एसटीएच से हड्डी टूटे मरीज भी गए एम्स ऋषिकेश
रेफर अस्पताल -नाम का मेडिकल कॉलेज, गंभीर मरीजों को तुरंत करना पड़ता है रेफर
रेफरल अस्पताल -नाम का मेडिकल कॉलेज, गंभीर घायलों को करना पड़ रहा रेफर
-सिर और छाती में चोट, टूटी हड्डी के सात घायल रेफर किए जा चुके
हल्द्वानी, वरिष्ठ संवाददाता। राजकीय मेडिकल कॉलेज से संबद्ध डॉ. सुशीला तिवारी अस्पताल से सल्ट के बस हादसे के 9 में से 7 घायलों को एम्स ऋषिकेश रेफर कर दिया है। इसके साथ ही कुमाऊं के सबसे बड़े सरकारी अस्पताल (टर्सरी सेंटर) की वास्तविक स्थिति सामने आई है। हैरानी की बात यह है कि बस हादसे के हड्डी टूटे घायल भी एम्स ऋषिकेश रेफर कर दिए गए।
एसटीएच में कुमाऊं के गंभीर मरीज पहुंचते हैं। हालांकि सल्ट के बस हादसे की सूचना के बाद अस्पताल प्रबंधन ने इमरजेंसी के बाहर स्ट्रेचर, व्हील चेयर वगैरह आदि का इंतजाम कर के रखा था। नर्सिंग स्टाफ एवं डॉक्टरों को भी अलर्ट मोड पर रखा था। सोमवार शाम तक हादसे के 8 घायल एसटीएच लाए गए। उधर, अगले दिन मंगलवार से ही 4 मरीजों को हायर सेंटर रेफर करने की तैयारी शुरू हो गई। मंगलवार को हालांकि मौसम की खराबी के चलते केवल एक घायल भरत को ही एयर एंबुलेंस से ऋषिकेश भेजा जा सका। बुधवार को छह और घायलों को किसी तरह से एम्स ऋषिकेश भेज दिया गया। एक घायल के परिजन उसे काशीपुर के एक प्राइवेट हॉस्पिटल में ले गए हैं। चिकित्सा क्षेत्र के जानकारों के अनुसार, टर्सरी सेंटर होने के चलते सभी मरीजों का यहां इलाज होना चाहिए लेकिन लोगों का भरोसा एसटीएच पर नहीं बन पा रहा।
हड्डी टूटे मरीज तक होना चाह रहे रेफर
डॉ. सुशीला तिवारी अस्पताल में 14 साल से हड्डी रोग विभाग है। राजकीय मेडिकल कॉलेज में आज तक इस विभाग की पीजी कक्षाएं शुरू नहीं हो पाई हैं। ऐसी स्थिति में यहां हड्डी टूटे मरीज का इलाज कराना चुनौती बना हुआ है। एम्स ऋषिकेश गए दो मरीजों की हड्डी टूटी थी, जो यहां से रेफर किए गए।
दो न्यूरो सर्जन, घायल भेजे ऋषिकेश
एसटीएच का इतिहास है कि यहां पर न्यूरोसर्जन तैनाती पर आए और अंदरूनी राजनीति के चलते वह छोड़कर चले गए। एसटीएच छोड़कर गए ये न्यूरोसर्जन हल्द्वानी शहर में ही अपना अस्पताल तक संचालित कर रहे हैं। एसटीएच में वर्तमान में दो न्यूरोसर्जन हैं, बावजूद इसके ऋषिकेश जाने वाले घायलों में न्यूरो से संबंधित परेशानी वाले घायल भी शामिल हैं।
एसटीएच से रेफर किए गए घायल...
वैष्णवी (23)- किडनी में चोट
भरत (50)- सिर में चोट, फेफड़े में गहरी चोट
विशाल (28) -हाथ और पैर की हड्डी टूटी
बिपांशु (21)- दोनों पैरों की हड्डी टूटी
प्रमिला(27)- रीढ़ की हड्डी में चोट
राबिन(23) - रीढ़ की हड्डी में चोट
नोट: प्रमिला के साथ उनकी बेटी अवनि को भी रेफर किया है जो स्वस्थ है।
दो घायल अभी एसटीएच में भर्ती
डॉ. सुशीला तिवारी अस्पताल में सल्ट बस हादसे के दो घायल अभी भर्ती हैं। इनमें 41 वर्षीय रमेश रावत की हाथ और कूल्हे की हड्डी टूटी है। इसके अलावा एक अन्य घायल अंजलि के माथे, कमर और शरीर के अन्य हिस्सों पर हल्की चोट हैं।
सल्ट के बस हादसे के एक-दो घायलों को छोड़ दिया जाए तो सभी का यहां इलाज हो सकता था और हो भी रहा था। लेकिन घायल बसयात्री स्वयं एम्स ऋषिकेश जाना चाह रहे थे। अगर कोई घायल अन्य हायर सेंटर जाना चाह रहा हो तो हम उन्हें रोक नहीं सकते। ऐसे में प्रशासन ने जरूरी व्यवस्था कर उन्हें हायर सेंटर भिजवा दिया।
-डॉ. अरुण जोशी, प्राचार्य, राजकीय मेडिकल कॉलेज, हल्द्वानी
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