OMG! तिलका मांझी भागलपुर यूनिवर्सिटी में आम के लिए भिड़ गईं दो महिला प्रोफेसर, DSW ने लिया ऐक्शन
हॉस्टल-4 की अधीक्षक सिमरन भारती और हॉस्टल नंबर-5 की अधीक्षक डॉ. शोभा कुमारी ने आम तुड़वा लिया। इसे लेकर दोनों के बीच विवाद की स्थिति हो गई। विश्वविद्यालय के डीएसडब्ल्यू को हस्तक्षेप करना पड़ा।
बिहार के भागलपुर का जर्दालू आम पूरी दुनिया में मशहूर है। भारत सरकार की ओर से इसे जीआई टैग भी दे दिया है। हर साल राष्ट्रपति और प्रधानमंत्री को भागलपुर से आम भेजा जाता है। इसे फलों का राजा भी कहा जाता है। लेकिन इस बार आम को लेकर भागलपुर से जो खबर आई है वह काफी हैरान करने वाली है। मामला एक आम के पेड़ के लिए दो महिला अधीक्षक सह असिस्टेंट प्रोफेसर के बीच आमने-सामने लड़ाई का है। महिला प्रोफेसर की यह हरकत विश्वविद्यालय परिसर समेत पूरे भागलपुर में चर्चा का विषय बना हुआ है।
दरअसल, टीएमबीयू के लालबाग स्थिति गर्ल्स हॉस्टल परिसर में आम के पेड़ पर हर वर्ष आम फलता है। पेड़ से आम तुड़वाने के लिए वार्डेन और डीएसडब्ल्यू से आदेश लेना था, लेकिन हॉस्टल-4 की अधीक्षक सिमरन भारती और हॉस्टल नंबर-5 की अधीक्षक डॉ. शोभा कुमारी ने आम तुड़वा लिया। इसे लेकर दोनों के बीच विवाद की स्थिति हो गई। शुक्रवार को अधीक्षक डॉ. शोभा कुमारी आम तुड़वा रही थीं। इसकी जानकारी होने पर डीएसडब्ल्यू ने वार्डेन इंदु कुमारी को इस मामले में निर्देश दिया। वार्डेन ने तोड़ा गया आम जब्त कर लिया। जानकारी डीएसडब्ल्यू को दे दी।
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इस मामले में शनिवार को दोनों अधीक्षक और वार्डन को डीएसडब्ल्यू कार्यालय तलब किया गया। उन्होंने दोनों से जानकारी ली। इस पर डॉ. शोभा ने कहा कि सिमरन भारती ने पहले आम तुड़वाया। इसके बाद उन्होंने भी हॉस्टल स्टाफ से आम तुड़वाया। इस बात पर डीएसडब्ल्यू कहा कि इस तरह का कृत्य अधीक्षक के रूप में शेाभा नहीं देता है। उन्होंने दोनों अधीक्षकों को चेतावनी देते हुए दोबारा बिना अनुमति इस तरह के कार्य न करने की हिदायत दी। इस पर दोनों अधीक्षकों ने डीएसडब्ल्यू से कहा है कि भविष्य में दोबारा गलती नहीं होगी।
इस संबंध में वार्डेन को निर्देश दिया कि वे जब्त आमों को अपने स्तर से बंटवा दें। डीएसडब्ल्यू ने कहा कि आम तोड़ने के मामले को लेकर दोनों महिला अधीक्षक से स्पष्टीकरण मांगा जाएगा। उन्होंने किस परिस्थिति और किसके आदेश से ऐसा किया है, पूछा जाएगा। इसके लिए वार्डेन को जरूरी निर्देश दिया गया है। तिलका मांझी भागलपुर विश्वविद्यालय परिसर की यह घटना लोगों के हास परिहास का विषय बना हुआ है।