Hindi Newsउत्तराखंड न्यूज़नैनीतालKovid 39 s system may falter in the state due to government 39 s omission

सरकारी चूक से प्रदेश में लड़खड़ा सकती है कोविड की व्यवस्था

-28 मई की नर्सिंग भर्ती परीक्षा के लिए देहरादून व हल्द्वानी में ही बनाए गए

Newswrap हिन्दुस्तान, नैनीतालWed, 19 May 2021 06:01 PM
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नैनीताल। कार्यालय संवाददाता

कोरोना के खतरे के बीच सरकारी की एक चूक से प्रदेश के कई अस्पतालों में केविड व्यवस्था बिगाड़ सकती हैं। सरकार 28 मई को नर्सिग भर्ती परीक्षा करवाने जा रही है। जिसमें प्रदेश के निजी अस्पतालों में कार्यरत नर्से व आटसोर्स, संविदा व उपनल से तैनात नर्सों के साथ ही करीब 15 हजार से अधिक परीक्षार्थी शामिल होने जा रही हैं। परीक्षा केंद्र केवल हल्द्वानी व देहरादून में बनाए गए हैं, एक साथ परीक्षा होने से अस्पतालों की व्यवस्था गड़बड़ा सकती है।

प्रदेश में 1238 पदों पर भर्ती की जा रही है। इस परीक्षा में शामिल होने जा रहे दूरदराज क्षेत्रों के परीक्षार्थियों ने तीन दिन की छुट्टी के लिए आवेदन किया है। कोरोना के खतरे के बीच एक साथ इतने अधिक परीक्षार्थी अपनी डयूटी छोड़ परीक्षा देने जाएंगे। जिससे अस्पतालों व कोविड डयूटी में व्यवस्था के लिए स्टाफ की दिक्कत हो सकती है। इसके अलावा कोविड कर्फ्यू के कारण सार्वजनिक परिवहन बंद हैं। लोगों को कोविड नियमों के साथ गाड़ियां बुक करवाकर परीक्षा देने आना पड़ेगा। बाहरी राज्यों में रह रहे कई युवा इस परीक्षा में शामिल होने आ रहे हैं। ऐसे में कोरोना के गंभीर खतरे के बीच परीक्षा करवाने पर नर्सिंग बेरोजगारों ने भी सवाल उठाए हैं। नर्सिंग बेरोजगारों के संगठन ने कोरोना के खतरे को देखते हुए परीक्षा केंद्र जिला स्तर पर बनाए जाने या फिर कोविड का खतरा कम होने के बाद करवाने की मांग उठाई है।

पूरे राज्य में कोविड कर्फ्यू लगा है और परिवहन सेवाएं एवं होटल आदि बंद हैं। ऐसे में दूरदराज के पहाड़ी इलाकों से कैसे परीक्षार्थी हल्द्वानी व देहरादून पहुंचेंगे यह बड़ा सवाल है। उन्हें अपनी टैक्सी बुक करानी होगी। ज्यादातर परीक्षार्थी निजी अस्पतालों, संविदा, आउटसोर्स एवं एनएचएम में नौकरी कर रहे हैं। यह सभी अपना काम छोड़कर परीक्षा देने आएंगे इससे दो से तीन दिन तक अस्पतालों की व्यवस्था भी संभालने में परेशानी आ सकती है। इसलिए जिला स्तर पर परीक्षा केंद्र बनाए जाएं।

-बबलू कुमार, प्रदेश अध्यक्ष, ऐलिंग वेलफेसर नर्सिंग काउंसिल

गढ़वाल से लेकर कुमाऊ तक विरोध

परीक्षा का आयोजन कोविड तक टालने की मांग पूरे प्रदेश में उठ रही है। पिथौरागढ़ की रुची वर्मा के अनुसार हल्द्वानी तक आने जाने व परीक्षा देने में तीन दिन का समय लग रहा है। कोरोना का खतरा भी है। तीन तीन की छुट्टी का आवेदन किया है पर अब तक पास नहीं हुई है। परिवार इस हालात में डर रहा है। वहीं आउटसोर्स के जरिए पौड़ी में तैनात नर्स दीपीका शर्मा के अनुसार डयूटी के बीच देहरादून जाकर परीक्षा देनी है। पहले तो छुट्टी पास होगी यह पता नहीं। कोविड के खतरे के बीच परिवार वालों के घर भी जाकर नहीं रुक सकते। सरकार को इस बारे में सोचना चाहिए। नेशनल हेल्थ मिशन में तैनात उत्तरकाशी के सुनील को भी परीक्षा केंद्र उत्तराकाशी में बनाए जाने या फिर परीक्षा को कुछ दिनों बाद करवाने की मांग उठाई है।

बाहरी राज्यों से भी आएंगे परीक्षा देने

परीक्षा के लिए आवेदन करने वाले कई नर्सिंग छात्र बाहरी राज्यों में पाइवेट नौकरी कर रहे हैं। ऐसे में उन्हें उतराखंड आने के लिए कोरोना नेगेटिव रिपोट्र के साथ वाहन की भी व्यवस्था करनी होगी। ऐसे में केवल दो स्थानों पर होने वाली यह परीक्षा सरकार के लिए परेशानी का सबब भी बन सकती है।

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