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Hindustan Special: अश्लील प्रसारण पर बिहार पुलिस सख्त, इंटरनेट से पांच हजार से ज्यादा वीडियो-फोटो हटाए गए

बिहार सहित देशभर में साइबर क्राइम के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। सरकार ऐसे मामलों को लेकर बहुत गंभीर है। भारत में साइबर क्राइम के खिलाफ सख्त कानून बनाए गए है। साइबर पुलिस द्वारा 5 हजार आइटम हटाए गए है

Sudhir Kumar हिंदुस्तान, पटनाSun, 13 Aug 2023 05:32 PM
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Hindustan Special: अश्लील प्रसारण पर बिहार पुलिस सख्त, इंटरनेट से पांच हजार से ज्यादा वीडियो-फोटो हटाए गए

बिहार पुलिस ने विभिन्न इंटरनेट साइट से अश्लील सामग्री हटाने की दिशा में मुहिम शुरू की है। पिछले छह माह में 5180 अश्लील कंटेंट को विभिन्न इंटरनेट साइट से हटाया गया है। सूत्रों के अनुसार, भारत सरकार के साइबर क्राइम प्रिवेंशन अगेंस्ट वुमेन एंड चिल्ड्रेन (सीसीपीडब्लूसी) योजना के तहत महिलाओं एवं बच्चों से संबंधित बाल पोर्नोग्राफी, दुष्कर्म, सामूहिक दुष्कर्म से संबंधित सामग्री के प्रसारण को रोका गया है। ये सभी अश्लील सामग्री साइबर पुलिस को मिली शिकायतों के बाद हटाई गई हैं। ये शिकायतें राज्य में गठित विभिन्न साइबर थानों में प्राप्त हुई हैं। 

अबतक 11 प्राथमिकी दर्ज 

राज्य में इंटरनेट के माध्यम से अश्लील सामग्री के प्रसारण के विरुद्ध पिछले छह माह में 11 एफआईआर दर्ज की गई है। इन सभी मामलों में जांच के बाद आरोपितों के खिलाफ कानूनी कार्रवाई की जाएगी। बिहार पुलिस ने साफ कह दिया है कि जो भी लोग इस काम में लिप्त पाए जाएंगे उनके खिलाफ कठोर कार्रवाई की जाएगी। किसी को भी किसी सूरत में बख्शा नहीं जाएगा।

44  नये साइबर थानों के गठन के बाद कार्रवाई में तेजी 

राज्य में 44 नये साइबर थाने बने हैं। अब साइबर अपराध से जुड़े मामलों में कार्रवाई में तेजी आयी है। न केवल साइबर फ्रॉड के तहत आर्थिक अपराध के मामलों में कार्रवाई की जा रही है, बल्कि महिलाओं एवं बच्चों के खिलाफ होने वाले साइबर अपराध के मामलों में भी जांच व कार्रवाई की जा रही है। 

साइबर क्राइम पर सख्त कानून 

बिहार सहित देशभर में साइबर क्राइम के मामले तेजी से बढ़ रहे हैं। सरकार ऐसे मामलों को लेकर बहुत गंभीर है। भारत में साइबर क्राइम के खिलाफ कई सख्त कानून बनाए गए है। सूचना तकनीक कानून 2000 और सूचना तकनीक (संशोधन) कानून 2008 लागू हैं। किंतु इसी तरह के कई मामलों में भारतीय दंड संहिता (आईपीसी),  कॉपीराइट कानून, 1957 कंपनी कानून, सरकारी गोपनीयता कानून और साथ ही आतंकवाद निरोधक कानून के तहत भी कार्रवाई की जा सकती है।

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