सीसीटीवी फुटेज से खुलेगा लूट का राज, जांच शुरू
महिन्द्रा फाइनेंस के ऑफिस में लूट की घटना सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गयी है। सीसीटीवी फुटेज से पता चलता है कि अपराधियों ने पांच से सात मिनट के अंदर घटना को अंजाम दिया है। बैंक के अंदर घुसने...
महिन्द्रा फाइनेंस के ऑफिस में लूट की घटना सीसीटीवी कैमरे में कैद हो गयी है। सीसीटीवी फुटेज से पता चलता है कि अपराधियों ने पांच से सात मिनट के अंदर घटना को अंजाम दिया है।
बैंक के अंदर घुसने वाले चार अपराधियों में से तीन ने अपना मुंह रुमाल से बांध रखा था। जबकि एक अपराधी बैंक में ऐसे ही घुसा और घुसने के बाद उसने अपना मुंह रुमाल से बांध लिया। अपराधियों ने हथियार के बल पर बैंक कर्मियों को दहशतजदा कर दिया। एक-एक को लूटने के बाद अपराधी मुख्य गेट को सटाकर आसानी से सीढ़ी से उतरे और फरार हो गए। अपराधी इतने शातिर थे कि भवन में किसी को भी लूट की घटना की भनक नहीं लगी। वहां बाहर सड़क पर लोगों की काफी भीड़ थी, लेकिन किसी को एहसास नहीं हुआ।
महिन्द्रा कर्मियों को छोड़ किसी को नहीं चला लूट का पता : सुप्रिया रोड में महिन्द्रा फाइनेंस का ऑफिस एक भवन के दूसरी मंजिल पर है। दूसरी मंजिल पर बाजाज फाइनेंस का कार्यालय तथा ग्राउंड फ्लोर पर बंधन बैंक है। दूसरी व पहली मंजिल से उतरते वक्त सीढ़ी के नीचे एक किराना दुकान है। लेकिन लूट की घटना की जानकारी बंधन बैंक, बाजाज फाइनेंस व किराना दुकानदार को तब हुई, जब पुलिस की टीम महिन्द्रा फाइनेंश के अधिकारियों द्वारा दी गयी सूचना पर मामले की जांच करने पहुंची। बाजाज फाइनेंस के कर्मी विनोद कुमार ने पुलिस अधिकारियों को बताया कि किसी तरह की घटना की जानकारी उन्हें नहीं मिली या किसी अपराधी को भागते नहीं देखा। जबकि बंधन बैंक के गार्ड रंजन श्रीवास्तव ने बताया कि वे घटना के समय बैंक के बाहर अपनी लाइसेंसी बंदूक लेकर खड़े थे। लेकिन उन्हें ऐसा नहीं लगा कि कोई अपराधी भाग रहा है। अपराधियों के भागने के क्रम में महिन्द्रा फाइनेंस के किसी कर्मी ने भी उपरी तल्ले से शोर नहीं मचाया।
बैंक कर्मियों को धमका रहे थे मुफस्सिल थानाध्यक्ष
महिन्द्रा फाइनेंस में लूट की घटना के बाद पुलिस अधिकारियों के साथ-साथ पत्रकार व आमजन भी मामले की जानकारी लेने पहुंच गए थे। दो कर्मी रवि रंजन व नीरज कुमार घटना की जानकारी दे रहे थे। तभी थानाध्यक्ष लूट के पीड़ित दोनों कर्मियों को सहानुभूति देने के बदले धमकाने लगे। थानाध्यक्ष अशोक कुमार ने दोनों को कहा कि सब नेतागिरी तुम्हारा निकल जाएगा। तुमलोगों के भी चरित्र का सत्यापन होगा। थानाध्यक्ष की धमकी सुन दोनों कर्मियों के चेहरे पहले से भी फीके पड़ गये। वहां मौजूद आम लोग पुलिस की इस शैली से आश्चर्य चकित थे। एक व्यक्ति ने कहा कि थानों में मुंशी प्रथा से आम नागरिक पहले से पीड़ित है। उसमें थानेदार का ऐसा व्यवहार काफी नींदनीय है।
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