Hindi Newsएनसीआर न्यूज़Delhi: Three-day e-ticketing trial in DTC buses starting today

दिल्ली : डीटीसी बसों में तीन दिन का ई-टिकटिंग ट्रायल आज से शुरू

बसों में कोरोना संक्रमण को रोकने व सामाजिक दूरी का पालन करन के मकसद से डीटीसी व क्लस्टर बसों में बुधवार से ई-टिकटिंग का ट्रायल शुरू हुआ है। परिवहन विभाग रूट नंबर 473 की सभी क्लस्टर बसों में 5 से...

Shivendra Singh वरिष्ठ संवाददाता, नई दिल्लीThu, 6 Aug 2020 08:17 AM
share Share

बसों में कोरोना संक्रमण को रोकने व सामाजिक दूरी का पालन करन के मकसद से डीटीसी व क्लस्टर बसों में बुधवार से ई-टिकटिंग का ट्रायल शुरू हुआ है। परिवहन विभाग रूट नंबर 473 की सभी क्लस्टर बसों में 5 से 7 अगस्त के बीच इसका ट्रायल करेगी। ई-टिकट लेने के लिए यात्रियों को अपने मोबाइल पर चार्टर (Chartr) मोबाइल ऐप को डाउनलोड करना होगा। ऐप की मदद से यात्री चढ़ने-उतरने वाले स्टाप का विकल्प चुनकर कर ई-टिकट ले सकेंगे। इस रूट पर चलने वाले यात्रियों से विभाग ने ई-टिकट लेने की अपील की है। 

परिवहन मंत्री कैलाश गहलोत के मुताबिक यात्रियों और कंडक्टरों के बीच ज्यादा से ज्यादा दूरी सुनिश्चित करने के लिए दिल्ली सरकार अपनी बसों के लिए ई-टिकटिंग प्रणाली (कॉन्टैक्टलेस टिकट सिस्टम) शुरू करने की योजना बना रही है। ताकि इसकी वजह से कोरोना वायरस का फैलाव न हो सके। उसी के मद्देनजर डिप्टी कमिश्नर (क्लस्टर) की अध्यक्षता में एक टास्क फोर्स का गठन किया गया है। टास्क फोर्स में डीटीसी और दिल्ली इंटीग्रेटेड मल्टी-मॉडल ट्रांसपोर्ट सिस्टम लिमिटेड (डिम्ट्स) के अधिकारियों के अलावा आईआईआईटी दिल्ली के शोधार्थी और विश्व संसाधन संस्थान (WRI) के विशेषज्ञ शामिल है। 

टास्क फोर्स की सिफारिशों पर, परिवहन विभाग ने रूट नंबर 473 की क्लस्टर स्कीम की सभी बसों में 5, 6 और 7 अगस्त, 2020 को मोबाइल टिकटिंग का वास्तविक ट्रायल किया जाएगा। इसके लिए एक अगस्त से रूट नंबर 473 की क्लस्टर स्कीम की बसों में एप डाउनलोड करने, उपयोग करने और मोबाइल टिकट खरीदने की जानकारी देने के लिए उक्त मार्ग के सभी बसों में पोस्टर लगा कर लोगों को जागरूक किया जा रहा है। दिल्ली के इंद्रप्रस्थ इंस्टीट्यूट ऑफ इंफॉर्मेशन टेक्नोलॉजी (आईआईआईटी) के तकनीकी सहयोग से इस मुहिम के लिए एक ख़ास ऐप भी बनाया गया है, जिसका नाम है चार्टर।

डिम्ट्स की निगरानी में एक टीम ट्रायल के दौरान रूट नंबर 473 की बसों में निरीक्षण करेंगे और यात्रियों का फीडबैक भी लेंगे। ताकि यात्री उससे मदद लेकर मोबाइल में एप डाउनलोड करके ई-टिकट खरीद सकें। बस की सभी सीटों के पीछे क्यूआर कोड चस्पा किया गया है, ताकि किराये का भुगतान करने में यात्रियों को सहूलियत रहे। साथ ही बसों के कंडक्टर और डिपो के प्रबंधकों को आईआईटी दिल्ली की टीम ने प्रशिक्षण दिया है, ताकि वे यात्रियों की मदद कर सकें। 

इस तरह होगा ई-टिकट सिस्टम 
बस में यात्रा करने वाले यात्रियों को मोबाइल से टिकट खरीदने के लिए चार्टर मोबाइल ऐप डाउनलोड करना होगा। उसके पंजीकरण करना होगा। यदि आप टिकट की कीमत जानते हैं, तो आप बाई फेयर विकल्प पर जाकर क्यूआर कोड को स्कैन करेंगे और बाई बटन को दबाएंगे और भुगतान का विकल्प चुन कर टिकट ले सकते हैं। यदि आप चढ़ने वाला और गंतव्य बस स्टॉफ का नाम जानते हैं, तो आपको एप के बाई डेस्टिनेशन विकल्प पर जाकर अपना बस मार्ग और बस स्टाप चुनेंगे। इसके बाद बाई बटन दबाएं और क्यूआर कोड स्कैन कर भुगतान करेंगे। ई-टिकटिंग सिस्टम एक यूपीआई प्लेटफार्म पर है जिससे एप जैसे पेटीएम, फोन पे, ओला या उबर के साथ जोड़ा जा सकता है। इसी के साथ प्रत्येक बस के जीपीएस ट्रैकिंग को भी इनेबल करना होगा। वर्तमान में सभी क्लस्टर बसों में जीपीएस ट्रैकर हैं।

अगला लेखऐप पर पढ़ें