वक्फ जमीन से होने वाली आमदनी से किसे कितना फायदा? बरेलवी मौलाना ने बताई मुसलमानों के हित की बात
- लोकसभा के बाद अब राज्यसभा से भी वक्फ संशोधन बिल को लेकर कुछ मुस्लिम समाज के लोगों में संशय पैदा हो रखा है। आल इंडिया मुस्लिम जमात के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी ने इस संशय को दूर कर दिया है।

लोकसभा के बाद अब राज्यसभा से भी वक्फ संशोधन बिल को लेकर कुछ मुस्लिम समाज के लोगों में संशय पैदा हो रखा है। आल इंडिया मुस्लिम जमात के राष्ट्रीय अध्यक्ष मौलाना शहाबुद्दीन रजवी बरेलवी ने इस संशय को दूर कर दिया है। मुस्लिमों के हितों की बात करते हुए बरेलवी मौलाना ने कहा, अब वक्त आ गया है कि वक्फ संशोधन बिल गरीब व कमजोर मुसलमानों के हितों के लिए होगा। वक्फ जमीन से होने वाली आमदनी गरीब मुसलमानों कि सामाजिक और आर्थिक स्थिति को सुधारने में लगाई जाएगी। मैं भारत सरकार का शुक्रिया अदा करता हूं और साथ ही देश के तमाम नागरिकों को मुबारकबाद पेश करता हूं।
मौलाना ने कहा कि वक्फ संशोधन बिल से आम मुसलमानों का कोई नुकसान नहीं है बल्कि फायदा होगा, नुकसान उन वक्फ भू माफियाओं का होगा जिन लोगों ने करोड़ों की जमीनों पर कब्जा कर रखा है। इससे आम मुसलमानों को कोई नुकसान होने वाला नहीं है। मौलाना ने कहा कि वक्फ संशोधन बिल गरीब व कमजोर मुसलमानों के हितों के लिए है, वक्फ जमीन से होने वाली आमदनी गरीब मुसलमानों कि सामाजिक और आर्थिक स्थिति को सुधारने में लगायी जायेगी। वो परिवार जो गरीब है और अपने बच्चों को गुरबत की वजह से अच्छे स्कूलों में नहीं पढ़ा पा रहे हैं, ऐसे बच्चों की आर्थिक मदद करके पढ़ाई लिखाई में आगे बढ़ाया जायेगा। यतीम बच्चों और बेवा महिलाओं की तरक्की के लिए काम होंगे। इससे होने वाली आमदनी वाकिफ की मंशा के मुताबिक खर्च की जायेगी। स्कूल, कालेज, मदरसे और यतीमखाने खोले जायेंगे जिससे गरीब मुसलमानों का शिक्षा के मैदान में पिछड़ापन दूर होगा।
खतरे से बाहर हैं धार्मिक स्थल
मौलाना बरेलवी ने कहा कि वक्फ संशोधन बिल से धार्मिक स्थलों को कोई खतरा नही है। मस्जिदों, मदरसों, ईदगाहों, कब्रिस्तानों, दरगाहों को कोई खतरा नही है। इन धार्मिक स्थलों की स्थिति जैसी है वैसी ही रहेगी। इन धार्मिक स्थलों में हुकूमत कोई भी हस्तक्षेप नही कर सकती। मुसलमानों को कुछ राजनीतिक लोग अपने स्वार्थो का लाभ लेने के लिए गुमराह कर रहे हैं, मैं मुसलमानों से अपील करता हूं इन राजनीतिक लोगों के बहकावे और उकसावे में न आये।
सीएए की तरह वक्फ बिल पर डराया
मौलाना ने आगे कहा कि गत वर्षों जब सीएए कानून आने वाला था तब राजनीति लोगों ने मुसलमानों को खूब गुमराह किया, और यहां तक डराया कि आगर सीएए कानून लागू हो गया तो मुसलमानों की नागरिकता छीन ली जायेगी, जबकि हकीकत में ऐसा कुछ भी नही था। कानून के लागू होने के बाद तमाम चीजें स्पष्ट हो गयी कि पूरे भारत में किसी भी एक मुसलमान की नागरिकता नहीं छीनी गयी, बल्कि नागरिकता प्रदान की गयी है।