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वृश्चिक वार्षिक राशिफल 2024



1 जन॰ 2024
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वर्ष के प्रारंभ में मन अशांत रहेगा। धैर्यशीलता बनाए रखने का प्रयास करें। स्वास्थ्य के प्रति सचेत रहें। परिवार का साथ मिलेगा। 05 जनवरी के बाद किसी मित्र के सहयोग से कारोबार में भागदौड़ बढ़ेगी। पिता से धन प्राप्ति हो सकती है। 15 मार्च के बाद भवन सुख में वृद्धि हो सकती है। संतान के स्वास्थ्य का भी ध्यान रखें। कारोबार में लाभ के अवसर मिलेंगे। वाहन सुख में वृद्धि के योग बन रहे हैं। 16 अगस्त के बाद नौकरी में तरक्की के अवसर मिल सकते हैं। शासन सत्ता का सहयोग मिलेगा, परंतु स्थान परिवर्तन भी हो सकता है। चंद्र राशि पर आधारित भविष्यफल- वर्षारंभ दुविधा वाला रहेगा। पूरे साल यह राशि शनि-राहु के प्रभाव में रहेगी, जिसके कारण कठिनाई का सामना करना पड़ सकता है। ढैया के कारण अभीष्ट पाने में देरी होगी। रोजगार के बेहतर अवसर तलाशने दूसरे शहर जाना पड़ेगा। कर्जा लेकर शुरू किया गया कोई भी काम बहुत अच्छा नहीं चलेगा। मार्च में जमीन-जायदाद को लेकर विवाद बढ़ेंगे। जमीन के नए सौदे में इस साल नहीं पड़ना बेहतर होगा। परीक्षा में बेहतर करने की इच्छा में चिंताग्रस्त होकर अच्छा नहीं कर पाएंगे। विवाह के लिए योग साल के उत्तरार्ध में ज्यादा अच्छे हैं। व्यापार में और पैसा डाल कर बढ़ाने के लिए समय अनुकूल नहीं है। पिता से सहयोग मिलेगा। अगस्त में वाद-विवाद और दुर्घटनाओं का योग बनता है। अनावश्यक भागदौड़ बीमार करेगी। नौकरी के हिसाब से साल ठीक रहेगा पर नए विकल्प ज्यादा देखने को नहीं मिलेंगे। कागज पर बिना जांच-परख के हस्ताक्षर करने से नुकसान होगा। भाग्योन्नति के लिए कठिन परिश्रम का वर्ष रहेगा और साल के अंत तक कुछ बेहतरी होगी। उपाय- ●हर बुधवार को दूर्वा (घास) के आगे के सात हिस्सों को शिवलिंग पर चढ़ाएं। ●माथे पर सफेद चंदन का तिलक लगाएं। ●सवा दस रत्ती का सच्चा मोती चांदी की अंगूठी में दाहिने हाथ की कनिष्ठा उंगली में धारण करें। ●नित्य सिद्ध कुंजिका स्तोत्र का पाठ करें। ●चंदन की सुगंध वाली धूपबत्ती या अगरबत्ती जलाएं।

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Mesha Rashi

मेष राशि काल पुरुष की पहली राशि होती है। मेष राशि को अस्थिर राशि माना गया है। यह अग्नि तत्व कारक राशि होता है। इस राशि का चिन्ह भेड़ होता है। इस राशि के अंतर्गत अश्विनी एवं भरनी नक्षत्र के सभी चरण तथा कृतिका नक्षत्र का प्रथम चरण आता है। मेष राशि का वर्ण क्षत्रिय होता है। मेष राशि का स्वामी ग्रह मंगल को माना जाता है। शारीरिक बनावट में सामान्यतः मध्यम कद के होते हैं।

  • मेष राशि के स्वभाव

    मेष राशि के लोग साहसी,ऊर्जावान, दृढ़ निश्चयी और अपनी जिंदगी में गतिशीलता को पसंद करते हैं। कार्य करने के प्रति इनका स्वभाव जिद्दी होता है । अपने लक्ष्य के प्रति समझौता करना पसंद नहीं होता है। हर परिस्थिति में अपने आप को ढाल कर चुनौतियों का सामना करना इनको पसंद होता है। खेलकूद में रुचि लेते हैं।

