मन की सुनें और परिवर्तन से डरें नहीं युवा : अभिषेक सिंह
Varanasi News - वाराणसी में अभिषेक सिंह ने छात्रों को परिवर्तनों का स्वागत करने और अपने जुनून के प्रति समर्पित रहने का महत्व बताया। उन्होंने अपने अनुभव साझा करते हुए कहा कि छात्रों को अपने मन की सुननी चाहिए और रुचि...

वाराणसी, वरिष्ठ संवाददाता। आईएएस अधिकारी से अभिनेता बने अभिषेक सिंह ने कहा कि युवाओं को परिवर्तनों से घबराने नहीं, बल्कि उनका स्वागत करने की जरूरत है। जरूरी यह है कि अपने मन की सुनें और रुचि के हिसाब से ही फैसले लें। बीएचयू की हिंदी प्रकाशन समिति की तरफ से शनिवार को आयोजित छात्र संवाद में उन्होंने छात्रों से अपने अनुभव साझा किए। फिर उनके सवालों के जवाब भी दिये। विज्ञान संस्थान के महामना सभागार में अभिषेक सिंह ने आयुष्मान भारत योजना और स्वामी विवेकानंद के विचारों से अपनी बात शुरू की। उन्होंने बताया कि कैसे एक आईएएस अधिकारी के रूप में सेवा देने के बाद अभिनय की दुनिया में कदम रखा। नेटफ्लिक्स की लोकप्रिय वेब सीरीज ‘दिल्ली क्राइम सीजन 2 और ‘मां काली जैसी कई फिल्में और म्यूजिक वीडियो में भूमिकाएं निभाईं। उन्होंने छात्रों को संघर्षों का सामना करने, बदलाव को अपनाने और अपने जुनून के प्रति समर्पित रहने का महत्व बताया। इस अवसर पर हिंदी प्रकाशन समिति द्वारा प्रकाशित नई पत्रिका ‘अचिंत्य का विमोचन भी किया गया। खास यह है कि इस पत्रिका को विज्ञान संस्थान के छात्रों ने डिज़ाइन किया है।
कार्यक्रम के आयोजक प्रो. ज्ञानेश्वर चौबे ने छात्रों के प्रयासों की सराहना करते हुए कहा कि यह पत्रिका छात्रों की रचनात्मक क्षमता और बौद्धिक विकास का प्रतीक है। सत्र के अंत में अभिषेक सिंह ने छात्रों के प्रश्नों का उत्तर देते हुए सिविल सेवा, कॅरियर में बदलाव और सामाजिक जिम्मेदारी जैसे विषयों पर मार्गदर्शन दिया। संचालन जन्तु विभाग की शोधछात्रा तन्वी चौधरी ने किया। इस दौरान विश्वविद्यालय के वरिष्ठ शिक्षक, छात्र और अधिकारी उपस्थित रहे।
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