जीएसटी छापा: काम नहीं आया इत्रकारोबारी का दांव, SBI के खाते में जमा हुए पीयूष जैन के घर से मिले 197 करोड़
डीजीजीआई की छापेमारी के बाद इत्र कारोबारी पीयूष जैन के आनंदपुरी स्थित घर से बरामद किए गए 197 करोड़ रुपये स्टेट बैंक के खाते में जमा कर दिए गए हैं। लंबी प्रक्रिया के बाद एसबीआई ने रकम के कस्टोडियम को...
डीजीजीआई की छापेमारी के बाद इत्र कारोबारी पीयूष जैन के आनंदपुरी स्थित घर से बरामद किए गए 197 करोड़ रुपये स्टेट बैंक के खाते में जमा कर दिए गए हैं। लंबी प्रक्रिया के बाद एसबीआई ने रकम के कस्टोडियम को स्वीकार किया। अब नोटों की छंटाई प्रक्रिया चल रही है। दिसंबर के आखिरी हफ्ते में पीयूष जैन, ट्रांसपोर्टर प्रवीण जैन और शिखर पान मसाले की इकाइयों पर डीजीजीआई की टीम ने छापा मारा था। आनंदपुरी स्थित उसके आवास पर गुप्त अलमारियों से 197 करोड़ कैश मिले थे। रकम 40 बक्सों में भरकर स्टेट बैंक भेजी गई थी। पीयूष ने दांव चलते हुए उसी दौरान 52 करोड़ रुपये जीएसटी और पेनाल्टी के रूप में काटने का पत्र डीजीजीआई के साथ-साथ स्टेट बैंक को भी दे दिया था जिसे स्वीकार नहीं किया गया।
करीब चार हफ्ते बाद स्टेट बैंक ने पूरी रकम अपने खाते में जमा कर ली है। सूत्रों के मुताबिक करोड़ों के नोट चिपके हुए निकल रहे हैं, जिन्हें अलग करना एसबीआई स्टाफ के लिए किसी चुनौती से कम नहीं है। 12 लाख से ज्यादा नोटों में नकली नोटों की जांच करना भी बेहद चुनौतीपूर्ण साबित हो रहा है, जिसके लिए नोट सार्टिंग मशीनों की मदद ली जा रही है। एसबीआई के एक वरिष्ठ अधिकारी के मुताबिक बैंक इस करेंसी का केवल कस्टोडियन है। इसके अलावा रकम पर कोई अधिकार नहीं है। कानूनी दिशा-निर्देशों के मुताबिक जैसा आदेश आएगा, वैसा किया जाएगा। अगर टैक्स काटने का आदेश दिया जाएगा तभी बैंक टैक्स की राशि जब्त करेगा।