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CM को सुशासन के लिए अनुभवी सलाहकार की जरूरत;गहलोत ने भजनलाल शर्मा को दी नसीहत

  • राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री एवं कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अशोक गहलोत ने राज्य सरकार पर प्रदेश में बिगड़ती स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर सीएम भजनलाल शर्म पर निशाना साधा। गहलोत ने कहा कि सुशासन के लिए मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा को अनुभवी एवं अच्छे सलाहकार रखना चाहिए।

Utkarsh Gaharwar लाइव हिन्दुस्तान, जोधपुरSun, 23 Feb 2025 01:24 PM
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CM को सुशासन के लिए अनुभवी सलाहकार की जरूरत;गहलोत ने भजनलाल शर्मा को दी नसीहत

राजस्थान के पूर्व मुख्यमंत्री एवं कांग्रेस के वरिष्ठ नेता अशोक गहलोत ने राज्य सरकार पर प्रदेश में बिगड़ती स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर सीएम भजनलाल शर्म पर निशाना साधा। गहलोत ने कहा कि सुशासन के लिए मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा को अनुभवी एवं अच्छे सलाहकार रखना चाहिए ताकि राज्य में लोगों की समस्याओं पर ध्यान दिया जा सके।गहलोत शनिवार को यहां जोधपुर में मीडिया से बातचीत में यह बात कही।

अशोक गहलोत ने सुझाव देते हुए कहा कि भजनलाल शर्मा को आवश्यकता है अच्छे एडवाइजर की। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के अंदर बड़े पुराने लोग बैठे हैं , चुनाव जीत नहीं पाए होंगे मान लो,कभी सांसद रहे होंगे,विधायक रहे होंगे,मंत्री रहे होंगे,चुनाव जीतना अलग बात है। उनके अनुभव का लाभ क्यों नहीं ले रहे हैं। उन्होंने कहा कि मैं बार बार कह रहा हूं कि अनुभव का कोई विकल्प नहीं होता। मैं समझता हूं कि गुड गवर्नेंस की बात तो छोड़ो,राजस्थान के अंदर त्राहि त्राहि मची हुई है। शिक्षा, स्वास्थ्य में, अंग्रेजी मीडियम पर कमेटी बना दी,क्रांतिकारी काम किया है। हमारे गांव के बच्चे,किसानों,दलितों ,पिछड़ों के बच्चे इंग्लिश पढ़ रहे हैं और बोल रहे हैं।

उन्होंने कहा कि मैंने अपने लिए एडवाइजर बनाए थे। मैं तीन बार का मुख्यमंत्री था तब भी मैंने एडवाइजर बना दिए तो ये तो पहली बार जीत के आए हैं भई। एमएलए बने हैं और इनको मौका मिला मुख्यमंत्री बनने का तो, इनको चाहिए कि अच्छे एडवाइजर रखें।

गहलोत ने कहा कि उन्होंने जिले समाप्त कर दिए। हमने कहा राजस्थान के अंदर और अधिक जिले बनाने की गुंजाइश है। मेरे पास पूरे आंकड़े हैं कि गुजरात के अंदर, मध्य प्रदेश के अंदर जो हमसे कम आबादी के एरियाज हैं, वहां जिले बने हैं। हमारे से कम आबादी के भी बने हैं। तो यहां और जिले बनाने की गुंजाइश थी जिससे की प्रशासनिक दृष्टिकोण से जनता को दूर न जाना पड़े। आदमी भर सौ किलोमीटर, डेढ़ सौ दो सौ किलोमीटर,ढाई सौ किलोमीटर, ढाई सौ किलोमीटर जाएगा और उस दिन मान लीजिए कोई कारण से अधिकारी नहीं मिला उनको,कलेक्टर नहीं मिला,एसपी नहीं मिला ,एडीएम नहीं मिला तो वह अपने घर वापस चला जाता है।

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