विकास के नाम पर पर्यावरण संतुलन प्रभावित न हो: मार्शल केरकेट्टा
रांची में गोस्सनर एंवेजिकल लूथरन चर्च द्वारा जीईएल चर्च के पास्टर्स के लिए रिफ्रेशर कोर्स का आयोजन किया गया। कार्यक्रम में विभिन्न राज्यों से बिशप और पुरोहित शामिल हुए। चर्च के प्रमुख ने पादरियों की...
रांची, वरीय संवाददाता। गोस्सनर एंवेजिकल लूथरन चर्च छोटानागपुर-असम की ओर से जीईएल चर्च के पास्टर्स रिफ्रेशर कोर्स का आयोजन बुधवार को हुआ। इसमें कई राज्यों से डायसिस के पुरोहित-बिशप शामिल हुए। कार्यक्रम में चर्च के प्रमुख मॉडरेटर मार्शल केरकेट्टा ने कहा, पास्टर को संसाधन के रूप में सुसज्जित होना है। आध्यात्मिक जीवन, जमीन और समाज को बचाने में एक पादरी की अहम भूमिका होती है। आज लोगों का आध्यात्मिक जीवन बिगड़ रहा है। पेड़-पौधे, खनिज संपदा, जीव-जंतु का दोहन हो रहा है। विकास के नाम पर पर्यावरण का संतुलन प्रभावित हो रहा है। इनका संरक्षण बहुत जरूरी है। पादरी जॉर्ज शांतिएल केरकेट्टा ने एक पुरोहित की भूमिका-उत्तरदायित्व पर प्रकाश डाला। पादरी सोसिरिता कंडुलना और पादरी एलिस सुरीन ने कलीसिया में महिला पादरियों की सेवकाई पर अपने विचार रखे। जीईएल चर्च के महासचिव ईश्वरदत्त कंडुलना ने चर्च संविधान पर चर्चा की।
डिप्टी मॉडरेटर एमपी विलुंग, बिशप सीमांत तिर्की, रेव्ह निरल बागे, रेव्ह अमित लकड़ा, विमल होरो, रेव्ह अमृत भेंगरा, रेव्ह सलीम आइंद, रेव्ह एजे भेंगरा, अनूप इंदवार सहित कई पुरोहित मौजूद थे।
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