  • मेष राशि स्वामी

    मेष राशि का स्वामी ग्रह मंगल को माना जाता है। मंगल ग्रह भूमि, भवन, वाहन, पराक्रम, साहस, भाई , बंधुओं और मित्र आदि का कारक ग्रह होता है। ऐसी स्थिति में मेष राशि के लोग मंगल के शुभ प्रभाव से सरलता पूर्वक मित्रता कर लेते हैं तथा अपने लक्ष्य को प्राप्त कर लेते हैं। मंगल के मजबूत होने पर सभी प्रकार के सुखों की प्राप्ति सहजता पूर्वक हो जाती है।

  • मेष राशि चिन्ह

    इस राशि का चिन्ह चिन्ह प्रतीक भेड़ या मेढा होता है। मेढा को साहस और निडरता का प्रतीक माना जाता है। अपने कार्यों में निरंतर लगे रहना भीड़ अथवा मेढा का स्वभाव होता है । इसी कारण मेष राशि के लोग निरंतर अपने लक्ष्य के प्रति सजग तथा क्रियाशील होते हैं।

  • मेष राशि के गुण (लक्षण)

    मेष राशि के लोग जिद्दी, ऊर्जावान, बहादुर, खुशमिजाज स्वभाव के होते हैं। मेष राशि के लोग साहस और वीरता संबंधित कार्यों में रुचि लेते हैं। इन्हें नेतृत्व करना बेहद पसंद होता है। इसलिए ये लोग जिस भी पद पर होते हैं, उस पद का निर्वहन पद के अनुरूप ही करते हैं। ये लोग पूरी तरीके से कार्य के प्रति पारदर्शी होते हैं तथा व्यक्तित्व में दूरदर्शिता रखते है। नियम विरुद्ध कार्य होने पर विद्रोही स्वरूप भी ग्रहण कर लेते हैं। वफादारी इन को बेहद पसंद होता है।

  • मेष राशि की कमियां

    मेष राशि के स्वभाव में उग्रता तथा जिद्दी होने के कारण समझौता पसंद नहीं करते है। शीघ्र क्रोध करने के कारण विवाद की स्थिति उत्पन्न होती रहती है। अस्थिर राशि होने के कारण जीवन की स्थिरता में कमी होती है। थोड़े शक करने की प्रकृति के होने के कारण आत्म सुख और पारिवारिक सुख में कमी बनी रहती है। लंबे समय तक चलने वाले कार्य को पसंद नहीं होते हैं।

  • मेष राशि का करियर (भविष्य)

    मंगल प्रधान व्यक्तित्व होने के कारण है सेना, पुलिस, प्रशासन, रक्षा व्यवस्था, खेल कूद से जुड़ना ज्यादा पसंद करते है। इसके अतिरिक्त जमीन, वाहन, इंजीनियरिंग, कला, शिक्षण , अस्त्र शास्त्र, सेल्स मैनेजर, आर्किटेक्ट तथा बिजली विभाग से जुड़कर कार्य करना अच्छा होता है। प्रकृति से चंचल होने के कारण व्यवसाय के मामले में थोड़े स्थिर होते हैं।

  • मेष राशि की सेहत

    मेष राशि के स्वामी मंगल होते हैं। मंगल के पीड़ित होने पर चोट और अग्नि भय की स्थिति बनी रहती है। पेट से संबंधित विशेषकर है। पित्त, गैस, मिर्गी की समस्या परेशान करती है । आवेशित होने के कारण चिड़चिड़ापन, तनाव, अनिद्रा, क्रोध की समस्या भी हो जाती है। मंगल के शनि और राहु से पीड़ित होने पर शल्य चिकित्सा, फोड़ा से संबंधित समस्याएं ज्यादा परेशान करती हैं।

  • जीवनसाथी के तौर पर मेष राशि

    मेष राशि के लोग ईमानदार और वफादार प्रकृति के होते हैं। इसलिए जीवनसाथी में वफादारी ज्यादा पसंद करते हैं। इन्हें लोगों की मदद करना पसंद होता हैं । मेष राशि के लोग जीवनसाथी की भावनाओं को आसानी से समझ कर उनके अनुरूप व्यवहार करते हैं।

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