बोले हरिद्वार : भूपतवाला फ्लाईओवर के नीचे बनाया जाए बारात घर
उत्तरी हरिद्वार के भूपतवाला फ्लाईओवर के नीचे स्थानीय लोगों ने सार्वजनिक बारात घर बनाने की मांग की है। उनका कहना है कि इससे 80,000 से अधिक लोगों को फायदा होगा। बारात घर के निर्माण से मध्यम वर्गीय...
उत्तरी हरिद्वार में भूपतवाला फ्लाईओवर के नीचे लोगों ने सार्वजनिक बारात घर बनाने की मांग एचआरडीए और नगर निगम से की है। लोगों का कहना है कि भूपतवाला फ्लाईओवर के नीचे बारात घर बनता है तो उनके लिए यह वरदान साबित होगा। जिस संस्थान को बारातघर हस्तांतरित किया जाएगा, वह उसका समुचित शुल्क निर्धारित कर दें। ताकि शुल्क देकर लोग अपने सामाजिक, धार्मिक, शादी समारोह या राजनीतिक कार्यक्रम आसानी से कर सकें। उन्होंने कहा कि अगर बारात घर बनता है तो 80 हजार से ज्यादा लोगों को इसका लाभ मिलेगा। -प्रस्तुत है प्रवीण कुमार पेगवाल की रिपोर्ट...
उत्तरी हरिद्वार में नेशनल हाईवे फ्लाईओवर के नीचे हरिद्वार-रुड़की विकास प्राधिकरण स्पोर्ट्स जोन और पार्किंग एवं पार्कों को डेवलप कर रहा है। एचआरडीए ने डामकोठी शंकराचार्य चौक से लेकर भूपतवाला फ्लाईओवर तक कई स्थानों पर करोड़ों रुपये खर्च कर रेलिंग, स्पोर्ट्स जोन, पार्क और पार्किंग का निर्माण किया है। ठीक उसी तरह उत्तरी हरिद्वार के लोग मध्यम और निम्न मध्यम वर्गीय परिवारों के लिए सार्वजनिक बारातघर बनवाने की मांग कर रहे हैं। क्योंकि धर्मशालाएं, होटल एवं बारात घर के संचालक स्थानीय लोगों से मनमाफिक किराया लेते हैं। जो इन लोगों को बहुत महंगा होगा है।
ole स्थानीय निवासी आशुतोष शर्मा, डूंगर सिंह, मनोज अग्रवाल, शंकर अग्रवाल, रितेश पांडेय, मनोज यादव आदि लोगों ने बताया कि 80 हजार से ज्यादा आबादी भूपतवाला फ्लाईओवर के आसपास निवास करती है। यहां पर धर्मशालाएं और निजी बारात घर एवं होटल बड़ी संख्या में हैं। इनके साथ ही मध्यमवर्गीय परिवार भी काफी संख्या में निवास करते हैं। जो निजी बारात घरों या धर्मशालाओं का खर्चा वहन करने में असमर्थ हैं। क्योंकि धर्मशालाओं और निजी बारात घर का किराया भाड़ा बहुत महंगा है। ऐसे में मध्यमवर्गीय लोगों के लिए यह रकम बहुत बड़ी है। इसलिए लोग एचआरडीए से भूपतवाला फ्लाईओवर के नीचे एक सार्वजनिक बारात घर बनाने की मांग उठा रहे हैं।
सीजन में बारात घर और धर्मशालाएं हो जाते हैं बुक
यह क्षेत्र पूरी तरह धार्मिक होने के कारण शादी के साथ-साथ कथाओं का सीजन शुरू हो जाता है। इस दौरान धर्मशाला या बारात घर संचालक महंगे दामों पर पहले ही कथाओं के लिए बुक कर देते हैं। इस स्थिति में स्थानीय लोगों को परेशानी का सामना करना पड़ता है। यही कारण है कि लोग फ्लाईओवर के नीचे जिला प्रशासन से बारात घर की बनाने की मांग कर रहे हैं। यहां बारातघर बनता है। तो यह उनके लिए वरदान साबित होगा। बारातघर की देखरेख के लिए किसी संस्था को जिम्मेदारी दी जाए। यहां पर सीवर लाइन भी पहले ही डाली गई है।
बारात घर बनने से लोगों को मिलेगी राहत
फ्लाईओवर के नीचे बारातघर बनाने को लेकर स्थानीय लोग पिछले कई माह से नगर निगम और एचआरडीए कार्यालय में दोनों विभागों के समक्ष इस प्रस्ताव को रखा गया है। एचआरडीए बारात घर बनाकर किसी भी संस्था को सौंप दें। वहां पर शादी समारोह हो या अन्य आयोजनों में प्रयुक्त होने वाले बर्तन, कुर्सियां, टेबल, मेज, टेंट और बिजली उपकरण आदि सामान की व्यवस्था खुद करेगी। दोनों विभागों में से कोई भी विभाग इस मुहिम को अमलीजामा पहना देता है तो यह मध्यम वर्ग की बड़ी जीत होने