पूर्व पीएम स्व.अटल बिहारी वाजपेयी की पौत्री संग 100 से ज्यादा महिलाएं करेंगी अजन्मी बेटियों का तर्पण
कानपुर में बड़ी पहल हो रही है। पितृपक्ष में कानपुर की महिलाएं गर्भ में मार दी गई बेटियों का तर्पण करेंगी। उनके मोक्ष को 18 सितंबर को सरसैया घाट में पिंडदान किया जाएगा। युग दधीचि देहदान संस्थान की पहल।
'कोख में कन्याओं का कत्ल न हो। बेटे की चाह में बेटी से जन्म का हक न छीनें। बेटी बचाने की जिम्मेदारी हर माता-पिता पर।' ऐसे संकल्प-संदेश के साथ कानपुर में बड़ी पहल हो रही है। पितृपक्ष में कानपुर की महिलाएं गर्भ में मार दी गई बेटियों का तर्पण करेंगी। उनके मोक्ष को 18 सितंबर को सरसैया घाट में पिंडदान किया जाएगा। युग दधीचि देहदान संस्थान की ने यह सांकेतिक पहल की है। जिसमें अजन्मी बेटियों के अलावा देहदानियों और देश के लिए बलिदान होने वालों ज्ञात-अज्ञात लोगों का भी तर्पण होगा। पूर्व प्रधानमंत्री स्व. अटल बिहारी वाजपेयी की पौत्री नंदिता समेत शहर की सौ से ज्यादा महिलाएं इसमें शामिल होंगी।
कानपुर कचहरी के पास स्थित प्रसिद्ध सरसैया घाट किनारे विभिन्न क्षेत्रों में पहचान रखने वाली महिलाएं 18 सितंबर को जुटेंगी। जन्म लेने से पहले ही कोख में मार दी गई बेटियों का तर्पण सुबह 10 बजे से वैदिक मंत्रोच्चार के बीच किया जाएगा। मुख्य तर्पण पूजन अटल बिहारी वाजपेयी जी की पौत्री नन्दिता व दामाद सुमित मिश्र करेंगे। मुख्य यजमान मधुकर महाना व डा. आनन्द निगम होंगे। पितरों की महाआरती विजय पाण्डेय एवं विहिप के प्रांतीय अध्यक्ष राजीव महाना करेंगे। प्रदेश की विधानसभा के अध्यक्ष सतीश महाना की बहू भावना महाना, शिक्षाविद डॉ.अलका दीक्षित, प्रो. नीलम त्रिवेदी, डॉ.नीना अवस्थी, डॉ.सीमा श्रीवास्तव, श्रमिक भारती की सीमा पांडेय आदि मौजूद रहेंगी।
देहदान अभियान चलाता युग दधीचि संस्थान
युग दधीचि संस्थान देहदान का सबसे बड़ा अभियान चलाने वाली संस्था है। अब तक 243 देहदान कराए हैं। मेडिकल कॉलेजों में दान किए गए शरीरों से मेडिकल छात्रों को पढ़ाया जाता है। 3000 से ज्यादा लोग देहदान का संकल्प कर चुके हैं। दान किए गए शरीरों की कॉर्निया से सैकड़ों लोगों को रोशनी मिली है। संस्था ने 2006 में पहला देह डेरापुर के 21 वर्षीय बउआ दीक्षित का कराया था। कानपुर में भ्रूण हत्या के खिलाफ 2013 से बड़ा अभियान चल रहा है।
सात घाटों से रूठीं गंगा, पिंडदान को पानी नहीं
सरसैया घाट, खेरेश्वर घाट, मैस्कर घाट, चंदन घाट, ड्योढ़ी घाट, सिद्धनाथ और गोला घाट पर पिंडदान को गंगा की धारा नहीं है। बजरंग दल के पूर्व राष्ट्रीय संयोजक प्रकाश शर्मा, आशीष गुप्त, विहिप के जिला सहमंत्री कालीचरण जायसवाल ने गंगा को स्वच्छ रखने की अपील की है। उन्होंने डीएम से मांग की है कि गंगा की धारा घाटों तक लाने को बैराजों से पानी छुड़वा दिया जाए। अमावस्या तक पानी कानपुर तक आ जाएगा। विहि और बजरंग दल आश्विन मास की अमावस्या को राष्ट्र के लिए बलिदान हुई आत्माओं की शांति के लिए तर्पण पितृ विसर्जनी करते हैं।