बोले काशी : सीवर और पानी से नाता नहींबहुत पुरानी है सीर की पीर
Varanasi News - सीर गोवर्धनपुर, संत रैदास की जन्मस्थली, नागरिक सुविधाओं के अभाव में है। यहां पेयजल और सीवर की समस्याएं हैं। माघी पूर्णिमा के समय सुविधाएं मिलती हैं, लेकिन बाकी दिनों में लोग परेशान हैं। नागरिकों ने...
वाराणसी। सीर गोवर्धनपुर, संत रैदास की जन्मस्थली। पूरी दुनिया में हो चली है विख्यात। साल में यहां माघी पूर्णिमा के 15 दिन पहले से नागरिक सुविधाओं की धवल चांदनी चमकती है। बाकी 365 दिन सीवर-सफाई के अभावों की करुण कहानी सुनाई-दोहराई जाती है। शाम के बाद अंधेरा माहौल को गंवई बना देता है। राहत सिर्फ यह कि रविदास मंदिर के कुएं से आबादी के बड़े हिस्से को पेयजल मिल जाता है। 40 वर्ष पुरानी पाइप लाइन से पानी नहीं आता। लोगों को नवशहरी का तमगा मिला है, सुविधाएं कोसों दूर हैं। सीर गोवर्धनपुर बनारस की बहुत पुरानी रिहाइश है। काशी हिंदू विश्वविद्यालय की स्थापना में यहां के पुरनियों ने सहयोग किया है। यहां के पहलवानों का शौर्य इलाके की प्रतिष्ठा बढ़ाता रहा है। कभी ताड़, बैर और आम के पेड़ों से उसकी प्राकृतिक संपदा की चमक बिखरती थी। समय के साथ शहरीकरण ने सीर गोवर्धनपुर पर भी प्रभाव डाला। खेतों में कंक्रीट के जंगल उगते गए और तीन साल पहले यह नगर निगम का हिस्सा बन गया। ‘हिन्दुस्तान से चर्चा में यहां के वाशिंदों ने कहा कि रविदास मंदिर के कुएं से पानी नहीं मिले तो एक बड़ी आबादी प्यासी रह जाए। क्षेत्र में पेयजल की नई पाइपलाइन बिछाने की मांग दिनों दिन मुखर हो रही है। विजय यादव शुभम, कांति, आशा देवी ने कहा कि सड़कों पर ही लाइटें लगा देने से शहर स्मार्ट नहीं बन सकता। सीर गोवर्धनपुर के लोग बुनियादी सुविधाओं के लिए परेशान हैं। यह क्षेत्र नगर निगम का हिस्सा है। इसलिए स्मार्ट सिटी की परिकल्पना यहां की समस्याएं दूर हुए बिना साकार नहीं हो सकती। मंगला प्रसाद ने बताया कि सीर गोवर्धनपुर में लगभग 1500 मकान हैं। आबादी लगभग 30 हजार है। कई लोगों ने पानी के लिए समर्सिबल लगवा लिया है। वहीं रविदास मंदिर के पीछे वाली आबादी मंदिर के कुएं से पानी लेती है। नागरिकों ने बताया कि पूरी आबादी के लिए पीने के पानी की मुकम्मल व्यवस्था नहीं है। विगत तीन साल में सीवर लाइन की योजना भी नहीं बनी, बिछनी तो दूर की बात है। जलनिकासी का कुछ लोगों ने खुद इंतजाम किया है।
सफाई न कूड़ा उठान, सब परेशान
सीर गोवर्धनपुर और आसपास नगर निगम के सफाईकर्मी संत रविदास जयंती समारोह के पहले और समारोह मनने तक सक्रिय रहते हैं। पूरा अमला एक-एक तिनके की सफाई करता है। चूने का छिड़काव होता है। तब पता नहीं चलता कि कूड़ा-कचरा कहां निस्तारिता होता है। बाकी दिनों में सफाई नहीं होती। कूड़ा उठान भी नहीं होता। अशोक कुमार, लालबहादुर ने बताया कि झाड़ू हम सभी लगा लेते हैं लेकिन कूड़ा कहां फेकें क्योंकि डस्टबिन नहीं है।। खुले में कचरा फेकना मजबूरी है। माया देवी, अमन यादव ने कहा कि बस्ती के लोग स्वयं सफाई न करें तो चारो तरफ कूड़े का अंबार लगा रहेगा। नगर निगम में शामिल होने के तीन साल बाद भी समस्या बनी हुई है।
