जान ले रही सैलरी और पेंशन में देरी, इस महकमे में 5 महीने से ऐसे हैं हालात; जलालत झेल रहे कर्मचारी
प्रयागराज में जल निगम की शहरी इकाई में तीन साल से वेतन और पेंशन पिछड़ गया है। कोरोना की दूसरी लहर में एक पेंशनर ने इलाज के अभाव में दम तोड़ा था। एक कर्मचारी किराए के मकान में रहता था।
Salaried and Pensioners: जल निगम में सैलरी और पेंशन मिलने में देरी से कर्मचारियों और पेंशनरों की जान जा रही है। जल निगम की शहरी इकाई में पांच महीने से वेतन-पेंशन बकाया है। पैसे के अभाव में पिछले एक महीने की अवधि में एक कर्मचारी और दो पेंशनरों ने दम तोड़ दिया। आर्थिक तंगी से संस्थान के कर्मचारियों और पेंशनरों की न सिर्फ सेहत बिगड़ रही है, बल्कि पारिवारिक और सामाजिक जलालत भी झेलनी पड़ रही है।
प्रयागराज में जल निगम की शहरी इकाई में तीन साल से वेतन और पेंशन पिछड़ गया है। दो साल पहले कोरोना की दूसरी लहर में एक पेंशनर ने इलाज के अभाव में दम तोड़ा था। एक कर्मचारी किराए के मकान में रहता था। कई महीने का किराया नहीं देने पर मकान मालिक ने कर्मचारी को घर से बाहर निकाल दिया था। अभी भी एक पेंशनर अपने इलाज पर हुए खर्च लेने के लिए जल निगम के चक्कर काट रहे हैं। वेतन और पेंशन नहीं मिलने से पेंशनरों की स्थिति सबसे अधिक खराब है। जबकि जल निगम की ग्रामीण इकाई में वेतन और पेंशन नियमित मिल रहा है।
केस-1
राजेश आर्या जल निगम में कार्यरत थे। राजापुर में रहने वाले राजेश हाल ही बीमार हुए और बेहतर इलाज के लिए परिवार उनको लखनऊ ले गया। निजी अस्पताल में इलाज का खर्च करने के लिए पैसे नहीं थे। अंतत: बेहतर इलाज के अभाव में राजेश ने दम तोड़ दिया।
केस-2
जल निगम से बतौर सहायक अभियंता सेवानिवृत्त सुधीर कुमार श्रीवास्तव भी बीमार पड़े। बेटी ने पिता सुधीर का इलाज कराने के लिए जमा पूंजी खर्च कर दी। इसके बाद भी तेलियरगंज निवासी ठीक नहीं हुए। पैसे के अभाव में पूरा इलाज नहीं मिलने से सुधीर की मौत हो गई।
केस-3
जल निगम से सहायक पद से सेवानिवृत्त फाफामऊ में रहने वाले बीएम शाह भी गंभीर रूप से बीमार पड़ गए। सेवानिवृत्त सहायक अभियंता को भी पैसों के अभाव में ठीक इलाज नहीं मिल पाया। राजेश आर्या और सुधीर की तरह बीएम शाह की भी इलाज के अभाव में मृत्यु हो गई।
राजेश आर्या, सुधीर कुमार श्रीवास्तव और बीएम शाह की मौके एक महीने के अंदर हुई। पांच महीने से वेतन नहीं मिलने के कारण राजेश आर्या की आर्थिक स्थिति खराब थी। पांच महीने से पेंशन नहीं मिलने के चलते सुधीर कुमार श्रीवास्तव और बीएम शाह के घर की भी आर्थिक स्थिति सहीं नहीं थी। राजेश, सुधीर और बीएम शाह की तरह जल निगम की शहरी इकाई में कार्यरत कर्मचारी और यहीं से पेंशन पाने वाले सभी पेंशनर आर्थिक तंगी से जूझ रहे हैं।
वेतन को लेकर कर्मचारी और पेंशनर लगातार जल निगम मुख्यालय को पत्र लिख रहे हैं। कर्मचारियों को एक महीने का वेतन सोमवार को जारी किया गया, लेकिन पेंशनर दिवाली से पहले पेंशन की बाट जोह रहे हैं। डिप्लोमा इंजीनियर्स वेलफेयर एसोसिएशन के प्रांतीय उपाध्यक्ष आरकेएस चौहान ने बताया कि पेंशनरों की स्थिति बहुत दयनीय है। कर्मचारी और पेंशनर एक दूसरे की मदद भी कर रहे हैं।
एक नजर में कर्मचारी और पेंशनर
प्रयागराज में कर्मचारी : 657
प्रयागराज में पेंशनर : 2109
बोले अधिकारी
जल निगम प्रयागराज के मुख्य अभियंता दिगपाल सिंह ने कहा कि विभाग में वेतन और पेंशन समय से नहीं मिलने की समस्या है। वेतन और पेंशन जल निगम मुख्यालय से जारी होता है। इसे नियमित करने की कोशिश की जा रही है। जल्द पांच महीने का अंतर कम होता दिखाई पड़ेगा।