यूपीआई लाइट खाते में बैंक से राशि खुद जमा होगी
शोल्डर ---- नई सुविधा 31 अक्तूबर से शुरू होगी, ग्राहकों को बार-बार रकम जोड़ने से
नई दिल्ली, एजेंसी। भारतीय राष्ट्रीय भुगतान निगम (एनपीसीआई) जल्द ही यूपीआई लाइट के ग्राहकों के लिए ऑटो टॉप-अप सुविधा शुरू करने जा रहा है। इसके जरिए उपयोगकर्ता को अपने बैंक खाते से बार-बार यूपीआई लाइट में रकम जमा करने की जरूरत नहीं होगी। रकम स्वत: ही यूपीआई वॉलेट में जमा हो जाएगी। नई सुविधा 31 अक्तूबर से शुरू हो जाएगी। एनपीसीआई ने हाल ही में इस संबंध में सर्कुलर जारी किया है। इसके मुताबिक, ग्राहक अपने यूपीआई लाइट खाते में अपनी पसंद की राशि फिर से जमा करने के लिए ऑटो टॉप-अप विकल्प का इस्तेमाल कर सकेंगे। एनपीसीआई के अनुसार, ग्राहक किसी भी समय इस सुविधा को बंद भी कर सकते हैं।
निश्चित राशि तय करनी होगी
इस सुविधा में ग्राहक को बैंक खाते से यूपीआई लाइट खाते में आने वाली एक निश्चित राशि तय करनी होगी। यदि किसी ग्राहक ने टॉप-अप के तौर पर 1000 रुपये की सीमा निर्धारित की है तो जैसे ही यूपीआई लाइट वॉलेट में बैलेंस खत्म होगा वैसे ही 1000 रुपये खुद से उसमें जुड़ जाएंगे। यूपीआई के जरिए ऑनलाइन भुगतान करने वालों को इससे काफी आसानी होगी।
अधिकतम इतनी राशि जोड़ पाएंगे
यूपीआई लाइट में राशि रखने की अधिकतम सीमा 2,000 रुपये है। इसका मतलब है कि ग्राहक एक बार में 2,000 रुपये का ही ऑटो-टॉप कर सकते हैं।
क्या है यूपीआई लाइट
छोटे भुगतान के लिए यूपीआई लाइट की सुविधा शुरू की गई है। इसके जरिए 500 रुपये तक के भुगतान के लिए यूपीआई पिन की जरूरत नहीं पड़ती है। हालांकि, इससे ज्यादा राशि का भुगतान करने पर यूपीआई पिन दर्ज करना जरूरी होता है। इस सुविधा में केवल ऐप के जरिए ही भुगतान संभव होता है।
ये निर्देश भी होंगे लागू
- जारीकर्ता बैंक यूपीआई लाइट पर ऑटो टॉप-अप की सुविधा देंगे, जिसमें मैनडेट बनाने की अनुमति देनी चाहिए।
- यूपीआई ऐप अपने प्लेटफार्म पर आवश्यक कार्यक्षमता और तकनीक लागू करेंगे ताकि ग्राहकों को दिक्कत न हो।
- यूपीआई लाइट खाते में एक दिन में अधिकतम पांच बार ही बैंक खाते से रकम जोड़ी जा सकेगी।
- संबंधित कंपनियों और बैंकों को मैनडेट सुविधा लागू करते वक्त सत्यापन करना होगा।
बॉक्स ----
यूपीआई से पांच लाख तक का भुगतान करने की सुविधा शुरू
यूपीआई के माध्यम से विशिष्ट श्रेणियों में पांच लाख रुपये तक का भुगतान करने की सुविधा 15 सितंबर से शुरू हो गई है। एनपीसीआई ने हाल में ही भुगतान की सीमा को बढ़ाया था। इनमें प्रमाणित व्यापारियों के लिए कर भुगतान, अस्पताल के बिल, शैक्षणिक संस्थानों में फीस, आईपीओ और सरकारी प्रतिभूतियों में भुगतान शामिल हैं। नेशनल पेमेंट्स कॉरपोरेशन ऑफ इंडिया ने बैंकों/पीएसपी/यूपीआई ऐप्स को इस संबंध में निर्देश जारी किए हैं।
लेटेस्ट Hindi News , बॉलीवुड न्यूज, बिजनेस न्यूज, टेक , ऑटो, करियर , और राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।