ऊर्जा के निगमों में भी लागू की जाए पुरानी पेंशन
उत्तराखंड विद्युत अधिकारी कर्मचारी संयुक्त संघर्ष मोर्चा ने मुख्य सचिव को ज्ञापन सौंपकर ऊर्जा निगमों में पुरानी पेंशन का लाभ देने की मांग की। मोर्चा संयोजक इंसारुल हक ने कहा कि अन्य विभागों के...
कर्मचारी मोर्चा ने मुख्य सचिव को ज्ञापन सौंप की मांग शासन की तरह ऊर्जा के निगमों में भी दिया जाए लाभ
देहरादून, मुख्य संवाददाता।
उत्तराखंड विद्युत अधिकारी कर्मचारी संयुक्त संघर्ष मोर्चा ने ऊर्जा के तीनों निगमों में भी पुरानी पेंशन का लाभ देने की मांग की। मुख्य सचिव राधा रतूड़ी को ज्ञापन सौंप शासन की तरह अक्तूबर 2005 तक वाले कर्मचारियों को ओपीएस से जोड़ने पर जोर दिया।
मोर्चा संयोजक इंसारुल हक ने कहा कि ऊर्जा के निगमों को छोड़ कर राज्य के बाकि अन्य सभी विभागों में अक्तूबर वर्ष 2005 तक वाले कर्मचारियों को पुरानी पेंशन का लाभ दिया जा रहा है। इसके अलावा जिन विभागों में भर्ती की विज्ञप्ति और आयोग को अध्याचन तक अक्तूबर 2005 से पहले भेजा गया, उन कर्मचारियों को भी लाभ दिया जा रहा है। दूसरी ओर ऊर्जा के निगमों में 2002, 2004 से लेकर 2005 में नियुक्त हुए कर्मचारियों को भी ये लाभ नहीं मिल पा रहा है। लंबे समय से कर्मचारी पुरानी पेंशन का लाभ सुनिश्चित कराए जाने को दबाव बनाए हुए हैं, लेकिन कोई तवज्जो नहीं दी जा रही है। इसे लेकर कर्मचारियों में नाराजगी है। कहा कि वर्ष 2020 के बाद नियुक्त हुए कार्मिकों को भी पूर्व की भांति विद्युत टैरिफ सुविधा प्रदान की जाए।
विनोद कवि ने कहा कि तीनों ऊर्जा निगमों में कार्यरत उपनल और संविदा कार्मिकों को नियमित किया जाए। हाईकोर्ट के आदेश को तत्काल लागू किया जाए। नियमितीकरण होने तक समान काम का समान वेतन दिया जाए। ज्ञापन देने वालों में राकेश शर्मा, कार्तिकेय दुबे, पंकज सैनी, आनंद रावत, केहर सिंह, राजवीर सिंह, बीरबल, भानु प्रकाश जोशी, विनोद कवि, सुनील तंवर, प्रदीप कंसल मौजूद रहे। इसके अलावा प्रतिनिधिमंडल ने सचिव वित्त दिलीप जावलकर समेत एमडी यूपीसीएल अनिल कुमार को भी ज्ञापन सौंपा।
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