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तरक्की से जुड़ा है घर का वायव्य कोण, जानें यह कौन सा कोना है और यहां क्या रखना चाहिए

vastu tips: चंद्रमा वायव्य दिशा का स्वामी ग्रह है और वायु देव इस दिशा के अधिपति हैं। इसलिए इस दिशा में ऐसा कमरा हो जहां आप ज्यादा समय तक न रहें और वायु की निरंतरता बनी रहे। इसलिए इस दिशा में मेहमानों के लिए कमरा, रसोई, अनाज को स्टोर करने के लिए जगह बना सकते हैं।

Anuradha Pandey लाइव हिन्दुस्तानFri, 20 Dec 2024 07:49 AM
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वास्तु शास्त्र में उत्तर-पश्चिम दिशा को वायव्य कोण कहते हैं। घर का यह कोना आपके घर के महत्वपूर्ण कोने में से एक है। आपको बता दें कि वायव्य कोण उत्तर और पश्चिम के बीच स्थित होता है। चंद्रमा वायव्य दिशा का स्वामी ग्रह है और वायु देव इस दिशा के अधिपति हैं। इसलिए इस दिशा में ऐसा कमरा हो जहां आप ज्यादा समय तक न रहें और वायु की निरंतरता बनी रहे। इसलिए इस दिशा में मेहमानों के लिए कमरा, रसोई, अनाज को स्टोर करने के लिए जगह बना सकते हैं। एक तरह से यह कोना आपकी उन्नति से जुड़ा है। इस जगह को वास्तु के अनुसार रखने से आपकी लाइफ में तरक्की होगी। आप विदेश जा सकते हैं या फिर आपका बिजनेस अच्छा चल सकता है।

इस कोने में रसोई घर बना सकते हैं या फिर अनाज रख सकते हैं, लेकिन इस जगह सोना नहीं चाहिए। अगर आपकी कोई फैक्ट्री है तो इस जगह फैक्ट्री में तैयार माल रख सकते हैं। इससे आपको तरक्की मिलेगी।

वायव्य कोण सबसे ज्यादा अस्थिरता का कोण होता है। यह कुछ बातों के लिए बड़ा उपयोगी होता है। यदि आप विदेश यात्रा करना चाहते हैं तो घर के वायव्य कोण के शयन कक्ष में सोना शुरू कर दें। इसमें सोने से आप अपने पैतृक स्थान से दूर होते चले जाते हैं।

इस कोण की अस्थिरता के कारण ही अतिथि को इस कक्ष में सुलाने का विधान है, इसके अलावा आप यहां फैमिली रूम भी इसी कोने में कर सकते हैं। इस कोने में

जिन्हें काम के संबंध में यात्रा बहुत करनी होती है, जैसे मेडिकल रिप्रेजेंटेटिव, वास्तु शास्त्री आदि, इन्हें वायव्य कोण के कमरे में सोना शुभ फल देता है।

अगर किसी बच्चे की शादी में देरी हो रही है तो इस कोने में अपने बच्चों को सुलाना चाहिए।

घर के वायव्य कोण का खास ध्यान रखें, यह साफ सुथराहोना चाहिए और कहीं से कटा नहीं होना चाहिए, इसके कटे हुए होने से वायु तत्व की कमी होती है और सिरदर्द, चक्कर आना व एनर्जी की कमी जैसी समस्याओं आपको हो सकती हैं।

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वायव्य का दक्षिण-पश्चिम या दक्षिण-पूर्व दिशा से ऊंचा नहीं होना चाहिए। ऐसा होने से आपकी लाइफ में बैलेंस नहीं होगा। इससे व्यक्ति अपना अधिकांश वक्त व्यर्थ की और अनावश्यक बातों को सोचने में खर्च कर देता है। अगर कोई संपत्ति बेचनी हो तो उसके कागज वायव्य कोण में रखें।

इस आलेख में दी गई जानकारियों पर हम यह दावा नहीं करते कि ये पूर्णतया सत्य एवं सटीक हैं। इन्हें अपनाने से पहले संबंधित क्षेत्र के विशेषज्ञ की सलाह जरूर लें।

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