हेलो, मैं इंटेलीजेंस ब्यूरो के डॉयरेक्टर का ओएसडी बोल रहा हूं..., आईबी अफसर बन ठग लिए 15 लाख
तफ्तीश में यह बात सामने आयी है कि आरोपित कई लोगों से करोड़ों की ठगी कर चुका है। पूर्व में वह पटना के पाटलिपुत्र इलाके में रहता था। बाद में उसने वहां का मकान बेच दिया और दिल्ली में रहने लगा।
आईबी अफसर बनकर लोन दिलवाने के नाम पर 15 लाख रुपये की ठगी का मामला सामने आया है। इस बाबत पीड़ित व इंद्रपुरी कॉलोनी, समनपुरा के रहने वाले बिल्डर फिरोज अहमद ने कोतवाली थाने में एफआईआर दर्ज करवायी। ठगी के आरोपित अश्विनी कुमार सुपरा को नोएडा के सेक्टर 113 से रविवार की शाम गिरफ्तार कर लिया गया। कोतवाली पुलिस सोमवार को उसे लेकर पटना पहुंची। पूछताछ करने के बाद उसे जेल भेज दिया गया।
सूत्रों की मानें तो अब तक की तफ्तीश में यह बात सामने आयी है कि आरोपित कई लोगों से करोड़ों की ठगी कर चुका है। पूर्व में वह पटना के पाटलिपुत्र इलाके में रहता था। बाद में उसने वहां का मकान बेच दिया और दिल्ली में रहने लगा।
दिल्ली में बिल्डर से मुलाकात भी की
मई 2022 में बिल्डर से हुई जान-पहचान पीड़ित ने पुलिस को बताया कि मई 2022 को उन्हें अश्विनी ने फोन किया था। उस वक्त फिरोज को लोन की जरूरत थी। उसने खुद को आईबी का अधिकारी बताते हुए करोड़ों रुपये लोन दिलवाने का भरोसा दिलवाया। ठग ने दो बार दिल्ली में बिल्डर से मुलाकात भी की। इस दौरान उसने बिल्डर से 15 लाख रुपये मांगे। उन्हें दिल्ली में दो बैंक खातों के नंबर दिए गए। दोनों में फिरोज ने रकम जमा कर दिये। जब काफी दिनों बाद उन्हें लोन नहीं मिला तो शक होने पर पीड़ित ने अश्विनी के बारे में जानकारी जुटायी तो पता चला कि वह एक ठग है।
12 मोबाइल नंबरों से किया कॉल
12 मोबाइल नंबरों से किया था कॉल आरोपित ने 12 अलग-अलग मोबाइल नंबरों से पीड़ित को कॉल किया था। हर बार वह अपना नंबर बदल दिया करता था। पूछने पर आरोपित कहता था कि वह आईबी अधिकारी है, इस कारण उसे मोबाइल नंबर हर थोड़े समय पर बदलना पड़ता है
ट्रू कॉलर पर फर्जी नाम
सूत्र बताते हैं कि पुलिस की जांच में यह बात सामने आयी है कि अश्विनी दूसरे के नाम का सिम कार्ड इस्तेमाल करता था। इसके अलावा उसने ट्रू कॉलर पर अपना नाम इंटेलीजेंस ब्यूरो से सेव कर रखा था।
मैं 995 बैच का आईएएस अधिकारी बोल रहा हूं
‘मैं इंटेलीजेंस ब्यूरो के डॉयरेक्टर का ओएसडी बोल रहा हूं...। 1995 बैच का आईएएस अधिकारी हूं। आपको लोन मिल जाएगा। मेरी बात कोई नहीं काटने वाला’। आरोपित अश्विनी कुमार सुपरा इसी अंदाज में लोगों से बातचीत किया करता था। वह कई भाषाओं का जानकार है। उसके बोलने के अंदाज से कोई नहीं समझ पाता कि वह जालसाज है। लोगों को बरगलाने के लिए वह खुद को आईआईटी से पढ़ा हुआ बताता था। पीड़ितों के कॉल करने पर वह रूस जैसे देशों में जाने की बात कहता था। आरोपित ने पटना में एक और व्यक्ति से ठगी की है। पुलिस पता लगा रही है।