लाखों रुपये के टैबलेट हो रहे बर्बाद
Unnao News - उन्नाव में बेसिक शिक्षा विभाग द्वारा परिषदीय शिक्षकों को दिए गए टैबलेट का प्रयोग नहीं हो रहा है। शिक्षकों ने न तो ऑनलाइन हाजिरी दर्ज की है और न ही अन्य कार्य किए हैं। लाखों रुपये के टैबलेट बेकार हो...
उन्नाव, संवाददाता। बेसिक शिक्षा विभाग द्वारा परिषदीय शिक्षकों को बांटे गए टैबलेट का प्रयोग नहीं किया जा रहा है। इसके माध्यम से न तो ऑनलाइन हाजिरी दर्ज की जा रही है और न फिर शिक्षकों के अन्य कोई काम निपटाए जा रहे हैं। लाखों रुपये कीमत के दिए गए टैबलेट और सिम बिना काम के खराब हो रहे हैं। टैबलेट में पड़े सिम के रिचार्ज में लाखों रुपए पानी की तरह खर्च किए जा रहे हैं। जिले में करीब दो साल पहले 1883 प्राथमिक विद्यालय और 359 कंपोजिट विद्यालय को मिलाकर कुल 2242 स्कूलों को 4372 टैबलेट बांटे गए थे। पहले शिक्षकों को इन टैबलेट में अपनी ही सिम डालकर बच्चों और खुद की ऑनलाइन हाजिरी दर्ज कराने के साथ पंजिकाओं के डिजिटाइजेशन करने को कहा गया था। इस पर शिक्षकों ने विरोध जताया था कि वह अपने सिम से विभागीय कार्य नहीं निपटाएंगे। शिक्षकों की नाराजगी के बाद शासन से विभाग को एयरटेल के सिम उपलब्ध कराए थे। फिर बेसिक शिक्षा अधिकारी की ओर से 2024 में इनका वितरण कराया गया था। इसके बाद भी ऑनलाइन हाजिरी तो दूर रही, दूसरे काम भी इस टैबलेट से कम ही हो रहे हैं।
ब्लॉक वार इतने बांटे जा चुके हैं टैबलेट
असोहा में 280, औरास 231, बांगरमऊ 236, बिछिया 268, बीघापुर 276, नगर क्षेत्र 29, फतेहपुर चौरासी 269, गंजमुरादाबाद 225, हसनगंज 287, हिलौली 300, मियागंज 292, नवाबगंज 281, पुरवा 258, सफीपुर 253, सिकंदरपुर कर्ण 281, सिकंदरपुर सरोसी 312 और सुमेरपुर ब्लाक में 294 टैबलेट वितरित किए गए हैं।
सिर्फ 40 फीसदी पर हो रहा काम
ब्लॉक वार बांटे गए सभी टैबलेट की बात की जाए तो केवल 40 फीसदी शिक्षक ऐसे हैं, जो इस पर काम कर रहे हैं। हाजिरी न देने वाले तो करीब सौ फीसदी हैं। जबकि, यू-डाइस, अपार आईडी आदि काम इस टैबलेट से करने वाले शिक्षकों की संख्या 40 फीसदी है।
जनपद में स्कूल
प्राथमिक ---- 1883
यूपीएस ---- 451
कंपाजिट ---- 375
दो सौ रुपये के रिचार्ज से हर माह 874400 खर्च
जिले में शासन के निर्देश पर एक प्रधान और एक वरिष्ठ सहायक शिक्षक को टैबलेट का लाभ दिया गया था। इसमें कंपोजिट ग्रांट से ही हर माह एक मोबाइल पर दो सौ रुपये का रिचार्ज किया जाता है। 4372 टैबलेट पर हर माह केवल रिचार्ज पर 8 लाख 74 हजार 4 सौ रुपये खर्च हो रहे है।
कोट--
सभी शिक्षकों को बच्चों की ऑनलाइन हाजिरी के साथ खुद की हाजिरी के लिए निर्देश दिए गए हैं। पंजिकाओं को ऑनलाइन करने व दीक्षा एप काम करने को भी कहा जाता है। समय-समय पर संगठनों के पदाधिकारियों के साथ बैठक भी करती हूं। खुद की नहीं तो कम से कम बच्चों की हाजिरी ही दर्ज कराने को कहा जाता है। वह भी नहीं करते हैं। दीक्षा एप पर कंटेंट दिखाते हैं।
- संगीता सिंह, बीएसए उन्नाव
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