27 में से 14 अस्पतालों में ICU नहीं, टॉयलेट और पीने के पानी तक की कमी; CAG रिपोर्ट में खुलासा
- दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने आज दिल्ली की स्वास्थ्य सेवा की स्थिति पर सीएजी रिपोर्ट पेश की जिसमें कई खामियां सामने आई हैं।
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दिल्ली में आम आदमी पार्टी की सरकार के समय बनाई गई शराब नीति पर नियंत्रक एवं महालेखा परीक्षक (सीएजी) की रिपोर्ट सामने आने के बाद अब स्वास्थ्य सेवाओं की स्थिति को लेकर सीएजी की रिपोर्ट सामने आई है। दिल्ली की सीएम रेखा गुप्ता ने ये रिपोर्ट आज दिल्ली विधानसभा में पेश की जिसमें स्वास्थ्य सेवाओं को लेकर भी कई खामियां साने आई है। इस रिपोर्ट में मोहल्ला क्लीनिक से लेकर सरकारी अस्पतालों तक कई कमियों को उजागर किया गया है।रिपोर्ट के मुताबिक दिल्ली के 14 अस्पताल ऐसे थे जहां आईसीयू की सुविधा नहीं थी जबकि कई में टॉयलेट जैसी सुविधा की कमी थी।
रिपोर्ट से पता चला है कि दिल्ली के कई अस्पतालों में जरूरी सेवाओं की भारी कमी थी। शहर के 27 अस्पतालों में से 14 में आईसीयू नहीं थे, जबकि 16 में ब्लड बैंक नहीं थे। इसके अलावा 8 अस्पतालों में ऑक्सीजन सप्लाई नहीं थी और 15 अस्पतालों में शवगृह नहीं थे। रिपोर्ट यह भी बताती है कि 12 अस्पताल बिना एम्बुलेंस सेवाओं के चल रहे थे। रिपोर्ट के मुताबिक कई अस्पातालों में टॉयलेट और वेटिंग एरिया जैसी जरूरी चीजों की कमी थी।
रिपोर्ट के मुताबिक केवल चार अस्पतालों ने 149 ओपीडी मरीजों का अस्पताल की ओर से दी जा रही सुविधाओं को लेकर संतुष्टी सर्वे किया था। इनमें से 11 फीसदी मरीजों ने ओपीडी में पीने के पानी की कमी बताई जबकि 30 फीसदी मरीजों ने कहा कि टॉयलेट्स साफ नहीं थे। 28 फीसदी मरीजों ने कहा कि उन्हें ओपीडी के लिए रजिस्ट्रेशन कराने के लिए भी एक घंटे से ज्यादा का समय लगा जबकि डॉक्टर को दिखाने के लिए अन्य एक घंटा। इसके अलावा कई लोगों को दवा लेने के लिए भी एक से दो घंटे तक का इंतजार करना पड़ता था।
2016-17 से 2021-22 की अवधि को कवर करने वाली रिपोर्ट में पाया गया कि दिल्ली सरकार के स्वास्थ्य और परिवार कल्याण विभाग में 21 फीसदी कर्मचारियों की कमी थी।रिपोर्ट में यह भी बताया गया है कि सुपर स्पेशलिस्ट डॉक्टरों सहित विशेषज्ञों की कमी 30 फीसदी तक है, साथ ही अस्पतालों में आवश्यक दवाओं, उपकरणों की भी कमी है।
कई अस्पतालों में आहार सेवाओं, रेडियोलॉजिकल डायग्नोस्टिक सेवाओं सहित बुनियादी सुविधाओं कमी थी, और प्रमुख सर्जरी के लिए प्रतीक्षा समय भी काफी लंबा था जो 2-3 महीने से 6-8 महीने तक का है।