रामलीला बना आकर्षण का केंद्र
सिंहेश्वर में रामजानकी ठाकुरबाड़ी परिसर में गणेश महोत्सव के दौरान आयोजित रामलीला में सैकड़ों दर्शक सीता हरण का दृश्य देखने पहुंचे। रावण ने सीता का हरण किया और इसके बाद बाली मरण व लंका दहन का मंचन हुआ।...
सिंहेश्वर। सिंहेश्वर रामजानकी ठाकुरबाड़ी परिसर में गणेश महोत्सव पर चल रहे रामलीला में गुरुवार की रात सीता हरण देखने आसपास के गांव से सैकड़ों की संख्या में दर्शक पहुंच गए। रामलीला में छठे दिन रावण सीता का हरण करके लंका ले जाता है। पहले रावण लक्ष्मण रेखा से बाहर आकर माता सीता से भिक्षा देने के लिए बोलते हैं। सीता लक्ष्मण रेखा से बाहर जैसे ही भिक्षा देती हैं साधु रूपी रावण लंकेश रावण का रूप धारण कर लेते हैं । सीता जी को अपने पुष्पक विमान में बैठाकर हरण कर ले जाते हैं। सीता हरण के बाद बाली मरण व लंका दहन लीला का जीवंत मंचन कलाकारों ने किया। रामलीला में अब तक सीता खोज, शबरी भेंट, राम सुग्रीव मित्रता, बाली वध, लंका दहन का मंचन किया गया। रामलीला में राम लक्ष्मण दोनों सीता की खोज में निकले। जंगलों में भटकने के दौरान उनकी साध्वी शबरी से मुलाकात होती है जो सालों से राम के इंतजार में तपस्या कर रही है। जब राम पहुंचते हैं तो खुशी से उसके आंखों से आंसू बहने लगते हैं। वह राम को झूठे बेर खेर खिलाती है। राम भी प्रेम से शबरी के झूठे बेर खाकर प्रेम का संदेश देते हैं। इसके बाद राम लक्ष्मण का हनुमान से मिलना और सुग्रीव से दोस्ती होती है। सुग्रीव के कहने पर राम बाली का वध करते हैं। बाद में सीता की खोज में हनुमान सात समुंदर पार लंका पहुंचते हैं। वहां लंका में आग लगा देते हैं। भगवान श्री गणेश व राम लक्ष्मण की आरती के पश्चात लीला का मंचन किया गया। राम लीला में लक्ष्मण द्वारा शूर्पनखा की नाक काटने की लीला का मंचन किया गया।
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