दुनिया के लिए मिसाल! इस देश के लगभग 90% लोगों ने पेट्रोल कार छोड़ चुना EVs का साथ, चीन, अमेरिका, भारत रेस में बहुत पीछे
नॉर्वे ने दुनिया के लिए एक मिसाल पेश की है। इस देश के 90% लोगों ने पेट्रोल और डीजल कारों को छोड़कर EVs का साथ चुन लिया है। आंकड़ों के अनुसार, नॉर्वे में 2024 में बेची गई नई कारों में से लगभग 90% फुली इलेक्ट्रिक थीं।
नॉर्वे ने 2024 में इलेक्ट्रिक वाहनों (EVs) की बिक्री में एक बड़ा माइलस्टोन हासिल किया है। नॉर्वेजियन रोड फेडरेशन (OFV) के अनुसार, 2024 में बेची गई नई कारों में से 88.9% फुली इलेक्ट्रिक थीं, जो आंकड़ा साल 2023 में 82.4% था। यूरोपीय संघ ने 2035 तक कार्बन-डाइऑक्साइड उत्सर्जित करने वाली कारों की बिक्री पर प्रतिबंध लगाने का निर्णय लिया है। यह वृद्धि नॉर्वे के 2025 तक सभी नई कारों को जीरो एमिशन वाहन बनाने के लक्ष्य के करीब ले जाती है।
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टॉप ब्रांड और चीनी EVs की बढ़ती उपस्थिति
नार्वे में सबसे ज्यादा ईवी बेचने वाली कंपनियों में टेस्ला, फॉक्सवैगन और टोयोटा थी। इसके अलावा चीनी EV निर्माताओं की उपस्थिति में MG, BYD और XPeng जैसे ब्रांडों ने नॉर्वे में अपनी उपस्थिति बढ़ाई, जिससे चीनी EVs की बाजार हिस्सेदारी लगभग 10% तक पहुंच गई।
पॉलिसी और सब्सिडी
नॉर्वे की सरकार ने पेट्रोल और डीजल कारों पर टैक्स को बढ़ा दिया है, जबकि EVs पर कोई एम्पोर्ट टैक्स और VAT (Value Added Taxes) नहीं लगाया गया है, जिससे ग्राहक ज्यादा आकर्षक हो रहे हैं। हालांकि, 2023 में कुछ टैक्स फिर से लागू किए गए थे। फिर भी EVs की लोकप्रियता में वृद्धि जारी रही। अमेरिका और यूरोपीय संघ के विपरीत, नॉर्वे ने चीनी ईवी आयात पर भी टैरिफ नहीं लगाया है।
इंफ्रास्ट्रक्चर का विकास
नॉर्वे में इलेक्ट्रिक कारों की बढ़ती संख्या के साथ और चार्जिंग स्टेशनों जैसे बुनियादी इंफ्रास्ट्रक्चर का विस्तार भी हो रहा है। इसके लिए देश के पेट्रोल पंपों को तेजी से इलेक्ट्रिक चार्जिंग स्टेशनों में बदला जा रहा है, ताकि बढ़ती चार्जिंग डिमांड को पूरा किया जा सके। नॉर्वे में अब 27,000 से ज्यादा पब्लिक चार्जर हैं। इसका मतलब है कि प्रति 100,000 लोगों पर नॉर्वे में 447 चार्जर हैं, जबकि यू.के. में केवल 89 हैं।
चुनौतियां क्या हैं?
EVs की लोकप्रियता बढ़ रही है, लेकिन इसके साथ कुछ चुनौतियां भी सामने आ रही हैं। इसमें मुख्य समस्या सर्दी के दिनों में चार्जिंग टाइम का बढ़ना है, जिससे ड्राइवरों को थोड़ा परेशानी का सामना करना पड़ सकता है। इसके अलावा पर्यटकों के लिए EVs का उपयोग नया अनुभव हो सकता है। नॉर्वे की EVs के लिए यह परिवर्तन दर्शाता है कि सही नीतियों और प्रोत्साहनों के साथ इलेक्ट्रिक वाहनों के प्रति लोगों के रुझान को बढ़ाया जा सकता है। यह भारत समेत अन्य देशों के लिए एक उदाहरण प्रस्तुत करता है कि कैसे वे अपने वाहन बाजारों को अधिक पर्यावरण फ्रेंड बना सकते हैं।
UK और अमेरिका का हाल
यू.के. में 2024 में न्यू कार रजिस्ट्रेशन में इलेक्ट्रिक कारों की हिस्सेदारी केवल 20% थी, जो 2023 में 16.5% से ज्यादा है। अमेरिका में यह आंकड़ा पिछले साल 7.6% से बढ़कर 8% पर पहुंच गया। वहीं, दूसरी ओर पब्लिक रोड एडमिनिस्ट्रेशन के आंकड़ों के अनुसार, दिसंबर तक नॉर्डिक देश में चलने वाली सभी कारों में से 28% से अधिक इलेक्ट्रिक कारें थीं।
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