कांग्रेस अध्यक्ष की रेस में सबसे आगे 'भीष्म पितामाह', खड़गे को ताजपोशी के साथ त्यागना होगा राज्यसभा का 'मोह'
कांग्रेस अध्यक्ष के चुनाव में उम्मीदवार मल्लिकार्जुन खड़गे की जीत लगभग तय मानी जा रही है। ऐसे में माना जा रहा है कि उन्हें भी अशोक गहलोत की तरह एक पद एक व्यक्ति का फॉर्मूला अपनाना होगा।
congress president elections: कांग्रेस अध्यक्ष के चुनाव में उम्मीदवार मल्लिकार्जुन खड़गे की जीत लगभग तय मानी जा रही है। करीब 24 साल बाद गांधी परिवार के बाहर का कोई नेता अध्यक्ष बनने की ओर बढ़ रहा है। पर उनकी उम्मीदवारी और जीत की संभावना के साथ एक व्यक्ति एक पद का फॉर्मूले को लेकर बहस भी तेज हो गई है। खड़गे चुनाव जीतकर अध्यक्ष पद की जिम्मेदारी संभालते हैं, तो उन्हें राज्यसभा में नेता विपक्ष का पद छोड़ना होगा। ऐसा इसलिए भी जरूरी है क्योंकि इससे पहले रेस में एक तरफा आगे चल रहे राजस्थान के सीएम अशोक गहलोत के सामने भी यही प्रश्न सामने आया था लेकिन, हाईकमान के विश्वास में खरे नहीं उतरे गहलोत अध्यक्ष पद की उम्मीदवारी से ही बाहर हो गए थे।
मल्लिकार्जुन खड़गे ने करीब डेढ़ साल पहले फरवरी 2021 में राज्यसभा में नेता विपक्ष का पद संभाला था। पार्टी अध्यक्ष चुने जाने के बाद खड़गे को राज्यसभा में विपक्ष के नेता के पद से इस्तीफा देना होगा। ऐसे में खड़गे की जगह नया नेता विपक्ष बनना तय है। इस दौड़ में वरिष्ठ नेता पी चिदंबरम, दिग्विजय सिंह और केसी वेणुगोपाल सहित कई नेता रेस में शामिल हैं।
दिग्विजय का नंबर?
मल्लिकार्जुन खड़गे दक्षिण भारत से आते हैं। ऐसे में यह संभावना कम है कि राज्यसभा में नेता विपक्ष की जिम्मेदारी किसी दक्षिण भारतीय नेता को दी जाए। पार्टी यह फैसला करती है तो पी चिदंबरम, केसी वेणुगोपाल और जयराम रमेश दौड़ से बाहर हो जाएंगे। ऐसी स्थिति में दिग्विजय सिंह विपक्ष के नेता पद के लिए प्रबल दावेदार बन सकते हैं।
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