हेमंत सरकार की अपील खारिज, बाबूलाल, रघुवर दास और संजय सेठ को 'सुप्रीम' राहत; किस मामले में हुई थी FIR
भाजपा के सांसद निशिकांत दुबे समेत बाबूलाल मरांडी, अर्जुन मुंडा, संजय सेठ समेत 28 पार्टी नेताओं को अदालत से बड़ी राहत मिली है। सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को झारखंड हाईकोर्ट के आदेश को बरकरार रखते हुए राज्य सरकार की अपील याचिका खारिज कर दी।
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भाजपा के सांसद निशिकांत दुबे समेत बाबूलाल मरांडी, अर्जुन मुंडा, संजय सेठ समेत 28 पार्टी नेताओं को अदालत से बड़ी राहत मिली है। सुप्रीम कोर्ट ने सोमवार को झारखंड हाईकोर्ट के आदेश को बरकरार रखते हुए राज्य सरकार की अपील याचिका खारिज कर दी। झारखंड हाईकोर्ट ने अगस्त-2024 में उक्त भाजपा नेताओं के खिलाफ धुर्वा थाने में दर्ज प्राथमिकी रद्द कर दी थी। इसके खिलाफ राज्य सरकार ने सुप्रीम कोर्ट में हस्तक्षेप याचिका (एसएलपी) दायर की थी।
बता दें कि अप्रैल-2023 में पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी और रघुवर दास, अर्जुन मुंडा, सांसद संजय सेठ, निशिकांत दुबे के नेतृत्व में यह घेराव शुरू हुआ था। पुलिस ने प्रदर्शनकारियों को रोकने के लिए बैरिकेडिंग की थी, जिसे प्रदर्शनकारियों ने तोड़ दिया था। बाद में इसे लेकर धुर्वा थाने में प्राथमिकी दर्ज की गई थी।
प्रदर्शन रोकने को निषेधाज्ञा लागू करना चलन बना कोर्ट
मामले की सुनवाई करते हुए जस्टिस अभय एस. ओका और उज्जल भुइयां की पीठ ने कहा कि विरोध-प्रदर्शन रोकने के लिए निषेधज्ञा लागू करने का चलन सा बन गया है। अगर कोई प्रदर्शन करना चाहता है तो धारा 144 के तहत आदेश जारी करने की क्या जरूरत है? ऐसा इसलिए होता है क्योंकि सीआरपीसी की धारा 144 का दुरुपयोग किया जा रहा है। पीठ ने यह भी कहा कि यदि हम हस्तक्षेप करते हैं तो इससे गलत संदेश जाएगा।
झारखंड सरकार का नया रिक्त पद घोटाला :बाबूलाल मरांडी
भाजपा प्रदेश अध्यक्ष एवम पूर्व मुख्यमंत्री बाबूलाल मरांडी ने राज्य सरकार पर बड़ा निशाना साधा है। मरांडी ने कहा कि झारखंड में एक अनोखा घोटाला सामने आया है। तरह-तरह के भ्रष्टाचार के लिए कुख्यात हेमंत सोरेन ने सरकारी विभागों के रिक्त पदों की संख्या में बड़ा घोटाला कर दिया है। मरांडी ने कहा कि पिछले दो सालों में रिक्त पदों की संख्या 4.66 लाख से घटकर अब महज 1.59 लाख रह गई है। यानी बिना कोई परीक्षा कराए हेमंत सोरेन युवाओं के 2 लाख 7 हजार की नौकरी खा गई।