स्वयं किया जलनिकासी का इंतजाम
अमन यादव, उषा ने बताया कि सीरगोवर्धनपुर में सीवरलाइन नहीं है। लोगों ने स्वयं जलनिकासी की व्यवस्था की है। कई घरों में अब भी परेशानी है। विजय यादव, शुभम, कांति, आशा देवी ने बताया कि कुछ लोगों ने चंदा लगाकर खुद से जलनिकाली की व्यवस्था कर ली मगर जो सक्षम नहीं हैं, उन्हें परेशानी होती है। कई बार की शिकायत के बाद भी समाधान नहीं हो रहा है। कम से कम सीवर और पानी की सुविधा तो मिलनी ही चाहिए।
बिना वजह राशन कार्ड से कटे नाम
सीर गोवर्धनपुर में कई लोगों के नाम राशन कार्ड से कट गए हैं। अमन यादव, मंगला प्रसाद ने बताया कि बिना कारण के नाम काट दिया गया। वहीं राशन भी पूरा नहीं मिलता है। इसकी लोगों ने शिकायत भी की लेकिन समाधान नहीं हुआ। चंद्रमा प्रसाद ने बताया कि जिनके घर में छह लोग हैं, वहां चार को ही राशन मिल रहा है। जबकि नियम के अनुसार सभी को मिलना चाहिए।
पेंशन कार्ड के लिए लगे कैंप
सीर गोवर्धनपुर की बुजुर्ग महिलाओं ने कहा कि कार्ड बनवाने के लिए विभागों का चक्कर लगाकर परेशान हो गई हैं। कई बार भागदौड़ के बाद भी कार्ड नहीं बना। माया देवी, आशा देवी, रामा देवी ने कहा कि वृद्धा पेंशन, विधवा पेंशन के साथ ही दिव्यांगजनों के लिए कैंप लगाया जाना चाहिए। कैंप में लोगों को कार्ड बनवाने में राहत होगी। कुछ लोग विभागों तक भागदौड़ नहीं कर सकते हैं।
मुद्दत से खराब हैं स्ट्रीट लाइटें
सीर गोवर्धनपुर में कई स्ट्रीट लाइटें काफी दिनों से खराब हैं। कई बार शिकायत के बाद भी वे नहीं बन रही हैं। अशोक कुमार, माया देवी ने बताया कि शिकायत के समाधान का समय तय होना चाहिए। लोग नगर निगम का चक्कर लगाते हैं लेकिन समस्या बनी रहती है। उन्होंने बताया कि शाम के वक्त मेनरोड से अंदर जाने वाले रास्ते में अंधेरा रहता है। आवागमन में परेशानी होती है। इसका जल्द से जल्द समाधान होना चाहिए।
मिले कौशल विकास की ट्रेनिंग
अमन यादव, अशोक कुमार के अलावा कई महिलाओं ने कहा कि संत रविदास के ही नाम से यहां कौशल विकास केन्द्र खुले तो युवा लड़के-लड़कियों को बहुत लाभ होगा। उन्होंने बताया कि कई परिवारों की लड़कियां साधन के अभाव में उच्च शिक्षा नहीं ले पातीं। उन्हें सिलाई-कढ़ाई, ब्यूटी पार्लर, फूड प्रॉसेसिंग आदि की ट्रेनिंग मिले तो वे आत्मनिर्भर बनेंगी। उषा, माया देवी ने कहा कि नई उम्र की महिलाएं भी अतिरिक्त आय चाहती हैं लेकिन उन्हें अवसर नहीं मिल रहा है।
बोले बाशिंदे
