दुष्कर्म-हत्या मामले में दो आरोपियों को हाईकोर्ट से राहत, किया बरी
झारखंड हाईकोर्ट ने दुष्कर्म और हत्या के मामले में सजा पाए दो अभियुक्तों मिथिलेश कुमार सिंह और सुनील चौबे को साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया है। अदालत ने कहा कि अकेले गवाह की गवाही में विरोधाभास होने...
रांची, संवाददाता। झारखंड हाईकोर्ट ने दुष्कर्म और हत्या के मामले में सजा पाए दो अभियुक्तों को साक्ष्य के अभाव में बरी कर दिया है। जस्टिस आनंद सेन और जस्टिस गौतम कुमार चौधरी की खंडपीठ ने एकमात्र गवाह के बयान में विरोधाभास होने पर मिथिलेश कुमार सिंह और सुनील चौबे को बरी करने का निर्देश दिया है। हाईकोर्ट ने निचली अदालत के सजा के आदेश को निरस्त कर दिया। सजा के खिलाफ दोनों की ओर से हाईकोर्ट में अपील दाखिल की गई थी। इस मामले में पीड़ित महिला की पुत्री ही सूचक थी। उसके बयान विरोधाभास था। खंडपीठ ने अपने फैसले में कहा कि ऐसे मामले में जहां अकेले गवाह की गवाही होती है, तो यह पूरी तरह से विश्वसनीय होता है। इसके आधार पर सजा का फैसला सुनाया जा सकता है। लेकिन इस मामले के तथ्यों के आधार पर यह निष्कर्ष निकलता है कि विरोधाभासी बयानों के आधार पर सजा नहीं दी जा सकती है। इसलिए निचली कोर्ट के आदेश को निरस्त किया जा रहा है। चतरा के वशिष्ठ नगर थाना में मिथिलेश कुमार सिंह और सुनील चौबे के खिलाफ एक महिला के दुष्कर्म और उसकी हत्या का आरोप लगाते हुए प्राथमिकी की थी। चतरा सिविल कोर्ट ने दोनों को दोषी करार देते हुए आजीवन कारावास सजा सुनाई थी। इसके खिलाफ दोनों हाई कोर्ट में याचिका दाखिल की थी।
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