अयोध्या के राम मंदिर पर खालिस्तानियों की बुरी नजर, पन्नू धमकी दे रहा- बुनियाद हिला देंगे
- वीडियो में खालिस्तान समर्थक को कहते हुए सुना जा सकता है, '...कनाडा अयोध्या नहीं है। आरएसएस, बजरंग दल, बीजेपी के लोगों ने कनाडा में गुरुद्वारा साहब पर हमलों की कोशिश की है। अब हम आपकी अयोध्या की बुनियाद हिलाने जा रहे हैं...।'
कनाडा में हिन्दू सभा मंदिर में बवाल के बाद अब खालिस्तानियों की नजर भारतीय मंदिरों पर भी है। खबर है कि खालिस्तानी आतंकवादी गुरपतवंत सिंह पन्नू ने अब अयोध्या राम मंदिर को निशाना बनाने की धमकी दे दी है। इसके अलावा उसने कनाडा में ही दो और मंदिरों का भी जिक्र किया है। हाल ही में पन्नू ने वीडियो जारी कर भारत सरकार को धमकी दी है। लाइव हिन्दुस्तान वीडियो की पुष्टि नहीं करता है।
वीडियो में पन्नू ने अयोध्या को 'हिंसक हिन्दुत्व विचारधारा की जन्मस्थली' करार दिया है। वीडियो में खालिस्तान समर्थक को कहते हुए सुना जा सकता है, '...कनाडा अयोध्या नहीं है। आरएसएस, बजरंग दल, बीजेपी के लोगों ने कनाडा में गुरुद्वारा साहब पर हमलों की कोशिश की है। अब हम आपकी अयोध्या की बुनियाद हिलाने जा रहे हैं...।'
कनाडा में रह रहे भारतीय मूल के लोगों को धमकी
वीडियो में पन्नू ने हिन्दू सभा मंदिर के विरोध में प्रदर्शन कर रहे लोगों को भी धमकी दी है। उसने कहा, 'घर में घुसकर मारेंगे का नारा लगा रहे और खालिस्तान समर्थक रैली पर हमला करने वाले हिन्दू सभा मंदिर के समर्थकों, तुम सब 1984 डेथ स्क्वॉड की संतान हों, जिसने सिख नरसंहार किया।'
पन्नू ने आगे कहा, 'अगर हमने किसी भी कनाडाई-भारतीयों को भारतीय तिरंगा लहराते हुए देखा तो आपको सिखों और कनाडा का दुश्मन मान लिया जाएगा। याद रहे कि युद्ध खालिस्तान समर्थक और भारत सरकार के बीच है। भारतीय-कनाडाई दूर रहें और सुरक्षित रहें...। भारतीय-कनाडाई या तो कनाडा के साथ वफादार रहें या कनाडा छोड़ दें।'
कनाडा में निशाना बनेंगे मंदिर
वीडियो के अनुसार, पन्नू का कहना है, 'भारतीय राजनयिकों के लिए अगली चुनौती 16 नवंबर को टोरंटों में कालिबारी मंदिर और 17 नवंबर को ब्रैम्पटन के त्रिवेणी मंदिर में मिलेगी।' हाल ही में हिन्दू सभा मंदिर में मौजूद श्रद्धालुओं पर खालिस्तान समर्थकों की भीड़ ने हमला कर दिया था। कनाडा में भारतीय मूल के सांसद चंद्र आर्य ने घटना का वीडियो भी शेयर किया था। इस घटना की प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने निंदा की थी। साथ ही भारत सरकार ने भी इसपर चिंता जाहिर की थी।