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बिहार: आठ हजार टोलों में जल्द बनेंगी पक्की सड़कें, जनता दरबार में सीएम नीतीश ने दिया निर्देश

राज्य के आठ हजार उन टोलों को जल्द पक्की सड़क से जोड़ा जाएगा, जो इस सुविधा से अभी वंचित हैं। राज्य सरकार ने इसका सर्वे करा लिया है। इसके लिए नौ हजार किलोमीटर लंबी सड़क का निर्माण होगा, जिसपर आठ हजार करोड़...

Sneha Baluni हिन्दुस्तान ब्यूरो, पटनाTue, 21 Dec 2021 09:54 AM
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राज्य के आठ हजार उन टोलों को जल्द पक्की सड़क से जोड़ा जाएगा, जो इस सुविधा से अभी वंचित हैं। राज्य सरकार ने इसका सर्वे करा लिया है। इसके लिए नौ हजार किलोमीटर लंबी सड़क का निर्माण होगा, जिसपर आठ हजार करोड़ खर्च होंगे। जनता के दरबार में मुख्यमंत्री कार्यक्रम में सोमवार को गावों के अंदर और टोले में सड़क बनाने के कई मामले आये। इस पर मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि इसको लेकर एक योजना भी बन रही है। ग्रामीण कार्य विभाग इस पर काम कर रहा है। 

मालूम हो कि राज्य में एक लाख से अधिक टोले हैं, जिन्हें मुख्यमंत्री ग्राम संपर्क योजना के तहत पक्की सड़क से जोड़ा गया है। मुख्यमंत्री ने निर्देश दिया था कि जो टोले बच गये हैं, उन्हें चिह्नित कर वहां भी पक्की सड़क का निर्माण कराएं। ग्रामीण कार्य के सचिव पंकज पाल ने कहा कि इसको लेकर लोन के लिए ग्रामीण विकास मंत्रालय और नीति आयोग की सहमति मिल गई है। आर्थिक कार्य मंत्रालय के पास प्रस्ताव लंबित हैं। कुल खर्च का 70 प्रतिशत राज्य सरकार लोन लेगी। 

135 फरियादियों ने मुख्यमंत्री के समक्ष रखी अपनी शिकायतें

जनता के दरबार में कुल 135 लोगों ने अपनी समस्या और शिकायतें मुख्यमंत्री के समक्ष रखी, जिनका त्वरित निष्पादन का आदेश संबंधति पदाधिकारियों को उन्होंने दिया। कौवाकोल, नवादा के एक व्यक्ति ने कहा कि अंबा मोड़ से अफरडीह गांव तक पक्की सड़क का निर्माण अब तक नहीं किया गया है। सीतामढ़ी के बेलसंड प्रखंड से आए युवक ने कहा कि उनके गांव तक आज भी सड़क नहीं बनायी गयी है। 

कैमूर के नुआंव से आए एक व्यक्ति ने कहा कि जिस सड़क का शिलान्यास मुख्यमंत्री ने जल-जीवन-हरियाली के दौरान किया था, वहां सड़क निर्माण हुआ, लेकिन गांव के लोगों की मांग के बाद भी वहां पौधरोपण नहीं किया है। मुख्यमंत्री ने संबंधित विभाग को जल्द उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया। 

फुलवारीशरीफ की एक महिला ने राशन कार्ड नहीं बनाए जाने की शिकायत की। वहीं फुलवारीशरीफ से ही आए एक व्यक्ति ने कहा कि वह पटना नगर निगम के तहत टैक्स भुगतान करते हैं, लेकिन उनके इलाके में आज तक सड़क और नाली का निर्माण नहीं हुआ है। 

गोपालगंज से आए एक युवक ने बताया कि सर्किट हाउस की मरम्मत का काम 1998 में उनके पिता ने कराया था, जिसका भुगतान अब तक लंबित है। विभाग ने भुगतान लटका दिया तो मामला कोर्ट में गया और कोर्ट का निर्णय आने के बाद भी आज तक भुगतान नहीं हुआ। मुख्यमंत्री ने संबंधित विभाग को समस्या के समाधान करने का निर्देश दिया। 

अरवल से आए एक व्यक्ति ने कहा कि करपी प्रखंड के तहत पुराण पैक्स में धान खरीद में अनियमितताएं हो रही हैं। वहीं लखीसराय के व्यक्ति ने सड़क निर्माण में उनके अधिग्रहित जमीन का भुगतान नहीं किए जाने को लेकर शिकायत की। मधुबनी के एक युवक ने मुख्यमंत्री से गुहार लगायी कि लोक सेवा अधिकार काउंटर पर कार्यरत कर्मचारी बिना पैसे का काम नहीं करते हैं, इसको लेकर कई बार शिकायत भी की गई। 

मुख्यमंत्री के जनता दरबार कार्यक्रम में आवेदन करने की बात पर कहा गया कि मुख्यमंत्री तक भी जाने से कुछ नहीं होगा। युवक की समस्या सुनने के बाद मुख्यमंत्री ने मामले की जांच कर उचित कार्रवाई करने का निर्देश दिया। एक फरियादी ने आरा की सड़क को बहुत ही खराब अवस्था में बताया। इस पर मुख्यमंत्री ने पदाधिकारी को कहा कि इसे नोट करें, जिला भ्रमण के दौरान इसे दिखवाएंगे। एक फरियादी ने अपनी समस्या बताने के बाद मुख्यमंत्री से यह भी आग्रह किया कि आप चार जनवरी को गया आयें तो मुझे चाय पिलाने का मौका दें।

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