के साथ-साथ उनके लिए वरदान साबित होगा। यह स्थान उत्तरी हरिद्वार के बीच केंद्र में है। उनके चारों तरफ आवासीय कालोनियां है। इसमें एक हजार से ज्यादा लोगों का कार्यक्रम आसानी से हो सकता है। जतिन बबर, नागेश रावत, आयुष अरियाल, श्रय शास्त्री, सचिन प्रजापति, विकास शर्मा आदि लोगों कहना है कि सामाजिक, धार्मिक, राजनीतिक या अन्य कार्य करने के लिए यहां जगह नहीं बची है। जब एचआरडीए फ्लाईओवर के नीचे स्पोर्ट्स जोन और पार्किंग या पार्क बना रहा है, तो मध्यमवर्गीय लोगों के लिए फ्लाईओवर के नीचे सामुदायिक बारातघर भी बनाएं। स्थानीय लोगों कहना है कि फ्लाईओवर के नीचे बड़े पैमाने पर जमीन खाली पड़ी है। यह बारातघर बनाने के प्रयोग में लाई जा सकती हैं। इससे निगम का कोई नुकसान भी नहीं है। इससे आए के स्रोत बढ़ेंगे। नियमानुसार समारोह पर चार्जेस फिक्स होंगे। वह उसको देते रहेंगे। इससे लोगों को राहत मिलेगी।
25 से ज्यादा कॉलोनियों के लोगों को मिलेगा लाभ
फ्लाईओवर के नीचे स्पोर्ट्स जोन युवाओं के खेलने के लिए बनाया गया है। इससे युवाओं के स्वास्थ्य पर बेहतर असर पड़ेगा। स्थानीय लोगों कहना है कि यह भी एक तरह की युवाओं को बेहतर सुविधा दी गई है। ठीक इसी तरह स्थानीय लोगों को भी बारात घर की सुविधा दी जाए। उत्तरी हरिद्वार में उत्तम बस्ती, श्रद्धापुरम, जीडी पुरम, सत्यम विहार, गायत्री विहार, इंद्र एनक्लेव फेस-टू, पीपल वाली गली, भागीरथी नगर, ओम विहार, हर्ष विहार, रानीगली, शिव नगर, साईंगली, एसडी पुरम, जसवेंद्र एनक्लेव, साधुवेला, सप्तऋषि आदि 25 से ज्यादा कॉलोनियों और वार्डो के लोगों की समस्या दूर होगी।
यातायात प्रभावित होने की भी समस्या नहीं होगी
देव महेश्वर और मोहित अरियाल ने कहा कि सत्यम विहार और ओम विहार कॉलोनी के मध्य फ्लाईओवर के नीचे न तो यातायात प्रभावित होगा और न ही वाहनों का जाम लगेगा। न ही यहां पर किसी तरह की दुर्घटना होने का खतरा है। क्योंकि नेशनल हाईवे फ्लाईओवर के ऊपर से वाहन गुजरते हैं। स्थानीय लोगों का कहना है कि अगर दुर्घटना होने का खतरा होता तो फ्लाईओवर के नीचे स्पोर्ट्स जोन व पार्किंग एवं पार्कों को नहीं बनाया जाता है। स्थानीय लोग 80 हजार से ज्यादा लोगों को भविष्य में समस्या नहीं उठानी होगी।
लोगों को उठाना पड़ता है आर्थिक नुकसान
अजय गिरी और पूरन सिंह पांडेय ने कहा कि मध्यम वर्गीय परिवार कर्ज या उधार लेकर शादी समारोह या अन्य कार्यक्रम करते हैं। उनकी गाढ़ी कमाई ही धर्मशालाओं, होटलों और बारात घरों में किराया देने में ही चली जाती है। यह रकम बच जाए तो उन्हें किसी से न ज्यादा उधार लेना होगा, न ही ब्याज पर पैसा मांगना पड़ेगा। स्थानीय लोगों ने कहा कि बारातघर बनने से लोगों को आर्थिक रूप से मजबूती मिलेगी। न ही लोगों को गलियों की सड़कों पर टेंट लगाना और न ही खाली प्लॉट को ढूंढना पड़ेगा।
सुझाव
1. भीमगौड़ा और सप्तऋषि के मध्य बने फ्लाईओवर के नीचे बड़े पैमाने पर खाली जमीन पड़ी है। यहां कई बारात घर बन सकते हैं।
2. एचआरडीए ने स्पोर्ट्स जोन, पार्किंग और पार्कों का निर्माण किया है। उसी तरह यहां बारात घर बनाया जा सकता है।
3. फ्लाईओवर के दोनों तरफ सर्विस रोड है। यहां बारात घर बनने से जाम भी नहीं लगेगा।
4. एचआरडीए-नगर निगम बारात घर बनाते हैं तो राजस्व के साथ ही लोगों को रोजगार मिलेगा।
5. बारात घर हानि नहीं राजस्व बढ़ाने का भी एक माध्यम बन सकता है।
शिकायतें
1. एचआरडीए और नगर निगम से फ्लाईओवर के नीचे बारात घर बनाने कई बार मांग कर चुके हैं।
