Hindi Newsउत्तर प्रदेश न्यूज़Evidence of fake appointments found in UP Prayagraj Shuats preparation of charge sheet against many professors

शुआट्स में फर्जी नियुक्तियों के साक्ष्य मिले, कई प्रोफेसरों के खिलाफ चार्जशीट की तैयारी

प्रयागराज में सैम हिग्गिन बॉटम यूनिवर्सिटी ऑफ एग्रीकल्चर टेक्नोलाजी एंड साइंस (शुआट्स) में फर्जी तरीके से हुई नियुक्तियों की जांच में एसटीएफ को सबूत मिले। कई प्रोफेसरों के खिलाफ चार्जशीट की तैयारी है।

Srishti Kunj हिन्दुस्तान टीम, प्रयागराजWed, 19 July 2023 07:44 AM
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प्रयागराज में सैम हिग्गिन बॉटम यूनिवर्सिटी ऑफ एग्रीकल्चर टेक्नोलाजी एंड साइंस (शुआट्स) में फर्जी तरीके से हुई नियुक्तियों की जांच में एसटीएफ को साक्ष्य मिल गए हैं। मामले में कुलपति आरबी लाल, उनके परिवारवालों और यूनिवर्सिटी प्रशासन के अफसरों पर कार्रवाई तय है। नैनी में मुकदमा दर्ज कराने के बाद एसटीएफ ने फर्जी नियुक्तियों के दस्तावेज और साक्ष्यों को जुटा लिया है। साथ ही नैनी पुलिस की विवेचना में भी फर्जीवाड़े के सबूत मिले हैं। 

सबसे अहम तो पुलिस ने अपनी जांच में शुआट्स के कर्मचारी और यूनिवर्सिटी छोड़ चुके अधिकारियों के बयान दर्ज कर इसे और पुख्ता किया है। इस मामले में कई प्रोफेसरों को बयान दर्ज कराने के लिए बुलाया गया लेकिन वे नहीं आए। अब उन पर चार्जशीट की तैयारी है। कुल 69 पदों पर गलत तरीके से भर्ती के आरोप हैं जिसमें ज्यादातर भर्ती में मनमानी के सबूत जुटाकर शासन को भेजे गए हैं।

नैनी थाने में दर्ज दोनों ही मुकदमों में वादी एसटीएफ के उपाधीक्षक नवेन्दु कुमार हैं। जांच में साफ हुआ है कि शुआट्स के कुलपति आरबी लाल, अन्य पदों पर बैठे लाल परिवार के सदस्य और यूनिवर्सिटी प्रशासन के अधिकारियों ने 1984 से 2017 तक यूनिवर्सिटी में प्रोफेसर, असिस्टेंट प्रोफेसर, एसोसिएट प्रोफेसर के पदों पर नियुक्ति गलत तरीके से की। निर्धारित भर्ती प्रक्रिया, मानकों के विपरीत आर्थिक लाभ लेकर प्रक्रिया पूरी की गई। जांच रिपोर्ट में लिखा गया है कि यूनिवर्सिटी प्रशासन ने नियुक्तियों में अनिवार्य योग्यता का पालन नहीं किया। नियुक्तियों से पूर्व कई आवेदकों से बात की गई। साक्षात्कार हेतु बुलावा पत्र और चयन के बाद नियुक्ति पत्र प्रसारित नहीं किया गया। पुलिस ने जांच में इसे राजकीय धन का आपराधिक दुरुपयोग माना है।

पीएचडी डिग्री अधूरी माना लेकिन जांच जारी
कुलपति डॉ. आरबी लाल की पीएचडी डिग्री पर उठे सवाल के बाद एसटीएफ ने इसकी जांच शुरू की तो प्रथम दृष्ट्या इसे फर्जी माना गया। कुछ कूटरचित दस्तावेज बना गए। फिलहाल पीएचडी डिग्री को आधीअधूरी मान जांच आगे बढ़ाई गई है। अभी जांच पूरी नहीं हुई है। कुलपति ने 1990 में अमेरिका की कंसास स्टेट यूनिवर्सिटी से स्वॉयल साइंस में पीएचडी की उपाधि हासिल की थी। फर्जी डिग्री की शिकायत पर यूनिवर्सिटी की ऑफिशियल वेबसाइट के रिकॉर्ड से एसटीएफ ने कुछ जानकारी जुटा ली। इसमें कुलपति की डिग्री का रिकार्ड पूरा नहीं है।

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