Hindi Newsकरियर न्यूज़uttar pradesh 68500 shikshak bharti: only one fir filed in 9 months on assistant teacher recruitment

उत्तर प्रदेश 68500 शिक्षक भर्ती: 9 महीने में हो सकी बस एक एफआईआर

68500 सहायक अध्यापकों की भर्ती की सीबीआई से जांच कराने के हाईकोर्ट के आदेश से प्रतियोगी खुश हैं। उन्हें भरोसा है कि इस जांच से अनियमितताओं का खुलासा होगा और दोषियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई होगी। लेकिन...

इलाहाबाद। प्रमुख संवाददाता Sat, 3 Nov 2018 12:56 PM
share Share

68500 सहायक अध्यापकों की भर्ती की सीबीआई से जांच कराने के हाईकोर्ट के आदेश से प्रतियोगी खुश हैं। उन्हें भरोसा है कि इस जांच से अनियमितताओं का खुलासा होगा और दोषियों के खिलाफ कठोर कार्रवाई होगी। लेकिन लोक सेवा आयोग की जिन भर्तियों में भ्रष्टाचार की शिकायतों की सीबीआई जांच चल रही है, उससे जुड़े प्रतियोगी छात्र अब तक की जांच से मायूस हैं।

वजह है कि जांच शुरू हुए नौ माह बीत चुके हैं पर अब तक सीबीआई ने इस मामले में कोई ठोस कार्रवाई नहीं की। इस दौरान सीबीआई की ओर से सिर्फ एक एफआईआर दर्ज कराई गई, इसमें भी किसी को नामजद नहीं किया गया। पीसीएस 2015 मुख्य परीक्षा के अनिवार्य विषय हिन्दी और निबंध के मॉडरेशन में गड़बड़ी को लेकर यह एफआईआर आयोग के अज्ञात अफसरों और कर्मचारियों तथा अज्ञात बाहरी लोगों के खिलाफ दर्ज कराई गई है। एफआईआर को छह माह (पांच मई) हो चुके हैं लेकिन सीबीआई अभी अज्ञात लोगों को बेनकाब नहीं कर सकी है। यह स्थिति तब है जबकि सीबीआई ने आयोग के सभी अनुभागों के कम्यूटर की डाटा स्कैनिंग करवाकर भर्तियों से जुड़े लगभग सभी रिकॉर्ड ले लिए हैं। 

फरवरी में जब सीबीआई जांच के लिए यहां आई थी तो पिछले पांच वर्ष (अप्रैल 2012 से मार्च 2017) के दौरान हुई भर्तियों में भ्रष्टाचार की शिकायत कर रहे प्रतियोगियों में भरोसा जगा था कि सीबीआई जल्द कार्रवाई करेगी। हालत यह है कि सीबीआई अभी उन लोगों से पूछताछ भी नहीं कर सकी, जिन पर भर्तियों के भ्रष्टाचार में शामिल होने के आरोप लगे हैं।

लेटेस्ट   Hindi News ,    बॉलीवुड न्यूज,   बिजनेस न्यूज,   टेक ,   ऑटो,   करियर , और   राशिफल, पढ़ने के लिए Live Hindustan App डाउनलोड करें।

अगला लेखऐप पर पढ़ें