खप्पड़ योग और एक ही राशि में चार ग्रह, काशी के पंचागों ने बताया क्यों बन रहे पाकिस्तान से युद्ध के हालात
कई पंचांग आतंकी हमले और युद्ध के हालात का इशारा कर रहे हैं। इन पंचांग के अनुसार इस समय खप्पड़ योग और एक ही राशि में चार ग्रहों के कारण ऐसा हो रहा है। ऐसे में सुरक्षा एजेंसियों को भी सतर्कता का संदेश देने की कोशिश हो रही है।

काशी के पंचांगों के अनुसार मौजूदा पखवाड़े में तीन रविवार पड़ने से पहलगाम आतंकी हमले जैसे हालात बने हैं। संक्रांति और अमावस्या भी रविवार को पड़ने से खप्पड़ योग बना जिसके दूरगामी परिणाम और खतरनाक हो सकते हैं। जब-जब खप्पड़ योग बनता है तब-तब आतंकी हमलों और युद्ध जैसे हालात बनते हैं। काशी से प्रकाशित होने वाले महावीर पंचांग, ऋषिकेश पंचांग, विश्व पंचाग और गणेश आपा पंचांग में भी ग्रहों की ऐसी ही स्थिति का उल्लेख है। इन पंचांगों के फलादेश में भी ऐसे संकेत हैं।
इन ग्रह स्थितियों को देखते हुए देश की सुरक्षा एजेंसियों को विशेष सतर्कता बरतने की जरूरत है। वर्तमान संवत्सर का राजा और मंत्री दोनों ही सूर्य हैं। नीच ग्रह की श्रेणी में रखे गए सूर्य की यह स्थिति भी भारत के दुश्मन देशों को भारत के खिलाफ उकसा रही है। महावीर पंचांग के संपादक पं. रामेश्वरनाथ ओझा ने बताया कि देश में आतंकवादी घटनाओं सहित अन्य उथल-पुथल के लिए एक ही राशि पर चार ग्रहों का होना भी महत्वपूर्ण कारण है। बुध, शुक्र, शनि और राहु एक साथ मीन राशि पर हैं।
उन्होंने कहा कि महावीर पंचांग के वार्षिक फलादेश में स्पष्ट लिखा गया है कि आधुनिक अस्त्र-शस्त्र से सुसज्जित सेना हर प्रकार से समर्थ होने तथा शासक वर्ग की प्रबल इच्छा के बावजूद हिंसा, उग्रवाद, तोड़फोड़ एवं पड़ोसी देशों के शत्रुओं के षडयंत्र से दो-चार होना होगा। रासायनिक एवं विषैली गैसों का प्रयोग भी पड़ोसी शत्रु कर सकते हैं। ऐसे में युद्ध जैसी स्थित बनने की आशंका है। देश को इस वर्ष एक साथ आंतरिक एवं बाहरी दोनों प्रकार के शत्रुओं, रोग, तस्करी, अग्निकांड और विस्फोट से जूझना पड़ेगा। भृगु संहिता विशेषज्ञ पं. वेदमूर्ति शास्त्री ने बताया कि काशी से प्रकाशित होने वाले ऋषिकेश पंचांग, विश्व पंचाग और गणेश आपा पंचांग में भी ग्रहों की ऐसी ही स्थिति का उल्लेख है। इन पंचांगों के फलादेश में भी ऐसे संकेत हैं।