2. धर्मशालाओं का किराया बहुत बढ़ गया है। प्रशासन को लोग कई बार इस परेशानी को बता चुके हैं।
3. सीजन में धर्मशाला और होटल संचालक अधिक रुपये वसूलते हैं। शिकायत के बावजूद इन पर कोई कार्रवाई नहीं होती।
4. सीजन में धर्मशालाओं में धार्मिक कथाओं के आयोजन भी शुरू हो जाते हैं। जिससे स्थानीय निवासियों को अपने कार्यक्रमों के लिए जगह नहीं मिल पाती।
5. लोगों में बारात घर बनाने की मांग की अनदेखी से नाराजगी।
बोल लोग-
शादी, कथा सहित अन्य कार्यक्रमों के लिए स्थान नहीं बचे हैं। एचआरडीए या निगम को भूपतवाला फ्लाईओवर के नीचे बारातघर बनाने के लिए अब खुद आगे आना चाहिए। -बिना पाल
क्षेत्र के खाली प्लॉटों मकान बन गए हैं। होटल और धर्मशालाओं में अब बाहर के लोग भी बुकिंग कराने लगे हैं। इसलिए लोकल के लोगों को दिक्कत होती हैं। यहां बारात घर जल्द बनना चाहिए। -नीलम वर्मा
यहां प्रतिदिन होने वाले कार्यक्रमों स्थलों की मांग बढ़ जाती है। इसका फायदा निजी बारात घरों एवं धर्मशाला संचालक मुहं मांगे दाम लोगों से वसूल कर उठाते हैं। बारात घर जल्द बनाया जाए। -बबिता वर्मा
उत्तरी हरिद्वार क्षेत्र में अधिकांश लोग निम्न और मध्यम वर्ग से आते हैं। वह इतना महंगा किराया वहन नहीं कर पाते हैं। उनके पास अन्य विकल्प न होने के कारण मजबूरी में बुक करना पड़ता है। -कुन्नी देवी
महंगी दरों पर होटलों, धर्मशालाओं, बारातघरों को बुक करना पड़ता है। अगर जिला-प्रशासन नेशनल हाईवे पुल के नीचे बारात घर बनाए तो स्थानीय निवासियों सस्ती दरों पर इसका लाभ मिल पाएगा। -संगीता चौहान
फ्लाईओवर के नीचे बारातघर बनने से कम पैसों में शादी समारोह और धार्मिक कार्यों को आसानी से कर सकेंगे। इसके लिए जिला-प्रशासन जो भी निर्धारित शुल्क तय करे। -आरती चौहान
जिला-प्रशासन बारात घर को तैयार करके किसी सामाजिक संस्था या नगर निगम को सौंपता है। वह उसकी देखरेख करेगा। लोग कम शुल्क देकर दिव्य-भव्य कार्यक्रम करने में आसानी होगी। -शशि अग्रवाल
एचआरडीए की फ्लाईओवर के नीचे स्पोर्ट्स जोन और पार्किंग बनाने की इस पहल से लोगों के अंदर एक उम्मीद की किरण दिखाई दी है। हम फ्लाईओवर के नीचे बारात घर की मांग कर रहे हैं। -तानिया
जिले में एचआरडीए भी पार्क, स्पोर्ट्स जोन और पार्किंग आदि कार्यो में करोड़ों रुपये का बजट खर्च कर रहा है। अगर डेढ़ लाख की आबादी के लिए भी बारात घर बने तो लोगों को बड़ी राहत मिलेगी। -आरती शर्मा
गरीब तबके के व्यक्ति महंगे दामों पर और होटल, बारातघर बुकिंग करने से कतराते हैं। अगर फ्लाईओवर के नीचे खाली पड़ी भूमि पर बारात घर बनता है। तो ये गरीबों के लिए एक बड़ी सौगात होगी। -सीता देवी
क्षेत्र में आबादी बढ़ने के साथ, मांगलिक कार्यों के लिए खुले स्थानों की कमी हो गई है। ऊपर से रोज कोई न कोई पारीवारिक, धार्मिक कार्यक्रम होना तय हैं। बारातघर की लोगों को बेहद जरूरी है। -सुरेन शर्मा
अभी तक स्थानीय लोग धार्मिक और वैवाहिक कार्यक्रम खाली पड़े प्लॉटों में कर रहे थे। लेकिन अब वहां पर मकान बन चुके हैं। कोई भी कार्यक्रम करना परेशानी का सबब बना हुआ है। -अनिता शर्मा
बोले जिम्मेदार
एनआरडीए सचिव मनीष कुमार का कहना है कि अप्रैल माह में हरिद्वार-रुड़की विकास प्राधिकरण (एचआरडीए) की बोर्ड बैठक प्रस्तावित है। बोर्ड बैठक में बारात घर निर्माण के प्रस्ताव को भी रखा जाएगा। अनुमति मिलने के बाद स्थान का चयन कर इसका निर्माण की कवायद शुरू की जाएगी। एचआरडीए लोगों को सुविधाएं देने के लिए ही बना है।
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