अनिवासी भारतीय विकसित भारत बनाने में सक्रिय योगदान दें: जयशंकर
ओडिशा के भुवनेश्वर में 18वां प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन शुरू हो गया है। विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने अनिवासी भारतीयों से भारत के विकास में योगदान देने की अपील की। उन्होंने युवाओं को भारत की समृद्ध...
- ओडिशा के भुवनेश्वर में 18वां प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन शुरू भुवनेश्वर, एजेंसियां। ओडिशा के भुवनेश्वर में बुधवार को 18वां प्रवासी भारतीय दिवस (पीबीडी) सम्मेलन शुरू हो गया। इस दौरान विदेश मंत्री एस. जयशंकर ने अनिवासी भारतीय और भारतीय मूल के व्यक्तियों से विकसित भारत बनाने में सक्रिय योगदान देने का आह्वान किया।
कार्यक्रम में भारतीय प्रवासियों को संबोधित करते हुए जयशंकर ने कहा, मैं प्रधानमंत्री मोदी की ओर से आपसे भारत को पर्यटन स्थल के तौर पर बढ़ावा देने का आग्रह करता हूं। अगर भारतीय मूल के युवा विदेश से अपने युवा मित्रों को हमारे समृद्ध विविध विरासत और संस्कृति से रूबरू कराने के लिए लाते हैं तो यह निश्चित तौर पर हमेशा के लिए एक आदत बन जाएगी।
जयशंकर ने प्रधानमंत्री मोदी के नेतृत्व में 2014 से भारत के विकास के लिए शुरू किए गए विभिन्न अभियानों तथा कार्यक्रमों के बारे में बताया। उन्होंने कहा कि युवाओं के लिए काम करना महत्वपूर्ण है ताकि उनकी पूरी क्षमता का विकास हो सके।
मंत्री ने कहा, चाहे स्वच्छ भारत हो या बेटी पढ़ाओ, आवास या अन्न योजना, मुद्रा हो या स्वनिधि, आयुष्मान भारत हो या जल वन, इनमें से हर एक परिवर्तनकारी प्रयास रहा है। उन्होंने कहा कि यह जरूरी है कि बदलते दौर को देखते हुए प्रवासी समुदाय को लगातार जोड़े रखने के लिए प्रयास बढ़ाए जाएं। कोविड महामारी और स्थिति से निपटने में भारत की क्षमता की याद दिलाते हुए जयशंकर ने कहा कि देश ने इसके बाद विभिन्न मोर्चों पर ललीचा रुख अपनाया और तेजी के साथ उबरा। उन्होंने प्रवासी भारतीयों को संबोधित करते हुए कहा, जिस देश के बर्बाद होने की बात कही जा रही थी, उसने पूरी दुनिया को टीके और दवाइयां उपलब्ध कराईं। उन्होंने कहा, अंतरिक्ष के क्षेत्र में हम जो देख रहे हैं, वह एक अलग लेकिन समान रूप से महत्वपूर्ण उदाहरण है, जहां अंतरराष्ट्रीय स्तर पर प्रतिस्पर्धा बढ़ रही है। हमारा चंद्रयान-3 उतरना, आदित्य एल1 वेधशाला और प्रस्तावित गगनयान मिशन, सशक्त प्रेरणा स्रोत हैं। डिजिटल दौर में, यूपीआई लेन-देन का इतने बड़े स्तर पर इस्तेमाल किया जाना हमारे बुनियादी ढांचे और हमारी मानसिकता दोनों को दर्शाता है। 90,000 स्टार्टअप और 100 से अधिक यूनिकॉर्न वाले नए भारत में ड्रोन दीदी, अटल टिंकरिंग लैब, हैकथॉन, ग्रीन हाइड्रोजन मिशन जैसी योजना की सफलता के उदाहरण भी हैं। प्रवासी भारतीयों से जुड़े रहने के भारत के प्रयासों के बारे में बताते हुए उन्होंने कहा कि देश नियमित रूप से भारतीय मूल के पत्रकारों का भी स्वागत करता रहा है।
विदेश मंत्री एस. जयशंकर, युवा कार्यक्रम एवं खेल मंत्री डॉ. मनसुख मंडाविया और मुख्यमंत्री मोहन चरण माझी ने युवा प्रवासी भारतीय दिवस सम्मेलन का शुभारंभ किया। इस अवसर पर मंडाविया ने युवा नेतृत्व के महत्व पर भी जोर दिया। उन्होंने प्रवासी भारतीयों से भारत की प्रगति में योगदान देने और देश को वैश्विक पटल पर लाने का आग्रह किया। माझी ने कहा कि राज्य प्रवासी भारतीयों का दिल से स्वागत करता है। उन्होंने कहा, विदेश में आपकी सफलता हमारे लिए खुशी लेकर आती है। त्रिनिदाद और टोबैगो गणराज्य की क्रिस्टीन कार्ला कंगालू इस बार के सम्मेलन की मुख्य अतिथि हैं। इस बार का विषय ‘विकसित भारत में प्रवासी भारतीयों का योगदान है। कंगालू ऑनलाइन माध्यम से सम्मेलन को संबोधित करेंगी। पिछला सम्मेलन इंदौर में आयोजित किया गया था।
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आज प्रधानमंत्री आएंगे
अधिकारियों ने बताया कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी गुरुवार को उद्घाटन सत्र में हिस्सा लेंगे, जबकि राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मु शुक्रवार को समापन सत्र की अध्यक्षता करेंगी।
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