ट्रंप के टैरिफ की मार से क्या बच पाएगा भारत? किन चीजों पर इसे बढ़ा सकता है अमेरिका
- US Tariff And India: कनाडा, मैक्सिको और चीन पर 25 शुल्क लगाए हैं। भारत को लेकर भी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप कई बार टैरिफ बढ़ाए जाने की बात कह चुके हैं।
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US Tariff And India: अमेरिका लगातार टैरिफ बढ़ा रहा है। कनाडा, मैक्सिको और चीन पर 25 शुल्क लगाए हैं। भारत को लेकर भी राष्ट्रपति डोनाल्ड ट्रंप कई बार टैरिफ बढ़ाए जाने की बात कह चुके हैं। इसी बीच जानकारों का मानना है कि अगर भारत पर टैरिफ लगाए जाते हैं तो इससे फार्मा, मैन्युफैक्चरिंग और पेट्रोलियम जैसे सेक्टर्स पर असर पड़ सकता है।
आर्थिक मामलों के जानकार डॉ. जगदीश शेट्टीगर का कहना है, भारत में सबसे ज्यादा असर फार्मास्यूटिकल पर देखने को मिल सकता है पर मुझे लगता है कि दोनों देश आपस में बातचीत कर रहे हैं, जिस कारण से अभी भारत पर टैरिफ लगाए जाने की संभावना कम दिखाई देती है।
उनका कहना है,अमेरिका भारत को रक्षा उपकरण बेचना चाहता है, जिसके लिए वह भारत पर शुल्क लगाने की बात कर रहा है। बीते कुछ दिनों में इस तरह के संकेत मिले हैं कि दोनों देश चर्चा कर रहे हैं और इस मुद्दे पर समाधान निकालने की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं। बजट में सरकार ने सात टैरिफ को हटाने का ऐलान किया है, जिससे निश्चित तौर पर आयात-निर्यात में लाभ मिलेगा।
पिछले साल अमेरिका से भारत का आयात 17 घटकर 42.2 बिलियन डॉलर रह गया। आयात-निर्यात के बीच इस असंतुलन से भारत के साथ द्विपक्षीय व्यापार में अमेरिका का व्यापार घाटा बढ़ गया है।
अमेरिका किन चीजों पर बढ़ा सकता है टैरिफ
अमेरिका कपड़ा और फार्मास्यूटिकल्स जैसे भारतीय निर्यातों पर अधिक शुल्क लगा सकता है। 2018 में अपने पहले कार्यकाल के दौरान ट्रंप प्रशासन ने एल्युमीनियम और स्टील पर अधिक टैरिफ लगाया था। इसके बाद भारत सहित प्रभावित देशों ने जवाबी कार्रवाई की थी। अमेरिका और चीन, भारत के सबसे बड़े व्यापारिक साझेदार हैं।
तो क्या भारत टैरिफ कम करने को तैयार है?
अमेरिका से आयातित वस्तुओं पर वही शुल्क लागू होते हैं, जो किसी ऐसे देश से आयातित वस्तुओं पर लागू होते हैं। उसके साथ भारत का मुक्त व्यापार समझौता (एफटीए) नहीं है। अगर दोनों देशों ने एफटीए किया होता तो भारत अमेरिकी वस्तुओं पर टैरिफ कम करने पर सहमत हो सकता था।
दुनिया पर क्या पड़ेगा असर
ट्रंप के फैसलों से भारत समेत दुनिया की अर्थव्यवस्था पर असर पड़ सकता है। येल यूनिवर्सिटी के बजट लैब के विश्लेषण के मुताबिक इससे औसत अमेरिकी परिवार को टैक्स से होने वाली आय में 1,170 डॉलर के बराबर का नुकसान होगा। एक रिपोर्ट के मुताबिक इससे आर्थिक विकास धीमा हो जाएगा।
भारत अमेरिका को किन चीजों का करता है निर्यात
भारत द्वारा अमेरिका को किए जाने वाले निर्यात में पेट्रोलियम उत्पाद, औषधि निर्माण, मोती, कीमती पत्थर, दूरसंचार उपकरण, विद्युत मशीनरी, परिधान व सूती कपड़े, इलेक्ट्रॉनिक मशीनरी शामिल हैं। 2020 में कोविड महामारी के बाद अमेरिका को भारत का निर्यात तेजी से बढ़ा है।
अमेरिका से क्या-क्या होता है आयात
भारत द्वारा अमेरिका से आयात होने वाले कच्चे तेल और उत्पादों का हिस्सा लगभग एक तिहाई है। मोती, नकली आभूषण एक साथ आयात की दूसरी सबसे बड़ी वस्तुएं हैं। परमाणु रिएक्टर और बॉयलर जैसे बिजली संयंत्रों के लिए उपकरण, विद्युत मशीनरी और उपकरण, विमान और पुर्जे एवं चिकित्सा उपकरण शामिल हैं।
चीन डब्ल्यूटीओ जाएगा
चीन ने कहा, अमेरिका द्वारा की गई कार्रवाई के जवाब में चीन विश्व व्यापार संगठन (WTO) में शिकायत दर्ज कराएगा। वह चीन से आयातित वस्तुओं पर 10 अतिरक्ति शुल्क लगाने के फैसले का विरोध करता है।
अमेरिका के लिए भारत बड़ा बाजार
ट्रंप भले ही टैरिफ बढ़ाने की धमकी दे रहे हैं, लेकिन उनको इस बात को भी समझना चाहिए कि कई अमेरिकी कंपनियों के लिए भारत बड़ा बाजार है। ऐसे में ट्रंप को व्यापार घाटे से आगे बढ़कर दोनों देशों के बीच समग्र आर्थिक संबंधों पर विचार करना चाहिए।
अमेरिका में औसत आयात शुल्क 3.3 फीसदी
ग्लोबल ट्रेड रिसर्च इनिशिएटिव के सह-संस्थापक अजय श्रीवास्तव ने बताया, ट्रंप दूसरों से कम टैरिफ की मांग करते हैं तो वे सबसे ऊंची दरों का हवाला देते हैं, अमेरिका में औसत आयात शुल्क 3.3 फीसद है। भारत में यह 17 फीसद है, जिसमें व्हिस्की-वाइन जैसी वस्तुओं पर 150 और कारों पर 125 फीसद शुल्क लगता है।
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