पिथौरागढ़ में कलश यात्रा के साथ श्रीमद् भागवत कथा शुरु
रामलीला मैदान में कलश यात्रा के साथ श्रीमद् भागवत कथा का प्रारंभ हुआ। महिलाओं ने मंदिर से कलश यात्रा निकाली। आचार्य राधाकृष्ण पुनेठा ने कहा कि राजा परीक्षत ने कथा सुनने के लिए राजपाट छोड़ा। कथा जीवन...
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नगर के रामलीला मैदान में कलश यात्रा के साथ श्रीमद् भागवत कथा का शुभारंभ हुआ। महिलाओं ने सिर में कलश रखकर पितरौटा स्थित कालसिन-भूमिया मंदिर से भव्य कलश यात्रा निकाली। सोमवार को रामलीला मैदान में श्रीमद् भागवत कथा का शुभारंभ हुआ। गणेश पूजा व पूर्वांग के साथ कथा वाचन शुरु हुआ। आचार्य कथाव्यास राधाकृष्ण पुनेठा ने कहा कि राजा परीक्षत ने राजपाट छोड़कर श्रीमद् भागवत कथा सुनीं थी। जीवन में कुछ पाने के लिए वैराग्य एवं त्याग की जरूरत पड़ती है। मानव के शरीर में बचपन,युवा और बुढ़ापा आता है,इसलिए हमें दैनिक जीवन के साथ हमें भगवान की कथा भी सुननी चाहिए। अगर हमारे समाज में यह कथाएं न हों। भगवान के दिव्य चरित्रों का गान न हो तो हमारे दैनिक जीवन में हमारी संस्कृति में हमारी सभ्यता में प्रेम का बास ही नहीं होगा। हमारा जीवन शून्यता की ओर चला जाएगा। कहा कि भगवान की कथा हमारे जीवन में समरसता, प्रेम और आत्मीयता को स्थापित करती है। इस दौरान कथा सुनने के लिए काफी संख्या में लोगों की भीड़ जुटी रही।
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