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Hathras Stampede: बेटा 20 साल बाद हुआ था और भगदड़ में मारा गया; बिलख रहे हाथरस में मारे गए मासूम के पिता

Hathras Stampede: 48 साल के किशोरी लाल पश्चिम उत्तर प्रदेश में बदायूं जिले के बिसौली गांव के रहने वाले हैं। इस घटना में उनकी 42 वर्षीय पत्नी और महज 4 वर्ष के बेटे की दर्दनाक मौत हो गई है।

Nisarg Dixit लाइव हिन्दुस्तान, हाथरसThu, 4 July 2024 09:45 AM
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Hathras Incident: हाथरस कांड ने कई परिवारों को उजाड़ दिया। हर रोज इस घटना में अपने परिचितों को खोने वालों की मार्मिक कहानियां सामने आ रही हैं। अब ऐसी ही एक कहानी किशोरी लाल की है, जिनके पास परिवार कहने के लिए अब कुछ भी नहीं बचा। नौबत यहां तक आ गई है कि वह खुद के नहीं मरने पर भी अफसोस जाहिर कर रहे हैं। मंगलवार को सूरज पाल उर्फ भोले बाबा उर्फ नारायण साकार हरि के सत्संग में भगदड़ मच गई थी।

48 साल के किशोरी लाल पश्चिम उत्तर प्रदेश में बदायूं जिले के बिसौली गांव के रहने वाले हैं। इस घटना में उनकी 42 वर्षीय पत्नी और महज 4 वर्ष के बेटे की दर्दनाक मौत हो गई है। टाइम्स ऑफ इंडिया से बातचीत में उन्होंने कहा, 'शादी के 20 साल के इंतजार के बाद हमें एक बेटे के रूप में आशीर्वाद मिला था।' वह बताते हैं कि कैसे उन्होंने दोनों के शव को समुदायिक स्वास्थ्य केंद्र में देखा था।

अखबार से बातचीत में उन्होंने कहा, 'पत्नी सत्संग के लिए गई थी और बच्चे को साथ लेकर गई थी। मैं खेती का सामान खरीदने के लिए कासगंज गया हुआ था। जब वापस आया, मैंने पत्नी को फोन लगाया। वहां से किसी अन्य व्यक्ति ने जवाब दिया और हुई भगदड़ के बारे में जानकारी दी। पता लगते ही अस्पताल की तरफ दौड़ा और वहां देखा कि हर तरफ लाशों के ढेर लगे हुए हैं।'

उन्होंने कहा, 'इनमें अधिकांश महिलाएं और बच्चे थे। उनमें से कुछ को देखने के बाद मुझे पत्नी और बेटा स्ट्रेचर पर नजर आए। मैं जिंदा क्यों हूं? मुझे भी उनके साथ चले जाना चाहिए था।'

एक स्थानीय निवासी सूर्यदेव यादव ने अखबार को बताया कि जान गंवाने वाले बच्चों में अधिकांस की उम्र 10 साल से कम थी। रिपोर्ट के अनुसार, घटना के समय एटा से गुजर रहे सोनू शर्मा बताते हैं, 'मैं नेशनल हाईवे पर आयोजन स्थल के पास से गुजर रहा था और हालात देखकर हैरान रह गया। मैंने देखा कि लोग सड़क के किनारे मरे हुए पड़े हैं। मुझे बिल्कुल नहीं पता था कि क्या हुआ...।'

उन्होंने कहा, 'मैंने हाइवे पर डिवाइडर के पास एक छोटी सी बच्ची को भी देखा। मैं तुरंत उसके पास गया। उसकी उम्र 8-9 साल रहगी होगी। मैंने उसे हाथों में उठाया, तब वह सांस लेने में परेशानी का सामना कर रही थी। मैं कुछ कर पाता, इससे पहले ही उसने दम तोड़ दिया। कई और बच्चे और महिलाएं भी मारी गई थीं। मैंने जो देखा, वो अपने जीवन में कभी भी नहीं भूल पाऊंगा।'

फिलहाल, उत्तर प्रदेश पुलिस बाबा की तलाश में कई स्थानों पर दबिश दे रही है। वहीं, मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने विशेष जांच दल भी गठित करने का फैसला किया है।

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