बिहार को स्पेशल स्टेटस पर JDU का जोर, संजय झा ने बताया बजट से क्या-क्या मिला, विपक्ष को घेरा
हिन्दुस्तान टाइम्स को दिए इंटरव्यू में जेडीयू के कार्यकारी अध्यक्ष संजय झा ने कहा कि बिहार के विकास के लिए विशेष राज्य का दर्जा देने पर हमारा जोर है। हालांकि हमारी काफी मांगे पूरी हो चुकी है। राज्य में मखाना बोर्ड की स्थापना से राज्य के किसानों की आय में इजाफा होगा।
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केंद्रीय वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण ने शनिवार को बिहार के लिए कई योजनाओं की घोषणा की। इन घोषणाओं को नीतीश कुमार की जेडीयू के प्रस्ताव के तौर पर माना गया है। जो जेडीयू और बीजेपी के बीच मजबूत संबंधों का संकेत है। बिहार में एनडीए की सरकार जनता दल यूनाइटेड के गठबंधन से चल रही है। वित्त मंत्री की ग्रीन फील्ड हवाई अड्डों की घोषणा, पश्चिमी कोसी नहर परियोजना के लिए अलग बजट और मखाना बोर्ड की स्थापना समेत कई घोषणाओं का जेडीयू ने स्वागत किया है। हिन्दुस्तान टाइम्स को दिए इंटरव्यू में जेडीयू के कार्यकारी अध्यक्ष संजय झा ने आवंटन के बारे में बात की और बताया कि बिहार को अधिक मदद की और क्यों जरूरत है।
सवाल- क्या आप घोषणाओं से संतुष्ट हैं?
जवाब- हां, हम हैं, लेकिन हमेशा ज्यादा की अपेक्षा रहती है। हमारी पार्टी (जेडीयू) ने लगातार बिहार को विशेष राज्य का दर्जा देने की मांग की है। हमारे नेता (मुख्यमंत्री नीतीश कुमार) ने राज्य के लिए बहुत कुछ किया है, लेकिन पिछली केंद्र सरकारों की उपेक्षा के कारण कई मानदंड हैं, जहां हम पीछे हैं। मुख्यमंत्री नीतीश बिहार को राष्ट्रीय औसत के बराबर लाने में मदद करने के लिए अधिक धन और विशेष राज्य का दर्जा देने पर जोर दे रहे हैं।
सवाल- विपक्ष, खासकर कांग्रेस का कहना है कि घोषणाएं इस वर्ष के अंत में राज्य चुनावों के मद्देनजर की गई हैं?
जवाब- बिहार के आवंटन से क्यों नाखुश है कांग्रेस? सत्ता में रहने के 10 वर्षों में वो कभी भी निष्पक्ष नहीं रहे। उन्होंने वो नहीं किया जो करने की जरूरत थी। अगर वो इतने नाखुश हैं, तो कांग्रेस और उसके सहयोगियों को बिहार में चुनाव नहीं लड़ना चाहिए और लोगों के पास वोट मांगने नहीं आना चाहिए।
सवाल- आपकी (सजंय झा) वित्त मंत्री के साथ कई दौर की बैठकें हुईं, आपकी डिमांड लिस्ट में क्या था?
जवाब- हमारी बहुत सारी मांगें पूरी हो चुकी हैं, उन्होंने राज्य का दौरा किया। दरभंगा और मधुबनी गईं, हमने उन्हें बताया कि क्या करने की जरूरत है, वो जमीनी मुद्दों से परिचित हैं। अब मखाना बोर्ड की स्थापना से किसानों और उद्यमियों के लिए नए अवसर खुलेंगे। जिससे राज्य के आर्थिक विकास को गति मिलेगी। राष्ट्रीय खाद्य प्रौद्योगिकी, उद्यमिता और प्रबंधन संस्थान, खाद्य प्रसंस्करण क्षेत्र को भी बढ़ावा देगा। जिससे किसानों की आय में इजाफा होगा। ये सभी घोषणाएं आर्थिक सशक्तिकरण और क्षेत्रीय विकास की दिशा में कदम हैं