देवरिया जेल में अतीक से मिलने गए दो प्रॉपर्टी डीलर की भी की गई धुनाई, मांगी गई थी रंगदारी
देवरिया जेल में बंद पूर्व सांसद अतीक अहमद ने न सिर्फ लखनऊ के प्रॉपर्टी डीलर मोहित जायसवाल को अगवाकर रंगदारी मांगी थी बल्कि धूमनगंज के प्रॉपर्टी डीलरों को बुलाकर उनकी भी धुनाई की थी। लाखों रुपये...
देवरिया जेल में बंद पूर्व सांसद अतीक अहमद ने न सिर्फ लखनऊ के प्रॉपर्टी डीलर मोहित जायसवाल को अगवाकर रंगदारी मांगी थी बल्कि धूमनगंज के प्रॉपर्टी डीलरों को बुलाकर उनकी भी धुनाई की थी। लाखों रुपये वसूलने के बाद करोड़ों की रंगदारी मांगी। धमकी दी थी कि रुपये नहीं मिले तो जिंदा नहीं बचोगे। जेल में उनकी पिटाई का वीडियो भी बनाया गया। पूर्व सांसद के खौफ से डरे सहमे प्रॉपर्टी डीलरों ने रिपोर्ट दर्ज नहीं कराई। प्रयागराज पुलिस के आलाधिकारियों ने इस प्रकरण की जानकारी से ही इंकार किया है।
धूमनगंज के दो प्रॉपर्टी डीलर कभी पूर्व सांसद अतीक के साथ काम करते थे। उनके जेल जाने के बाद प्रॉपर्टी डीलरों ने अलग प्लाटिंग शुरू कर दी लेकिन अतीक को हिस्सा पहुंचाते रहे। कुछ दिन पहले की बात है। सूत्रों की मानें तो पूर्व सांसद अतीक के बुलावे पर दोनों प्रॉपर्टी डीलर अपने साथी के साथ देवरिया जेल में मिलने गए थे। वहां पहुंचकर मोटी रकम दी लेकिन धूमनगंज में करोड़ों की एक जमीन का हिस्सा न देने पर कहानी बदल गई।
जेल के बंदीरक्षकों और पूर्व सांसद के गुर्गों ने तीनों युवकों को जेल के अंदर ही डंडे से पीटना शुरू किया। फिर तीनों के कपड़े उतार दिए गए। उसके बाद उनकी बेरहमी से पिटाई की गई। लाठियां बरसाई गईं और अतीक के गुर्गों ने उसका वीडियो भी बनाया। इस वीडियो को वायरल करने की धमकी दी गई ताकि दबंगई बनी रही। यह भी कहा गया कि जेल के अंदर हत्या कर दी गई होती लेकिन इसलिए छोड़ दिया ताकि जेल अधीक्षक न फंस जाए।
किसी तरह जेल से बाहर निकले तीनों युवक शहर आए और शिवकुटी थानाक्षेत्र स्थित ट्रस्ट के एक अस्पताल में इलाज कराया। पिटाई कर तीनों की चमड़ी उधेड़ दी गई थी। इस वारदात के बाद किसी ने पुलिस से शिकायत करने की हिम्मत नहीं जुटाई। पुलिस की एक एजेंसी को इसकी जानकारी मिली तो उसने छानबीन की। अस्पताल के रिकार्ड से पता चला कि तीनों का गोपनीय तरीके से इलाज हुआ लेकिन वहां बताया गया था कि तीनों सड़क हादसे में जख्मी हो गए थे।
इनका कहना है
एडीजी जोन एसएन साबत ने कहा, इस तरह का कोई प्रकरण मेरे पास नहीं आया है। अगर आईजी रेंज या प्रयागराज एसएसपी के पास पीड़ित पहुंचे हों तो उन्हें इसकी जानकारी नहीं है।
एसएसपी नितिन तिवारी के अनुसार, देवरिया जेल में किसी पिटाई का प्रकरण उनके पास नहीं पहुंचा है। अगर कोई पीड़ित सामने आता है तो साक्ष्यों के आधार पर रिपोर्ट दर्ज कर कार्रवाई की जाएगी।