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यूपी के प्राइमरी स्कूलों में भी अब डिजिटल लाइब्रेरी, होंगी ये सुविधाएं

  • यूपी के प्राइमरी स्कूलों में भी अब डिजिटल लाइब्रेरी की सुविधा होगी। केन्द्र सरकार की पहल पर प्रदेश के सभी परिषदीय विद्यालयों में इसे नए सत्र से शुरू किए जाने की तैयारी है। विभिन्न भाषाओं एवं करीब 75 पब्लिशर्स की 3000 से अधिक किताबें बच्चों को डिजिटली उपलब्ध कराई जाएंगी।

Deep Pandey हिन्दुस्तान, लखनऊ, अजीत कुमारSun, 23 Feb 2025 06:11 AM
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यूपी के प्राइमरी स्कूलों में भी अब डिजिटल लाइब्रेरी, होंगी ये सुविधाएं

अगले शिक्षण सत्र से प्राइमरी और अपर प्राइमरी स्कूलों के बच्चों को भी डिजिटल लाइब्रेरी की सुविधा मिलने लगेगी। केन्द्र सरकार की पहल पर प्रदेश के सभी परिषदीय विद्यालयों में इसे नए सत्र से शुरू किए जाने की तैयारी है। इसका उद्देश्य बच्चों के बीच रीडिंग हैबिट्स (पठन या अध्ययन प्रवृत्ति या आदत) विकसित करना है ताकि इससे न सिर्फ उनके ज्ञान में वृद्धि हो सके अपितु उनका उच्चारण भी स्पष्ट और शुद्ध हो सके। साथ ही बिना किसी भौगोलिक बाधाओं के सभी बच्चों को पुस्तकें उपलब्ध हो सकेगी। इसके अलावा इसके माध्यम से बच्चों में भाषा कौशल, रचनात्मकता एवं आलोचनात्मक सोच विकसित होगी। नेशनल बुक ट्रस्ट इसमें सहयोग करेगा।

राष्ट्रीय ई-पुस्तकालय नाम से इस डिजिटल लाइब्रेरी को इस प्रकार से विकसित किया जाएगा जिससे कक्षा और आयु के अनुरूप बच्चों को उनकी पसंद और उनके लिए जरूरी पुस्तक एक क्लिक पर उपलब्ध हो सके। यह लाइब्रेरी पूरी तरह से नि:शुल्क होगी और आईफोन तथा एन्ड्रॉइड फोन पर भी इसका इस्तेमाल आसानी से किया जा सकेगा। पहले चरण में इस राष्ट्रीय ई-पुस्तकालय (डिजिटल लाइब्रेरी) में विभिन्न भाषाओं एवं करीब 75 पब्लिशर्स की 3000 से अधिक किताबें बच्चों को डिजिटली उपलब्ध कराई जाएंगी। इनमें कक्षा में पढ़ाए जाने वाली पुस्तकों के अलावा रोचक बाल कहानियां, लोक कथाएं, राष्ट्रीय - अन्तराष्ट्रीय स्तर के नेताओं की लघु जीवनी, राष्ट्रीय भावनाओं से ओत-प्रोत कविताएं, हास्य, इतिहास, विज्ञान, प्रकृति से जुड़े जरूरी सामान्य ज्ञान, कॉमिक्स, भारतीय सेना के शौर्य तथा अन्य सचित्र प्रेरक कहानियां आदि से जुड़ी पुस्तकें शामिल हैं।

परिषदीय विद्यालयों में इस समय हैं ये सुविधाएं -

वर्तमान में राज्य सरकार की ओर से प्रदेश के सभी परिषदीय स्कूलों में जहां अतिरिक्त कक्ष है वहां छोटी सी पूर्ण विकसित लाइब्रेरी की सुविधा मुहैय्या कराई जा रही है और जिन परिषदीय विद्यालयों में अतिरिक्त कक्ष नहीं हैं वहां लाइब्रेरी कॉर्नर के रूप में इसकी सुविधा प्रदान की गई है।

स्मार्ट क्लास की तरह डिजिटल लाइब्रेरी पर फोकस

तेजी से बदलते परिवेश को देखते हुए जिस प्रकार से स्कूलों में स्मार्ट क्लास की संख्या बढ़ाने पर सरकार ने अपना ध्यान केन्द्रित किया है उसी प्रकार से अब डिजिटल लाइब्रेरी के प्रयोग को बढ़ाने पर भी सरकार पूरा फोकस करने जा रही है।

चार आयु वर्ग के बच्चों के लिए होगी डिजिटल लाइब्रेरी

राष्ट्रीय ई-पुस्तकालय को चार आयु वर्ग के बच्चों के लिए तैयार किया गया है। मसलन 3 से 8 वर्ष के लिए, 8 से 11 साल के बच्चों के लिए, 11 वर्ष से 14 साल के बच्चों के लिए तथा 14 साल से 18 वर्ष तक के किशोरों के लिए उनकी रूचि एवं आवश्यकतानुसार पुस्तकें उपलब्ध कराई जाएंगी।

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