कई बार शिकायत के बाद भी पेयजल की व्यवस्था नहीं हो रही है। लोग परेशान हैं। मंदिर के कुएं का सहारा है।
-अशोक कुमार
सीर गोवर्धनपुर में केवल सड़क पर झाड़ू लगती है। बस्तियों में न झाड़ू लगती है और न कूड़ा उठान होता है।
- लालबहादुर
वृद्धा और विधवा पेंशन कार्ड बनवाने के लिए विभागों का चक्कर लगाना पड़ता है। कैंप लगना चाहिए।
- माया देवी
राशन कार्ड से कई नाम बेवजह काट दिए गए। शिकायत की सुनवाई नहीं हो रही है। कई पात्र खाद्यान्न से वंचित हैं।
- अमन यादव
सीवर लाइन नहीं होने से सीवेज की समस्या थी। कुछ लोगों ने खुद जल निकासी की व्यवस्था की। स्थायी समाधान हो।
- उषा
सफाई नहीं होती। ऊपर से कंटेनर भी नहीं है। झाड़ू तो खुद लगा रहे हैं। अब कूड़ा फेंकने कहां जाएं।
- विजय यादव शुभम
कई स्ट्रीट लाइटें खराब हैं। शिकायत के महीनों बाद वे बनती हैं। इससे हमें आवागमन में समस्या होती है।
- कांति
सीवरलाइन की जल्द से जल्द व्यवस्था होनी चाहिए। इसके बिना लोगों का काम नहीं चल सकता।
- आशा देवी
बड़ी आबादी कुएं पर निर्भर है। कुछ लोगों ने समर्सिबल लगवा लिया है लेकिन ज्यादातर पानी के लिए परेशान हैं।
- रामा देवी
खुले में कचरा फेंकने से मच्छरों का प्रकोप और उनके चलते बीमारियों का खतरा बढ़ रहा है। रोज कूड़ा उठान हो।
- माया देवी
सुझाव
1-क्षेत्र में सीवर लाइन की व्यवस्था होनी चाहिए। बड़ी आबादी की सीवर समस्या का तभी समाधान होगा। पूरे क्षेत्र का सर्वे कराना चाहिए।
2-जरूरत के अनुसार पेयजल की पाइपलाइन डाली जाए। तभी समस्या दूर होगी। कुएं पर निर्भरता भी खत्म होगी।
3- रोज सफाई सुनिश्चित की जाए। इसके साथ ही कूड़ा उठान हो। मुख्य जगहों पर कंटेनर रखा जाए ताकि लोग खुले में कूड़ा न फेंके।
4- जिन लोगों के नाम राशन कार्ड से काटे गए हैं, उन्हें कारण बताया जाए। यदि वे पात्र हैं तो उनका नाम फिर से जोड़ा जा। नियमानुसार सभी को राशन मिले।
5- विधवा-वृद्धा पेंशन के लिए क्षेत्र में कैंप लगाया जाए। ताकि जरूरतमंद लोग अपने कार्ड बनवा सकें। उन्हें विभागों का चक्कर लगाने राहत मिलेगी।
शिकायतें
1- क्षेत्र में सीवरलाइन नहीं है। लोगों ने जलनिकासी की खुद व्यवस्था की है जो पर्याप्त नहीं है। कई बार परेशानी होती है।
2- पेयजल की पाइप लाइन काफी पुरानी है। अब पानी भी नहीं आता है। रविदास मंदिर के कुएं से पानी न मिले तो लोग प्यासे रह जाएं।
3- सफाई और कूड़े का उठान नहीं होता। जगह-जगह कूड़ा फेकने से मच्छरों का प्रकोप बढ़ रहा है। इससे बीमारियों का खतरा भी है।
4- बिना ठोस कारण, कई लोगों के नाम राशन कार्ड से काट दिए गए हैं। जिस घर में छह लोग हैं, वहां चार को ही राशन मिल रहा है।
5- वृद्धा और विधवा पेंशन बनवाने के लिए विभागों का चक्कर लगाना पड़ता है। इसके बाद भी कार्ड नहीं बन पाता है। जरूरतमंद परेशान हैं।
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