवी द्वारा की गई शिकायत में कहा गया है कि ताजमहल के स्मारकीय प्रवेश द्वार को होने वाले नुकसान को रोकने के लिए कदम उठाए जाएं। ताजमहल में विश्व प्रसिद्ध सुलेख पैनलों के कुछ अक्षर संगमरमर से उभरकर बाहर आ गए हैं। उन्होंने एएसआई से इन कारणों का अध्ययन करने का सुझाव भी दिया है। वहीं ताजमहल के वरिष्ठ संरक्षण सहायक प्रिंस वाजपेयी ने कहा है कि स्मारक के रॉयल गेट के एक भाग में काले संगमरमर की जड़ाई सफेद संगमरमर की सतह से थोड़ी बाहर निकली हुई प्रतीत होती है।
उन्होंने कहा कि यह प्राकृतिक अपक्षय, थर्मल विस्तार और सामग्री की उम्र बढ़ने के कारण जटिल जड़ाई कार्य वाले स्मारकों में देखी जाने वाली एक सामान्य घटना है। उन्होंने कहा कि विरासत स्थल की संरचनात्मक अखंडता और सौंदर्य संरक्षण सुनिश्चित करने के लिए अन्य आवश्यक मरम्मत कार्यों के साथ-साथ इस तरह की कमियों को दूर करने के लिए संरक्षण कार्य कराया जाता है। ये उनके संज्ञान में है। इसका कार्य भी कराया जाएगा। हालांकि ये सामान्य प्रक्रिया है।
अमानत खान ने की थी डिजायन
मुगल रईस और कैलीग्राफी (सुलेख) के विशेषज्ञ अमानत खान ने कुरान की आयतों का चयन कर उनको डिजायन किया था। यहीं काले जैस्पर से ताजमहल में लगे संगमरमर में जड़े हुए हैं। अमानत खां थुलूथ (अरबी) के भी विशेषज्ञ थे।