छत्तीसगढ़ में मेहरबान मॉनसून, कई जिलों के लिए ओरेंज व येलो अलर्ट जारी; जानिए कहां होगी बारिश?
राजधानी रायपुर में 23 जुलाई को बादल छाए रहने तथा गरज-चमक के साथ बारिश की संभावना है। इसके अलावा अधिकांश स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा व एक-दो स्थानों पर भारी से अति भारी वर्षा होने की संभावना है।
छत्तीसगढ़ में मॉनसून की मेहरबानी लगातार जारी है, इस दौरान पिछले कई दिनों से प्रदेश में मॉनसनू सक्रिय है और अलग-अलग इलाकों में बारिश हो रही है। मंगलवार सुबह 8 बजे तक की बात करें तो बीते 24 घंटों में राज्य में अधिकांश स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा तथा 15 स्थानों पर भारी वर्षा तथा 3 स्थानों पर बहुत भारी वर्षा दर्ज की गई, सर्वाधिक बरसात बालोद स्टेशन (जिला बालोद) पर 16 सेमी व धमतरी में करीब 13 सेमी दर्ज की गई।
राजधानी रायपुर में मंगलवार को आकाश सामान्यतः बादलों से भरे रहने तथा गरज-चमक के साथ बौछारें पड़ने की संभावना है। अधिकतम और न्यूनतम तापमान क्रमशः 28°C और 25°C के आसपास रह सकता है।
अगले दो दिन हो सकती है जोरदार बारिश
आगामी दो दिनों के मौसम की बात करें तो छत्तीसगढ़ के अधिकांश स्थानों में बारिश की गतिविधियां जारी रहने की संभावना है, 23 जुलाई को उत्तरी व मध्य छत्तीसगढ़ में एक दो स्थानों पर भारी बारिश होने की संभावना है। इसके अलावा प्रदेश में अधिकांश स्थानों पर हल्की से मध्यम वर्षा व एक-दो स्थानों पर भारी से अति भारी वर्षा होने की संभावना है।
इन जिलों के लिए ओरेंज व येलो अलर्ट जारी
मंगलवार को मौसम विभाग ने गौरेला-पेंड्रा-मरवाही, मुंगेली, महासमुंद और गरियाबंद जिले के लिए बारिश का ओरेंज अलर्ट जारी किया है। इसके अलावा प्रदेश के बाकी जिलों के लिए येलो अलर्ट जारी किया है। वहीं बुधवार को गौरेला-पेंड्रा-मरवाही, मुंगेली और बिलासपुर जिले के लिए ओरेंज अलर्ट जारी किया है। वहीं कोरिया, सूरजपुर, कोरबा, सरगुजा, जशपुर, रायगढ़, जांजगीर-चांपा, कबीरधाम, बेमेतरा, राजनांदगांव, दुर्ग, बालोद और कांकेर के लिए येलो अलर्ट जारी किया है।
कम दबाव का क्षेत्र पड़ा कमजोर
पूर्वी मध्य प्रदेश और उससे सटे छत्तीसगढ़ पर बना कम दबाव का क्षेत्र कमजोर हो गया है। हालाांकि, इससे जुड़ा चक्रवाती परिसंचरण अब झारखंड और उसके आसपास के इलाकों में बना हुआ है, यह समद्रु तल से 7.6 किलोमीटर ऊपर तक फैला हुआ है और ऊंचाई के साथ दक्षिण की ओर झुका हुआ है। इससे कई स्थानों पर जोरदार बारिश की उम्मीद है। वहीं समद्रु तल पर मॉनसनू की द्रोणिका अब बीकानेर, सीकर, ग्वालियर, खजुराहो, रांची, दीघा से होकर गुजर रही है और समुद्र तल से 0.9 किलोमीटर ऊपर तक फैली हुई है। एक कतरनी क्षेत्र लगभग 22°N पर औसत समुद्र तल से 3.1 और 7.6 किमी के मध्य स्थित है तथा ऊंचाई के साथ दक्षिण की ओर झुका हुआ है।
सोमवार को प्रदेश में हुई इतनी बारिश
सोमवार को प्रदेश में हुई वर्षा की बात करें तो बालोद स्टेशन में सबसे ज्यादा 160 मिमी, धमतरी में 130 मिमी, मुंगेली में 99 मिमी, बिलासपुर में 77 मिमी, बेमेतरा में 67 मिमी, बलौदाबाजार भाटापारा में 77 मिमी, राजनांदगांव में 71 मिमी, मोहला मानपुर अंबागढ़ चौकी में 93 मिमी, कांकेर में 82 मिमी, बीजापुर में 78 मिमी, दंतेवाड़ा में 67 मिमी, सुकमा में 64 मिमी, मनेंद्रगढ़, चिरमिरी भरतपुर में 45.3 मिमी, कोरिया में 20.7 मिमी, सूरजपुर में 34.8 मिमी, गौरेला-पेंड्रा-मरवाही में 57.8 मिमी, कोरबा में 25.6 मिमी, कबीरधाम में 57.1 मिमी, बलरामपुर रामानुजगंज में 52 मिमी, जशपुर में 11 मिमी, बस्तर में 27 मिमी सुकमा में 64 मिमी और गरियाबंद में 63 मिली मीटर बारिश दर्ज की गई।
इस दौरान प्रदेश के बस्तर व रायपुर संभाग में अधिकतम तापमान सामान्य से उल्लेखनीय कम रहा, दुर्ग संभाग में अधिकतम तापमान सामान्य से कम रहा तथा शेष संभागों में अधिकतम तापमान सामान्य से अधिक रहा। प्रदेश में सर्वाधिक अधिकतम तापमान 35.3°C मुंगेली में तथा सबसे कम न्यनूतम तापमान 20.3°C नारायणपुर में दर्ज किया गया।
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