घाघरा खतरा निशान से 71 सेंटीमीटर ऊपर
लाटघाट, हिन्दुस्तान संवाद। घाघरा नदी के जलस्तर में बढ़ाव जारी रहा। नदी का जलस्तर खतरा बिंदु से 71 सेंटीमीटर ऊपर होने से गांवों के रास्ते डूबे। बच्चों के लिए विद्यालय में अवकाश घोषित। तीन बैराजों से...
लाटघाट, हिन्दुस्तान संवाद। बाढ़ प्रभावित क्षेत्र में रविवार को घाघरा नदी के जलस्तर में बढ़ाव जारी रहा। नदी का जलस्तर खतरा बिंदु से 71 सेंटीमीटर ऊपर होने से प्रभावित गांवों के लोगों में बेचैनी है। बीते 24 घंटे में नदी का जलस्तर नौ सेंटीमीटर बढ़ा है। तीन बैराजों से छोड़े गए 3,14,616 क्यूसेक पानी ने चिंता बढ़ा दी है। जलस्तर बढ़ने का खतरा बना हुआ है। घाघरा नदी का जलस्तर बढ़ने से क्षेत्र के दर्जनभर गांवों के रास्ते नदी के पानी में डूबे हैं। ग्रामीणों के आवागमन के लिए चार स्थानों पर नाव का संचालन किया जा रहा है। प्राइमरी पाठशाला बगहवां में पानी घुसने के बाद शनिवार को ही बच्चों के लिए अवकाश घोषित कर दिया। देवारा खास राजा, शाहडीह, बूढ़नपट्टी, भदौरा, मानिकपुर, अभ्भनपट्टी, अजगरा मगरबी समेत दर्जनभर गांवों के रास्ते पानी में डूब गए हैं। प्राथमिक विद्यालय बगहवां परिसर में बाढ़ का पानी घुसने के बाद विभाग ने बच्चों के लिए अवकाश घोषित कर दिया है, जबकि शिक्षकों को विद्यालय में उपस्थित रहना होगा। हालात को देखते हुए प्रशासन ने चक्की हाजीपुर, बांका, सोनौरा व मानिकपुर में नाव का संचालन शुरू करा दिया है। बदरहुआ गेज पर शनिवार की शाम चार बजे नदी का जलस्तर खतरा निशान 71.68 मीटर से 62 सेमी ऊपर 72.30 मीटर रिकार्ड किया गया था। रविवार को नौ सेमी बढ़कर 72.39 पर पहुंच गया। जलस्तर बढ़ने के कारण झगरहवा और बगहवा में कटान थम गई है। गिरजा, शारदा व सरयू बैराजों से छोड़े गए 3,14,616 क्यूसेक पानी ने बाढ़ के संकट को और भी गहरा कर दिया है। इस प्रकार अब तक 94,17,746 क्यूसेक पानी छोड़ा जा चुका है।
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