33 दिन में गाय को राष्ट्रमाता घोषित करे सरकार, शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद ने दिया अल्टीमेटम
- शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद ने कहा कि यदि केंद्र सरकार तय समय के भीतर गाय को राष्ट्रमाता घोषित नहीं करती है तो 17 मार्च को दिल्ली के रामलीला मैदान में सुबह 7 बजे से शाम 5 बजे तक गो प्रतिष्ठा निर्णायक दिवस आयोजित करेंगे फिर आगे की रणनीति तय की जाएगी।
Shankaracharya Swami Avimukteshwarananda Saraswati News: शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद सरस्वती ने गाय को राष्ट्र माता घोषित करने के लिए केंद्र सरकार को 33 दिन का समय दिया है। मंगलवार को प्रेसवार्ता में शंकराचार्य अविमुक्तेश्वरानंद ने एक तरह से अल्टीमेटम देते हुए 17 मार्च की अंतिम तारीख तय कर दी। उन्होंने कहा कि यदि केंद्र सरकार तय समय के भीतर गाय को राष्ट्रमाता घोषित नहीं करती है तो 17 मार्च को दिल्ली के रामलीला मैदान में सुबह 7 बजे से शाम 5 बजे तक गो प्रतिष्ठा निर्णायक दिवस आयोजित करेंगे। फिर आगे की रणनीति तय की जाएगी। केंद्र सरकार को स्मरण पत्र भी भेजा जाएगा।
शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने कहा 20 नवंबर 2023 से गोपाल मणि के संयोजन में भारतीय गो क्रांति मंच की ओर से चारों जगद्गुरु शंकराचार्य पीठों के समर्थन से आंदोलन चल रहा है। तीन गो संसद का आयोजन हो चुका है।
2024 में गोवर्धन से दिल्ली तक नंगे पांव पदयात्रा भी हुई तथा संपूर्ण भारत में गो ध्वज स्थापना भारत यात्रा तक हो चुकी है किंतु सुनवाई नहीं हो सकी जिससे गो भक्तों में असहनीय पीड़ा है। उन्होंने कहा कि सरकार को स्मरण के लिए 12 फरवरी को कुम्भ का अमृत जल और 324 कुंडीय यज्ञ का भस्म लेकर गोभक्त सचिन द्विवेदी प्रयागराज से दिल्ली पगयात्रा पर निकलेंगे।
शंकराचार्य स्वामी अविमुक्तेश्वरानंद ने झूंसी में स्थित भगवान हंसतीर्थ का दर्शन न कर पाने का मलाल जताते हुए कहा कि श्रीहंसावतार स्थल के दर्शन से श्रद्धालु वंचित हो रहे हैं। उन्होंने कहा कि प्रशासन भी लाचार दिखाई दे रहा है। यदि उस पवित्र स्थल को हिंदुओं के दर्शन के लिए नहीं खोला जाता तो भविष्य में अयोध्या मथुरा जैसा आंदोलन प्रयाग में भी होगा। शंकराचार्य ने एक धर्म ग्रंथ पर आपत्तिजनक टिप्पणी किए जाने पर 21 दिन में कांग्रेस नेता राहुल गांधी को भी चेतावनी पत्र जारी करने की बात कही है।